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PMFBY: फसल बीमा व नुकसान के लिए किसानों को नहीं करना होगा इंतजार, अब डिजिटल तरीके से होगा फसलों का सर्वे

PMFBY किसानों के लिए अच्छी खबर है। किसानों को अब आपदा में नुकसान फसलों के भुगतान के लिए चक्कर नहीं काटना पड़ेगा। अब डिजिटल तरीके से उनके फसलों की निगरानी की जाएगी। इसके लिए एग्रीकल्चर स्टेक एप पर किसानोें के खेत आनलाइन होंगे। फोटो के साथ फसलों का ब्योरा अपलोड होगा। जिससे किसानों को आसानी से योजनाओं का लाभ मिल सकेगा।

By Jagran NewsEdited By: Pragati ChandUpdated: Mon, 11 Sep 2023 02:43 PM (IST)
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फसल बीमा व नुकसान के लिए किसानों को नहीं करना होगा इंतजार। (प्रतीकात्मक तस्वीर)

गोरखपुर, जितेन्द्र पाण्डेय। किसानों को फसल बीमा, आपदा में नुकसान समेत अन्य के लिए अधिकारियों के कार्यालय के चक्कर नहीं लगाने होंगे। आपदा में नुकसान फसलों के भुगतान के लिए भी उन्हें इंतजार नहीं करना होगा। न ही अधिकारियों को क्राप कटिंग के लिए गांव-गांव घूमकर फसलों की कटाई करानी होगी। एग्री स्टेक एप पर किसानों के खेत का पूरा डाटा मिलेगा। साथ ही किसानों ने अपने खेते के एक गाटे में कौन-कौन सी फसल की बोआई की है ये सब जानकारी फोटो के साथ मिलेगी।

किसानों के खेत का ई पड़ताल करा रही सरकार

प्रदेश के जिलों में सरकार किसानों के खेत का ई पड़ताल करा रही है। इसमें गोरखपुर समेत 21 जिले के सभी गांवों का होना है। वहीं अन्य जिले के 10-10 गांवों का। इसी के तहत गोरखपुर में 2870 गांवों के 10 लाख 47 हजार 794 गाटों का ई पड़ताल कृषि विभाग के साथ संयुक्त रूप से राजस्व और ग्राम पंचायत विभाग के 918 कर्मचारी लगे हैं। इसमें कृषि विभाग के अधिकारियों को नोडल बनाया गया है।

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अक्टूबर में धान के फसल की कटान शुरू हो जाती है। इसलिए कर्मचारियों को 30 सितंबर तक यह कार्य पूर्ण कर लेना है। ये कर्मचारी अपने मोबाइल में एप डाउनलोड कर गांव-गांव पहुंच रहे हैं। इसके बाद किसान के खेत के पास खड़ा होकर गाटे की फोटो करके कौन सी फसल है, एक गाटे में और कौन-कौन सी फसलों की बोआई हुई है, उनके नाम को दर्ज कर रहे हैं। इसके अलावा अगर खेत में फसल के साथ मकान बना है तो एप पर इसे भी दर्शाया जा रहा है। यद्यपि अभी तक कर्मचारियों ने 258 गांवों में पहुंचकर 15 लाख 442 गाटा का सर्वे कर एप पर डाउनलोड किया है।

हर छह माह में होंगे ई पड़ताल

सरकार द्वारा कराया जा रहा है ई पड़ताल हर छह माह में कराया जाएगा। यद्यपि एक बार होने के बाद कर्मचारियों को किसानों के नाम और खेत के आगे फसलों के नाम और फोटो ही अंकित करने होगी। अगर किसी किसान का खेत एप पर अपलोड नहीं हुआ होगा। सिर्फ उन्हीं का नए तरीके से डीटेल भरना होगा। इसके जरीए अगर कोई किसान फसल की बोआई न करते हुए भी आपदा में फसल को नुकसान बताया है तो उसका झूठ पकड़ा जाएगा। विभाग एप पर जाकर किसान का गाटा नंबर डालकर फसल की जांच कर सकती है कि उसने बोआई की है या नहीं।

किसान क्रेडिट कार्ड लेने में भी होगी आसानी

एग्री स्टेक एप पर किसानों का डाटा भरने के बाद किसानों को किसान क्रेडिट कार्ड लेने के लिए भी आसानी होगी। अगर सरकार बैंक को एप देखने की अनुमति देती है तो बैंक में बैठे-बैठे कर्मचारी किसान का गाटा नंबर और कौन सी फसल है देखकर क्रेडिट कार्ड पास कर सकते हैं। इसके लिए बैंक कर्मियों को किसान के खेत में नहीं जाना होगा।

क्या कहते हैं अधिकारी

जिला कृषि अधिकारी देवेद्र प्रताप सिंह ने कहा कि एग्री स्टेक परियोजन के तहत गांव- गांव किसानों के खेत का ई पड़ताल के तहत सर्वे कराया जा रहा है। कर्मचारी एग्री स्टेक एप पर किसानों का गाटा नंबर, फसल की फोटो और नाम डाउनलोड कर रही है। 30 सितम्बर तक पूरा करने का लक्ष्य है। इसके शुरु हो जाने पर किसानों के साथ कृषि विभाग को काफी सहूलियत मिलेगी। कार्यालय में बैठकर ही किसान ने कौन सी फसल की बोआई की है, आपदा में कितना नुकसान हुआ है समेत अन्य की जांच की जा सकती है।

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