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Road Safety in Ballia : ब्लैक स्पाट के कारण सड़क हादसों की मार से आए दिन तबाह हो रहे परिवार

Road Safety in Ballia बलिया में परिवहन विभाग ने 47 ब्लैक स्पाट चिन्हित किए हैं। इसमें राष्ट्रीय राजमार्ग पर छह व राज्य राजमार्ग पर छह ब्लैक स्पाट हैं। राष्ट्रीय मार्ग स्थित ब्लैक स्पाट वाले स्थानों पर तीन वर्षों में 23 सड़क हादसों में 22 लोगों की मौत हो गई।

By sameer tiwariEdited By: Saurabh ChakravartyUpdated: Wed, 16 Nov 2022 07:14 PM (IST)
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बलिया के फेफना क्षेत्र के ङ्क्षसहपुर चट्टी स्थित दुर्घटना बाहुल्य क्षेत्र में पटरी विहीन सड़क ।

जागरण संवाददाता, बलिया : बैरिया में चिरैयामोड़ के पास रहने वाले हरेंद्र नट ठेला चलाकर परिवार का भरण-पोषण करते थे। सबकुछ ठीक चल रहा था। जनवरी 2021 में परिवार में नन्हा मेहमान आया। दिव्यांग पत्नी प्रभावती व पांच बच्चों के साथ हरेंद्र हंसी-खुशी जीवन व्यतीत कर रहे थे, लेकिन कुदरत को कुछ और मंजूर था। उसी साल मई में एक सड़क हादसे में परिवार की खुशियां एक झटके में बिखर गईं।

राष्ट्रीय राजमार्ग-31 पर ब्लैक स्पाट घोषित क्षेत्र चिरैया मोड़ पर किसी अज्ञात वाहन ने हरेंद्र के ठेले में टक्कर मार दी। हादसे में उनकी मौके पर ही मौत हो गई। घटना के बाद उनके परिवार के सामने घुप अंधेरा छा गया। सबकुछ बर्बाद हो गया और आजीवन बेबसी झेलने का दंश मिल गया।

अब हरेंद्र का परिवार झोपड़ी में रहकर काफी जद्दोजहद कर रहा है। यह कहानी सिर्फ हरेंद्र की नहीं, ऐसे सैकड़ों परिवारों की है जिनका कोई न कोई सदस्य सड़क हादसों में असमय काल के गाल में समा जाता है। इसके लिए अनफिट सड़कें भी काफी हद तक जिम्मेदार हैं। संबंधित विभागों की बेपरवाही के कारण सड़कों की देखभाल, रखरखाव, सुरक्षा के उपाय व अन्य प्रबंध नहीं किए जाने से स्थिति भयावह होती जा रही है।

सड़क फिटनेस में फेल प्रबंध तंत्र

राष्ट्रीय राजमार्ग या राज्य राजमार्गों पर सुरक्षा को लेकर कई तरह के इंतजाम करने का प्रविधान है। कई प्रकार के संकेतक, रिफ्लेक्टर, कैट आई के अलावा रोशनी, दुर्घटना या आपातकालीन स्थिति में बचाव के लिए प्रबंध किए जाते हैं। इसकी जिम्मेदारी लोक निर्माण व अन्य संबंधित विभाग की है।

बुधवार को शहर से चिलकहर तक 20 किलोमीटर की दूरी में पांच ब्लैक स्पाट मिले। इन स्थानों पर दुर्घटना बाहुल्य क्षेत्र के बोर्ड लगे तो मिले लेकिन सड़क की पटरियां गायब थीं, इससे अक्सर युवक आमने-सामने आ जा रहे थे। पियरिया में ब्लैक स्पाट के पास सड़क पर यलो लाइन धूमिल हो चुकी है।

अवैध कट बने मुसीबत, संकेतक व ब्रेकर के अभाव से संकट

रसड़ा नगर की मुख्य सड़क पर भगत सिंह तिराहा, बस स्टेशन रोड, रेलवे स्टेशन के सामने, प्यारेलाल चौराहे तथा हिताकापुरा के पास संकेतक व ब्रेकर नहीं होने से आए दिन सड़क दुर्घटनाएं हो रही हैं। यहां डिवाइडर में लगभग 10 अवैध कट दुर्घटना का सबब बने हैं।

13 जून 2022 को रसड़ा-पकवाइनार मार्ग के हिताकापुरा पास सड़क पर संकेतक न होने के चलते कार के रौंदने से बाइक सवार पतिराम केवल चौहान तथा उनकी पत्नी उषा देवी निवासी परसिया-रसड़ा की मौत हो गयी थी जबकि उनकी पुत्री सरिता आज भी इलाज के भरोसे चल रही हैं। यह गम सरिता के जिंदगी में आजीवन रहेगा। फेफना में गड़वार मोड़ पर कोई संकेतक नहीं लगा है।

अंधेरी सड़कें दे रहीं हादसों को दावत

जनपद में सड़कों पर अधिकांश दुर्घटना बाहुल्य क्षेत्रों के आसपास रोशनी की व्यवस्था नहीं है। फेफना में सिंहपुर चट्टी प प्रकाश की कोई व्यवस्था नहीं मिली। वहीं शहर में गड़वार रोड पर शाम ढलते ही अंधेरा छा जाता है। यहां अक्सर हादसे की आशंका बनी रहती है।

71 हादसों में 60 लोगों की जान लील गए ब्लैक स्पाट

परिवहन विभाग ने जनपद में 47 ब्लैक स्पाट चिन्हित किए हैं। इसमें राष्ट्रीय राजमार्ग पर छह व राज्य राजमार्ग पर छह ब्लैक स्पाट हैं। राष्ट्रीय मार्ग स्थित ब्लैक स्पाट वाले स्थानों पर तीन वर्षों में 23 सड़क हादसों में 22 लोगों की मौत हो गई। वहीं राज्य राजमार्ग पर 48 हादसों में 38 लोगों की जान जा चुकी है।

राष्ट्रीय राजमार्ग के ब्लैक स्पाट 

जनपद में राष्ट्रीय राजमार्गों पर छह ब्लैक स्पाट हैं। इनमें एनएच -31 पर गोविंदपुर नरहीं, अखार दुबहड़, भसौता हल्दी, चिरैया मोड़ बैरिया व चांददीयर बैरिया और एनएच-128 पर पियरिया फेफना में ब्लैक स्पाट है। तीन वर्षों में 23 हादसों में 22 लोगों की मौत हो गई।

राज्य राजमार्ग के ब्लैक स्पाट 

जनपद में राज्य राजमार्गों पर आठ ब्लैक स्पाट हैं। एसएच-36 पर चिलकहर गड़वार, एसएच-108 पर हल्दीरामपुर उभांव, सिकंदरपुर में मिर्जापुर नवानगर व नगरा कस्बा, एसएच-34 पर रसड़ा में पकवाइनार व संवरा और एसएच.एक बी पर सहतवार में सुरहिया मोड़ शामिल हैं। तीन वर्षों में 48 हादसों में 38 लोगों की जानें जा चुकी हैं।

ब्लैक स्पाट वाले स्थानों की सूची जिला प्रशासन के माध्यम से लोक निर्माण विभाग के पास भेज दी गई

जनपद की सड़कों पर चिन्हित ब्लैक स्पाट वाले स्थानों की सूची जिला प्रशासन के माध्यम से लोक निर्माण विभाग के पास भेज दी गई है। विभाग द्वारा उन स्थानों पर आवश्यकतानुसार व्यवस्था बनाई जाएगी। इसमें ब्रेकर, कैट आई, संकेतक, सूचना फलक, रिफ्लेक्टर आदि लगाकर वाहन चालकों को सचेत किया जाता है।

- अरुण कुमार राय, एआरटीओ

राष्ट्रीय राजमार्ग व राज्य राजमार्ग की आबादी वाले क्षेत्रों में प्रकाश की व्यवस्था की जाती है। ब्लैक स्पॉट वाले स्थानों पर साइनेज व रिफलेक्टर आदि इंतजाम किए जाते हैं। जहां नहीं है, इसके लिए विभागीय प्रयास किए जाएंगे ताकि जनता को सहूलियत हो सके।

- अरुण कुमार, अधिशासी अभियंता, प्रांतीय खंड, पीडब्ल्यूडी

यातायात जागरूकता माह चल रहा है। वाहन चालकों को जागरूक करने के लिए विविध प्रयास किए जा रहे हैं। ब्लैक स्पॉट वाले स्थानों पर नगर पालिका व संबंधित विभागों से समन्वय स्थापित कर दुर्घटनाओं पर अंकुश लगाने की कोशिश की जाएगी। कार्रवाई को और गति दी जाएगी।

- जितेंद्र कुमार, क्षेत्राधिकारी, यातायात

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