अधिक अंक वाले को नहीं बुलाया, कम अंक वाले को दे दी नौकरी...रेलवे ने सुधारी अपनी गलती
बोर्ड की पहल पर रेलवे प्रशासन ने मुख्य टिकट निरीक्षक जगतारा संगम को सहायक वाणिज्य प्रबंधक के पद पर तैनात कर अपनी साख बचा ली है। दैनिक जागरण ने इस मामले को प्रमुखता से उठाया था।
गोरखपुर, जेएनएन। आखिरकार, सहायक वाणिज्य प्रबंधक ग्रुप बी की 30 फीसद सीमित विभागीय परीक्षा (एलडीसीई) में अनियमितता का पटाक्षेप हो ही गया। बोर्ड की पहल पर पूर्वोत्तर रेलवे प्रशासन ने मुख्य टिकट निरीक्षक जगतारा संगम को सहायक वाणिज्य प्रबंधक के पद पर तैनात कर अपनी साख बचा ली है। दैनिक जागरण ने इस मामले को प्रमुखता से उठाया था।
रेलवे बोर्ड के दिशा-निर्देशन में 11 फरवरी 2018 को एलडीसीई की लिखित परीक्षा हुई थी। 25 जून को रेलवे प्रशासन ने अनुसूचित जाति वर्ग में सर्वाधिक अंक प्राप्त करने वाले जगतारा संगम को साक्षात्कार में नहीं बुलाया और आनन- फानन में कम अंक पाने वाले अभ्यर्थी की तैनाती सुनिश्चित कर दी। दैनिक जागरण ने 26 अक्टूबर और एक नवंबर 2018 के अंक में इस मामले को प्रमुखता से उठाया। इसके बाद रेलवे प्रशासन ने अपनी गलती स्वीकार करते हुए जगतारा के साक्षात्कार आदि की प्रक्रिया शुरू कर दी।
इसी बीच, यह मामला रेलवे बोर्ड से लगायत संसद तक पहुंच गया। बोर्ड की पहल और महाप्रबंधक के निर्देश पर कार्मिक विभाग ने कम अंक पाने वाले की जगह सर्वाधिक अंक पाने वाले जगतारा संगम को पदस्थापित कर दिया है। उप मुख्य कार्मिक अधिकारी ने 23 जनवरी को दो सामान्य और एक अजा वर्ग सहित कुल तीन पद की संशोधित सूची जारी कर दी है।
जागरण व आरटीआइ को आभार
जगतारा संगम ने कहा कि यह सत्य की जीत हुई है। लोगों का सिस्टम पर विश्वास बना रहेगा। मामले को उजागर करने में दैनिक जागरण और सूचना का अधिकार ने अहम भूमिका निभाई। बोर्ड और जीएम ने संज्ञान लिया। इन सबके के प्रति आभार।