Move to Jagran APP

UP Lok Sabha Election: बस्ती मंडल में 84 हजार अधिक मतदाताओं ने डाले वोट, इस सीट पर है कांटे का मुकाबला

डुमरियागंज सीट पर सबसे अधिक यानी लगभग 33 हजार अधिक मतदाताओं ने इस बार अपने मताधिकार का प्रयोग किया है। डुमरियागंज सीट पर इस बार कांटे का मुकाबला है। मुख्य मुकाबले में भाजपा के जगदंबिका पाल व सपा के भीष्मशंकर उर्फ कुशल तिवारी हैं। पिछले साल यहां 52.26 प्रतिशत वोट पड़े थे लेकिन इस बार लगभग 51.94 प्रतिशत वोट डाले गए।

By Jagran News Edited By: Vivek Shukla Updated: Sun, 26 May 2024 09:19 AM (IST)
Hero Image
बस्ती जनपद के खुशहालगंज में मतदान के लिए कतार में खड़े लोग l जागरण
 उमेश पाठक, जागरण गोरखपुर। भीषण गर्मी भी मतदाताओं के हौसले को डिगा नहीं पाई है। मतदान प्रतिशत में देखेंगे तो बस्ती मंडल की तीनों लोकसभा सीटों पर मतदान प्रतिशत भले ही कम नजर आ रहा हो लेकिन संख्या देखेंगे तो लगभग 84 हजार अधिक मतदाता बूथों तक पहुंचे हैं और अपने मताधिकार का प्रयोग किया है। यह संख्या चुनाव परिणाम पर भी असर डालेगी।

डुमरियागंज सीट पर सबसे अधिक यानी लगभग 33 हजार अधिक मतदाताओं ने इस बार अपने मताधिकार का प्रयोग किया है। डुमरियागंज सीट पर इस बार कांटे का मुकाबला है। मुख्य मुकाबले में भाजपा के जगदंबिका पाल व सपा के भीष्मशंकर उर्फ कुशल तिवारी हैं।

इसे भी पढ़ें-प्रदेश का सबसे गर्म शहर बना ताजनगरी, गोरखपुर में पारा 42 पार

पिछले साल यहां 52.26 प्रतिशत वोट पड़े थे लेकिन इस बार लगभग 51.94 प्रतिशत वोट डाले गए। लेकिन मतदाताओं की संख्या बढ़ने के कारण पड़े वोटों में वृद्धि हुई है।

इन बढ़े मतों से किसका फायदा हुआ है, यह चार जून को मतगणना के बाद ही पता चलेगा। बात बस्ती संसदीय सीट की करें तो यहां भी इस बार मतदान प्रतिशत कुछ कम रहा। पिछले साल 57.15 प्रतिशत वोट डाले गए थे जबकि इस बार 56.66 प्रतिशत वोट पड़े हैं। यानी आधे प्रतिशत से भी कम का अंतर आया है।

इसे भी पढ़ें-देवरिया में तेज रफ्तार बाइक पेड़ से टकराई, एक ने मौके पर ही तोड़ा दम और तीन...

संख्या में देखेंगे तो लगभग 24 हजार अधिक मतदाताओं ने अपने मताधिकार का प्रयोग किया है। यहां मुख्य मुकाबला भाजपा के हरीश द्विवेदी एवं सपा के रामप्रसाद चौधरी के बीच हुआ है। संतकबीर नगर संसदीय सीट पर सर्वाधिक मत घटे हैं। पिछले साल की तुलना में यहां लगभग डेढ़ प्रतिशत वोट कम पड़े हैं। लेकिन संख्या के आधार पर देखेंगे तो यहां भी लगभग 27 हजार वोट अधिक पड़े हैं।

इस सीट पर भी मुख्य मुकाबला भाजपा व सपा के बीच नजर आया। भाजपा की ओर से प्रवीण निषाद तो सपा की ओर से लक्ष्मीकांत उर्फ पप्पू निषाद मैदान में हैं।

कहना मुश्किल किसका नुकसान, किसका फायदा

मतदान प्रतिशत घटने के बाद एक चर्चा शुरू हो गई कि इससे किस दल को फायदा होगा और किसका नुकसान। हर सीट पर मतदाताओं की संख्या ठीक-ठाक बढ़ी है, इसलिए यह अनुमान लगाना कठिन है कि इससे फायदा या नुकसान किसका होगा।

बढ़े हुए ये मतदाता भी इन सीटों पर निर्णायक हो सकते हैं। पिछले चुनाव में डुमरियागंज सीट पर जीत का अंतर एक लाख से अधिक मतों का था जबकि बस्ती व संतकबीर नगर सीट पर 40 हजार से कम मतों के अंतर से जीत-हार का फैसला हो गया था।

आपके शहर की हर बड़ी खबर, अब आपके फोन पर। डाउनलोड करें लोकल न्यूज़ का सबसे भरोसेमंद साथी- जागरण लोकल ऐप।