Move to Jagran APP
5/5शेष फ्री लेख

Gorakhpur News: अपनों ने पहले ही ठुकराया, विभाग भी मरहम न लगा पाया

UP Vridha Pension Yojana उत्तर प्रदेश वृद्धावस्‍था पेंशन प्रदेश के ऐसे सभी नागरिको को देने का प्रावधान है जो क‍िसी भी पेंशन का लाभ नहीं ले रहे हैं। ऐसे पात्र लोग आवेदन कर योजना का लाभ ले सकते हैं। पेंशन की धनराशि सीधे बैंक खाते में दी जाती है। इच्छुक उम्मीदवार पोर्टल पर जा कर ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं।

By Sunil Singh Edited By: Vivek Shukla Updated: Fri, 28 Jun 2024 01:18 PM (IST)
Hero Image
वृद्धजन को पेंशन नहीं मिल पा रही है। (सांकेतिक तस्‍वीर)

सुनील सिंह, जागरण, गोरखपुर। अपनों से ठुकराए गए वृद्धजन को वृद्धाश्रम में ठिकाना तो मिल गया, लेकिन उनको वृद्धावस्था पेंशन नहीं मिल पा रही है। ऐसा तब है जब वृद्धावस्था पेंशन योजना भी उसी विभाग की ओर से संचालित हाेती है, जिस पर वृद्धाश्रम के संचालन की जिम्मेदारी है। वृद्धाश्रम में रहने वाले 113 में पेंशन से वंचित रहने वाले वृद्धजन की संख्या 45 है। वर्षों से रहने की वजह से इन लोगों का पता भी वृद्धाश्रम ही है।

बड़गो झरवा में संचालित हो रहे वृद्धाश्रम में अपनों से ठुकराए गए 113 वृद्धजन रहते हैं। यहां उनके लिए नाश्ता, भोजन के साथ ही रहने का इंतजाम किया गया है। समाज कल्याण विभाग की ओर से 68 लोगाें को तो पेंशन दी जाती है, लेकिन वर्षों से रह रहे 45 लोगों को पेंशन नहीं मिलती है।

इसे भी पढ़ें- लखनऊ LDA में बड़ा घोटाला..., अखिलेश यादव के ड्रीम प्रोजक्‍ट की फाइल गायब, रिपोर्ट दर्ज कराने के निर्देश

ऐसे वृद्धजन के पास वृद्धावस्था पेंशन के लिए आनलाइन आवेदन करते समय लगने वाले जरूरी कागजात ही नहीं हैं। 13 लोगों के पास तो आधार कार्ड और कई लोगों के पास मोबाइल फोन ही नहीं हैं।

सवाल यह है कि इन वृद्धजन के आय प्रमाण पत्र व आधार कार्ड बनवाने का कार्य कौन करे? इन सबमें पड़ने की बजाय जिम्मेदारों ने मुंह मोड़ लेना ही मुनासिब समझ लिया है। समाज कल्याण विभाग की ओर से इनको पेंशन दिलाने का प्रयास ही नहीं किया गया है। ऐसे वृद्धजन की रुपये संबंधी जरूरतें पूरी नहीं हो पाती हैं। मन को मनाते हुए वृद्धजन इसे नियति मान लिए हैं।

क्या कहते हैं वृद्धजन

जिनसे बुढ़ापे में सहारे की उम्मीद थी, उन्होंने तो साथ छोड़ दिया। यहां रहने और खाने में कोई दिक्कत नहीं है। पेंशन मिलती तो पास में कुछ रुपये भी रहते। - मनोज कुमार

- इससे खराब क्या हो सकता है कि अपनों का साथ छोड़कर वृद्धाश्रम में रहना पड़ता है। वैसे यहां कोई दिक्कत तो नहीं होती है। वृद्धावस्था पेंशन मिलती तो अच्छा रहता। - शीला देवी

- वृद्धाश्रम में रहना मजबूरी है। रुपये की जरूरत होती है तो खलता है। वृद्धावस्था पेंशन के लिए जरूरी कागजात नहीं है। विभाग के लोग मदद करते तो पेंशन मिल सकती थी। - मनोज श्रीवास्तव

- अपनी बात किससे कहने जाएं। यहां खाना-पीना मिल जाता है। सोने के लिए जगह है। पेंशन मिलती तो अन्य वृद्धजनों की तरह मैं भी कुछ बाहर से मंगाकर खा-पी सकती। - सरवर

इसे भी पढ़ें-अब गर्मी में गश खाकर नहीं गिरेंगे ट्रैफिक संभालने वाले जवान, मिला खास हेलमेट

आवेदन के लिए जरूरी कागजात

- आधार कार्ड

- एकल खाता संख्या

- आय प्रमाण पत्र (शहरी क्षेत्र के लिए 56460 और ग्रामीण क्षेत्र के 46080 रुपये वार्षिक है)

- फोटो

- मोबाइल फोन नंबर

नोट- बैंक खाता एनपीसीआइ (भारतीय राष्ट्रीय भुगतान निगम) से लिंक होना चाहिए।

जिला समाज कल्याण अधिकारी वशिष्ठ नारायण सिंह ने कहा कि वृद्धाश्रम में रहने वाले जिन 45 वृद्धजन को पेंशन नहीं मिल पा रही, उनके पास वृद्धावस्था पेंशन के आवेदन के लिए जरूरी कागजात नहीं हैं। ऐसे लोगों का यहीं के पते से कागजात तैयार कराया जाएगा। इसके बाद आवेदन कराकर पेंशन दिलाई जाएगी।

आपके शहर की तथ्यपूर्ण खबरें अब आपके मोबाइल पर