धनाभाव से हरिद्वार फोरलेन के निर्माण पर लगा ब्रेक
मोदी सरकार के पहले कार्यकाल में शुरू हुआ काशीपुर-हरिद्वार हाईवे फोरलेन निर्माण की रफ्तार पर धन की कमी ने ब्रेक लगा दिया है।
By JagranEdited By: Updated: Mon, 16 Sep 2019 06:30 AM (IST)
बिजनौर, जेएनएन। मोदी सरकार के पहले कार्यकाल में शुरू हुआ काशीपुर-हरिद्वार हाईवे फोरलेन निर्माण की रफ्तार पर धन की कमी ने ब्रेक लगा दिया है। पिछले कई माह से निर्माण में लगी कंपनी के कर्मचारियों को मानदेय भी नहीं मिला है। फोरलेन निर्माण के कारण सड़क टूटी पड़ी है, जिससे लोगों को सफर में दुश्वारियां उठानी पड़ रही है।
करीब एक साल पहले काशीपुर से हरिद्वार तक फोरलेन का निर्माण शुरू किया गया है। काशीपुर से नगीना तक 98 किमी पीएनसी कंपनी और नगीना से हरिद्वार तक 71 किमी आरसीसी इंफ्रावेंचर्स लि. आगरा की कंपनी बना रही है। नगीना से हरिद्वार तक करीब करीब एक हजार करोड़ का प्रोजेक्ट है। दोनों कंपनियों ने एक साल पहले कार्य शुरू कर दिया। पीएनसी ने काशीपुर से रेहड़ तक फोरलेन बना दिया है, जबकि आरसीसी कंपनी ने अभी तक केवल मिट्टी डालने का काम ही किया है। मई माह से आरसीसी का काम बंद पड़ा हुआ है। कंपनी से जुड़े सूत्रों का कहना है कि धनाभाव के कारण कंपनी के कर्मचारियों को कई माह का मानदेय नहीं मिला। जिसकी वजह से कार्य पूरी तरह से बंद है। एनएचएआइ के टेक्निकल मैनेजर पीएस पांडेय का कहना है कि बजट की समस्या को दूर कर जल्द कार्य शुरू कराया जाएगा। फोरलेन के कारण गड्ढे में बदली सड़क फोरलेन का निर्माण शुरू होने के कारण अब एनएचआइ ने सड़क का मरम्मत करना बंद कर दिया है। वहीं कंपनी ने कई स्थानों पर सड़क चौड़ीकरण के लिए खुदाई कर रखी है, जिससे सड़क में गड्ढे हो गए हैं। इस वजह से हाईवे पर चलना मुश्किल हो रहा है। दोपहिया वाहन चालकों को सबसे अधिक परेशानी हो रही है। आए दिन वह सड़क के गड्ढे में गिरकर चोटिल हो रहे हैं। डेढ़ साल में सिर्फ मिट्टी का कार्य आरसीसी कंपनी को 30 माह में 71 किमी फोरलेन का निर्माण पूरा करना है। कंपनी ने जनवरी 18 से कार्य शुरू कर दिए हैं, लेकिन आधा समय बीत जाने के बाद सिर्फ मिट्टी का कार्य होने से समय सीमा के भीतर कार्य पूरा होने के आसार कम दिख रहे हैं।
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