AQI पहुंचा 400 पार, गले में खराश, आंखों में जलन और सांस लेने में दिक्कत; यूपी के इस शहर का बुरा हाल
Ghaziabad News उत्तर प्रदेश के लोनी में एक्यूआई 400 के पार पहुंच गया है। इससे लोगों के गले में खराश और आंखों में जलन हो रही है। वहीं शहर के लोगों को सांस लेने में भी काफी दिक्कत हो रही है। उधर ऐसे में शहर के लोगों की चिंता भी बढ़ रही है। आगे विस्तार से पढ़िए पूरे शहर का हाल कैसा है।
जागरण संवाददाता, साहिबाबाद। हुक्मरानों की लापरवाही से आखिर लोनी की हवा गंभीर श्रेणी में पहुंच गई। बृहस्पतिवार को यहां का एक्यूआई 402 दर्ज किया। वहीं, जिले की हवा फिर से रेड जोन में पहुंच गई है।
बता दें कि हवा खराब से बेहद खराब श्रेणी में पहुंच गई है। प्रदूषण के स्तर में सुधार के बजाय बढ़ोतरी हो रही है। दिनभर आसमान में धुंध छाई रही। लोगों के गले में खराश, सांस लेने में दिक्कत व आंखों में जलन हुई।
हवा बीते छह दिन से बेहद खराब श्रेणी में बनी हुई थी
लोनी की हवा बीते छह दिन से बेहद खराब श्रेणी में बनी हुई थी। वहीं, बीते दो दिन से जिले का एक्यूआई खराब श्रेणी में बना हुआ था। मंगलवार को 268 और बुधवार को 281 दर्ज किया गया था। वहीं, उससे पहले सोमवार को बेहद खराब श्रेणी में 314 था।लोगों की मुसीबत भी बढ़ गई
वहीं, दो दिन खराब श्रेणी में रहने के बाद फिर से बेहद खराब श्रेणी में पहुंच गया है। लोग संबंधित विभाग के अधिकारियों से प्रदूषण का स्तर कम होने की उम्मीद लगाए बैठे थे, लेकिन फिर से बढ़ने से लोगों की मुसीबत भी बढ़ गई है।
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दरअसल, प्रदूषण का स्तर बढ़ने के कारण ग्रेप (ग्रेडेड रेस्पांस एक्शन प्लान) के दूसरे चरण की पाबंदियां लागू हैं। ग्रेप के पहले चरण की पाबंदी 15 अक्टूबर व दूसरे चरण की पाबंदी 22 अक्टूबर से लागू हुई थीं।
यह भी पढ़ें- हरियाणा विधानसभा शीतकालीन सत्र में नए विधायक नहीं पूछ सकेंगे सवाल, जानिए ऐसा क्यों?लोगों का कहना है कि यही स्थिति बनी रही तो हवा कभी गंभीर श्रेणी में पहुंच सकती है। इससे ग्रेप के तीसरे चरण की पाबंदी लागू हो जाएंगी। इससे मुसीबत और ज्यादा बढ़ जाएगी।
आपके शहर की हर बड़ी खबर, अब आपके फोन पर। डाउनलोड करें लोकल न्यूज़ का सबसे भरोसेमंद साथी- जागरण लोकल ऐप।वसुंधरा की हवा भी बेहद खराब श्रेणी में
जिले में लोनी के बाद वसुंधरा क्षेत्र का वायु गुणवत्ता सूचकांक सबसे अधिक बना हुआ है। एक्यूआई 338 दर्ज किया गया। इन इलाकों के मुकाबले इंदिरापुरम व संजय नगर के लोगों को थोड़ी राहत है।लोनी में प्रदूषण के मुख्य कारण- अवैध फैक्ट्रियों का संचालन- ई-वेस्ट जलाकर धातु निकालना- जगह-जगह टूटी सड़कें- निर्माण गतिविधियों से उड़ी धूल - खुले में निर्माण सामग्री बेचना- पुराने वाहनों का संचालनबीते एक सप्ताह का जिला व लोनी का एक्यूआई
दिनांक | जिला | लोनी |
सात नवंबर | 316 | 402 |
छह नवंबर | 281 | 374 |
पांच नवंबर | 268 | स्टेशन बंद |
चार नवंबर | 314 | 383 |
तीन नवंबर | 290 | 350 |
दो नवंबर | 330 | 377 |
एक नवंबर | 306 | 344 |
इस तरह बढ़ा स्टेशनों का एक्यूआई
स्टेशन | बुधवार | बृहस्पतिवार |
इंदिरापुरम | 211 | 248 |
वसुंधरा | 319 | 338 |
लोनी | 374 | 402 |
संजय नगर | 271 | 276 |
लोनी को हाटस्पाट में शामिल किया गया है। यहां प्रदूषण रोकथाम के लिए प्राथमिकता से कार्य किया जा रहा है। बाकी क्षेत्रों में भी विभागों के साथ कार्य किया जा रहा है। - विकास मिश्र, क्षेत्रीय अधिकारी, यूपीपीसीबी