UP News: यूपी के इस जिले में 14 करोड़ रुपये के 5500 बकाएदार किसानों पर कसेगा शिकंजा, नोटिस की तैयारी
खेती के लिए खाद-बीज से लेकर कृषि यंत्र-उपकरणों की खरीद करने को लेकर सहकारी समितियों के साथ भूमि विकास बैंक से ऋण लेकर अदायगी करने में लापरवाही बरतने वाले किसानों पर शिकंजा कसेगा। बैंक व सहकारिता विभाग की ओर से वसूली के लिए नोटिस जारी करने की तैयारी की गई है। नोटिस की समयावधि के पश्चात अदायगी न करने पर आरसी जारी कर वसूली की कार्रवाई सुनिश्चित होगी।
संवाद सहयोगी, ज्ञानपुर (भदोही)। खेती के लिए खाद-बीज से लेकर कृषि यंत्र-उपकरणों की खरीद करने को लेकर सहकारी समितियों के साथ भूमि विकास बैंक से ऋण लेकर अदायगी करने में लापरवाही बरतने वाले किसानों पर शिकंजा कसेगा। बैंक व सहकारिता विभाग की ओर से वसूली के लिए नोटिस जारी करने की तैयारी की गई है।
नोटिस की समयावधि के पश्चात अदायगी न करने पर आरसी जारी कर वसूली की कार्रवाई सुनिश्चित होगी। 5500 किसानों पर करीब 14 करोड़ की धनरशि बकाया है। जिसकी अदायगी में लापरवाही की जा रही है।
किसानों को सशक्त व आत्म निर्भर बनाने को लेकर शासन स्तर से तमाम योजनाएं संचालित की जा रही हैं। इसी तरह खाद-बीज से लेकर कृषि कार्य को आसान बनाने के लिए उपयोग में आने वाले कृषि यंत्र व उपकरणों की खरीद को लेकर परेशानी व आर्थिक तंगी न उठानी पड़े।
भूमि विकास बैंक व सहकारिता विभाग की ओर से ऋण की सुविधा देने की योजना संचालित है। अल्पकालीन ऋण लेने वाले किसानों को फसल कट जाने के बाद धनराशि को जमा करना होता है। इस ऋण पर सरकार की ओर से सब्सिडी भी दी जाती है।
सहकारिता विभाग के आंकड़ों पर के अनुसार सहकारिता विभाग के अंतर्गत ऋण लिए 4500 किसानों पर करीब चार करोड़ तो भूमि विकास बैंक से जुड़े एक हजार किसानों पर 10 करोड़ रुपये का ऋण बकाया है। जिसकी अदायगी में लापरवाही की जा रही है। सबसे अहम बात यह है कि कम ब्याज दर होने के कारण किसान समय से जमा कर सकते हैं। बावजूद इसके अदायगी में उदासीनता बरतने से लगने वाले ब्याज के चलते बकाया बढ़ता जा रहा है। हालांकि अब वसूली को लेकर सख्ती की तैयारी की जा रही है।
सहायक निबंधक सहकारी समितियां राघवेंद्र शुक्ल ने बताया कि भूमि विकास बैंक व सहकारिता विभाग से जुड़े 5500 किसानों पर 14 करोड़ रुपये का ऋण बकाया है। प्रथम चरण में एक लाख से ऊपर के बकाएदारों की सूची तैयार कराकर नोटिस भेजी जा रही है। इसके पश्चात भी अदा न करने पर बकाएदारों के खिलाफ उत्तर प्रदेश सहकारी समिति अधिनियम 1965 की धारा 95 क और 92 ख के अंतर्गत संपत्ति कुर्क एवं नीलाम करने की प्रक्रिया शुरू की जाएगी।