बरेली के सांसद छत्रपाल गंगवार बोले- 300 बेड के अस्पताल को बनाएंगे राजकीय मेडिकल काॅलेज
सांसद छत्रपाल गंगवार के आने की जानकारी मिली तो सीएमओ डा.विश्राम सिंह समेत चिकित्सक और स्टाफ भी पहुंच गया। सीएमओ के साथ उन्होंने पंजीकरण काउंटर दवा वितरण कक्ष ओपीडी पैथोलाजी कक्ष सीटी स्कैन और आइसीयू में वेंटिलेटर का निरीक्षण किया।उन्होंने सफाई व्यवस्था दुरुस्त कराने के निर्देश दिए। सीएमओ ने अवगत कराया कि मानव संसाधन की उपलब्धता न होने के कारण इमरजेंसी सेवाएं आरंभ नहीं हो पा रही हैं।
जागरण संवाददाता, बरेली। मरीजों को बेहतर उपचार की सुविधा दिलाने के लिए शहर में 700 करोड़ रुपये की लागत से बने 300 बेड के मंडलीय अस्पताल की व्यवस्था सुधारने के लिए अब सांसद छत्रपाल गंगवार आगे आए हैं। शुक्रवार को उन्होंने अस्पताल का निरीक्षण कर उपलब्ध संसाधनों का जायजा लिया। कहा कि इसे राजकीय मेडिकल कालेज बनवाएंगे। जल्द ही प्रस्ताव भिजवाकर शासन स्तर पर पैरवी करके स्वीकृति दिलवाएंगे।
कोविड के बाद बंद हो गया था हॉस्पिटल
कोविड काल में यह अस्पताल निर्माणाधीन था। मरीजों का उपचार करने के लिए इसे कोविड अस्पताल बनाया गया था। 14 एकड़ में बने इस अस्पताल में विहंगम भवन, इमरजेंसी, ओपीडी, वार्ड, प्रशासनिक भवन के अलावा 20 मेडिकल अफसरों के अवास, चार एसएमओ आवास, चार थ्री टाइप, 36 टू टाइप, 30 टाइप वन और नर्सिंग हास्टल भी बनाया गया है।
इमरजेंसी सेवा आज तक शुरू नहीं हो सकी
कोविड काल के बाद अस्पताल बंद हो गया, वजह अभी तक इस अस्पताल के लिए चिकित्सक, मेडिकल स्टाफ पदों की स्वीकृति ही नहीं हो सकी है। स्वास्थ्य विभाग ने जिला अस्पताल और पीएचसी, सीएचसी से चिकित्सक और स्टाफ को संबद्ध कर ओपीडी सेवा शुरू करा दी, लेकिन इमरजेंसी सेवा आज तक शुरू नहीं हो सकी। अधिकारी और जन प्रतिनिधि आए दिन इस अस्पताल का निरीक्षण करते हैं, व्यवस्था सुधार कराने की बात भी कहते हैं, लेकिन अस्पताल संचालन के लिए सीएमएस, चिकित्सक, मेडिकल स्टाफ के पद अभी तक स्वीकृत नहीं हो सके।सीएमओ भी पहुंचे मौके पर
सांसद छत्रपाल गंगवार के आने की जानकारी मिली तो सीएमओ डा.विश्राम सिंह समेत चिकित्सक और स्टाफ भी पहुंच गया। सीएमओ के साथ उन्होंने पंजीकरण काउंटर, दवा वितरण कक्ष, ओपीडी, पैथोलाजी कक्ष, सीटी स्कैन और आइसीयू में वेंटिलेटर का निरीक्षण किया। उन्होंने आक्सीजन प्लांट को भी चलवाकर देखा। उन्होंने सफाई व्यवस्था दुरुस्त कराने के निर्देश दिए।सीएमओ ने अवगत कराया कि मानव संसाधन की उपलब्धता न होने के कारण इमरजेंसी सेवाएं आरंभ नहीं हो पा रही हैं। सांसद ने कहा कि जल्द ही वह मुख्यमंत्री से मिलकर इस अस्पताल को राजकीय मेडिकल कालेज बनवाने के लिए विशेष प्रयास करेंगे। कहा कि मेडिकल कालेज के मानक में अगर कहीं कोई आ रही है तो उसे पूरा कराया जाएगा। उन्होंने कहा कि 300 बेड के इस विहंगम अस्पताल का सदुपयोग होगा।
राजकीय मेडिकल कालेज बन जाने से जहां एमबीबीएस की पढ़ाई हो सकेगी वहीं मंडल के मरीजों को बेहतर चिकित्सकीय सुविधा भी मिल सकेगी। इस दौरान सीएमओ डा.विश्राम सिंह, प्रभारी सीएमएस डा.इंतजार हुसैन, डा.सतीश चंद्र भी मौजूद रहे।
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