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यूपी-बिहार की लव स्टोरी: गलतफहमी में टूटा था पति-पत्नी का मजबूत रिश्ता; 5 साल बाद 'ऑपरेशन' से फिर मिले दिल

कभी-कभी गलतफहमी पति-पत्नी के मजबूत रिश्ते में दरार पैदा कर देती है। लेकिन दोनों के बीच प्यार सच्चा हो तो गलतफहमी नहीं टिक पाती हैं। ऐसा ही कुछ कौशांबी के रहने वाले विनय जयसवाल और पूजा चौधरी के साथ हुआ। अलग होने के 11 साल बाद दोबारा विवाह के पवित्र बंधन में बंध गए। विनय यूपी और पूजा बिहार की रहने वाली हैं।

By Deepa SharmaEdited By: Abhishek TiwariUpdated: Thu, 30 Nov 2023 08:44 AM (IST)
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दोबारा शादी के बाद विनय और पूजा चौधरी। सौ. स्वयं
जागरण संवाददाता, गाजियाबाद। कभी-कभी गलतफहमी पति-पत्नी के मजबूत रिश्ते में दरार पैदा कर देती है। लेकिन दोनों के बीच प्यार सच्चा हो तो गलतफहमी नहीं टिक पाती हैं। दोनों में से एक पर मुसीबत आई तो दूसरा साथ खड़ा हुआ दिखाई देता है।

ऐसा ही कुछ कौशांबी के रहने वाले विनय जयसवाल और पूजा चौधरी के साथ हुआ। अलग होने के 11 साल बाद दोबारा विवाह के पवित्र बंधन में बंध गए। तलाक के पांच साल बाद कविनगर के आर्य समाज मंदिर में विनय व पूजा ने अभिभावकों के आशीर्वाद से शादी कर ली।

विनय यूपी और बिहार की रहने वाली हैं पूजा

विनय मूल रूप से जौनपुर के मड़ियाहू के रहने वाले हैं और स्पात मंत्रालय की कंपनी में स्टील अथारिटी ऑफ इंडिया लिमिटेड (सेल) में असिस्टेंट जनरल मैनेजर हैं। पूजा पटना की रहने वाली हैं और पेशे से शिक्षिका रही हैं। दरअसल 21 अगस्त 2023 को विनय को दिल का दौरा पड़ा था। जिसके बाद उन्हें सर्जरी करानी पड़ी।

इसकी खबर जब पूजा को लगी तो वह 23 अगस्त को गाजियाबाद पति के पास आ गईं। उनकी पूरी देखभाल और खाने-पीने का ध्यान रखा। जिसके बाद दोनों के बीच की दूरियां कम हुईं और उन्होंने दोबारा शादी का फैसला लिया।

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घर में है खुशी का माहौल

पूजा और विनय की शादी आर्य समाज मंदिर में दोनों के अभिभावकों के आशीर्वाद से शादी हुई है। शादी में गवाह भी दोनों के अभिभावक ही बने हैं।

पूजा और विनय के तलाक के बाद दोबारा एक होने के फैसले से दोनों परिवार में खुशी का माहौल है। एक ओर बेटी के तलाक के बाद अकेले रहने से पूजा के घरवाले भी खुश नहीं थे और दूसरी ओर बेटे को अकेले रहता देख विनय के घरवाले भी दुखी थे।

तलाक पर सुप्रीम कोर्ट ने की थी टिप्पणी

विनय जयसवाल ने बताया कि हमारी 2012 में शादी हुई थी और कुछ ही महीनों में मतभेद शुरू हो गए थे। जिसके बाद उन्होंने तलाक का फैसला लिया। तलाक के लिए पांच साल लड़ाई चली। गाजियाबाद के फैमिली कोर्ट से केस की शुरुआत हुई थी।

इसके बाद मामला हाई कोर्ट और फिर सुप्रीम कोर्ट तक पहुंच गया था। पूजा की ओर से केस को ट्रांसफर करने की मांग हुई तो 2015 में सुप्रीम कोर्ट ने टिप्पणी करते हुए कहा था कि कि आखिर पति ही क्यों हर तरह की मुश्किल झेलें। इसके बाद 2018 में उन्होंने आपसी सहमति से तलाक ले लिया।

करियर को करेंगे सपोर्ट

विनय का कहना है कि वह अपनी एमबीए एमएड शिक्षिका पत्नी के करियर को पूरा सपोर्ट करेंगे। फिलहाल वह गाजियाबाद में उनके साथ हैं। पूजा पेशे से शिक्षिका रही हैं। अब वह अपना करियर आगे बढ़ाना चाहेंगी तो उसमें वह पूरा सपोर्ट करेंगे।

विनय और पूजा ने मंदिर में शादी की है। जब वह शादी के लिए मंदिर आए तो उनको समझाया भी गया कि आगे चाहें आपस में कितने भी मतभेद हों, लेकिन कभी अलग होने के बारे में नहीं सोचना चाहिए।

- आचार्य प्रमोद शास्त्री, पुरोहित, आर्य समाज मंदिर कविनगर

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