UP News: गोरखपुर में मांगों को लेकर दृष्टिबाधित छात्रों का हंगामा, डीएम कार्यालय में की तोड़फोड़
उत्तर प्रदेश के गोरखपुर में राजकीय स्पर्श इंटर कालेज के दृष्टिबाधित छात्रों ने डीएम से मिलने कलेक्ट्रेट पहुंचकर जमकर हंगामा किया। उन्होंने डीएम कार्यालय में लगी खिड़कियों के शीशे तोड़ दिए और अधिकारियों के साथ धक्का-मुक्की की। आरोप है कि प्रशासन ने लाठियां पटककर छात्रों को परिसर से बाहर निकाला। छात्र अपने तीन अध्यापकों के स्थानांतरण का विरोध कर रहे थे।
जागरण संवाददाता, गोरखपुर। विभिन्न मांगों को लेकर डीएम से मिलने कलेक्ट्रेट पहुंचे राजकीय स्पर्श इंटर कालेज के दृष्टिबाधित छात्रों ने हंगामा कर दिया। उन्होंने डीएम कार्यालय में लगी खिड़कियों के शीशे तोड़ दिए। अधिकारियों एवं सुरक्षा कर्मियों के साथ धक्का मुक्की की।
आरोप है कि प्रशासन की ओर से लाठियां पटककर छात्रों को परिसर से बाहर किया गया और बस में बैठाकर उनके विद्यालय भेज दिया गया। छात्र अपने विद्यालय के तीन अध्यापकों को स्थानांतरित करने का विरोध करते हुए स्थानांतरण निरस्त करने सहित कई मांगें पूरा करने को कह रहे थे।
इस अनुशासनहीनता के कारण विद्यालय के प्रधानाचार्य डा. लक्ष्मी शंकर जायसवाल ने 14 छात्रों को निलंबित करने की प्रक्रिया शुरू कर दी है। उनके अभिभावकों को बुलाकर घर भेजा जाएगा।
डीएम कार्यालय की खिड़की के शीशा तोड़ते दृष्टिबाधित छात्र। वीडियो ग्रैब
लालडिग्गी स्थित राजकीय स्पर्श इंटर कालेज में अध्ययनरत कक्षा आठ से 12 तक के लगभग 50 छात्र बुधवार की सुबह लगभग 11 बजे पर्यटन भवन स्थित कलेक्ट्रेट पहुंच गए। उन्होंने वहां धरना दिया। वे तीन अध्यापकों का स्थानांतरण रोकने की मांग कर रहे थे।
इसे भी पढ़ें-फिरोजाबाद में प्रसिद्ध कथावाचक पं. प्रदीप मिश्रा के मंच पर घमासान, भुगतान के लिए धरने पर बैठा टेंट कारोबारीविद्यालय में 14 छात्र हैं, जिनमें से सचींद्रनाथ मिश्र का स्थानांतरण मिरजापुर, शारदा प्रजापति का स्थानांतरण बलिया व विनोद कुमार का महराजगंज कर दिया गया। छात्रों का कहना था कि उनके जाने से पठन-पाठन प्रभावित होगा।
उनकी मांग पर जिला प्रशासन के अधिकारियों ने कहा कि इसके लिए जिलाधिकारी की ओर से शासन को पत्र लिखा जाएगा। इसके बाद उन्होंने तत्काल दो लोगों के स्थानांतरण की मांग की। उस संबंध में शासन में बात करने का आश्वासन दिया गया लेकिन छात्र तत्काल कार्रवाई चाह रहे थे।कलेक्ट्रेट परिसर से बाहर निकाले जा रहे दृष्टिबाधित छात्र। वीडियो ग्रैब
छात्रों ने कहा कि उनके यहां एक वाशिंग मशीन है। उन्होंने तीन और मशीन की मांग की। प्रशासन की ओर से कहा गया कि एक मशीन और तत्काल में दे दी जाएगी, शेष की भी व्यवस्था की जाएगी लेकिन छात्र यह मांग तुरंत मानने को कह रहे थे। उन्होंने टेबलेट की भी मांग रखी।छात्रों ने उन्हें मिलने वाले दो हजार रुपये के मानदेय को तत्काल बढ़ाकर चार हजार रुपये करने की भी मांग की। प्रशासन की ओर से मौजूद अपर जिलाधिकारी वित्त एवं राजस्व विनीत कुमार सिंह, अपर जिलाधिकारी भू राजस्व सुशील कुमार गोंड एवं अपर जिलाधिकारी नगर अंजनी कुमार सिंह ने छात्रों को समझाने की कोशिश की लेकिन सफलता नहीं मिली। इसे भी पढ़ें-इलाहाबाद विश्वविद्यालय में खुला बंद लॉकर तो निकला हजारों वर्ष पुराना 'खजाना', जम्मू-कश्मीर का यह राज भी आया सामनेवहां विद्यालय के प्रधानाचार्य भी आ गए लेकिन छात्र नहीं माने और उन्होंने हंगामा शुरू कर दिया। कलेक्ट्रेट के कर्मचारी सभागार में चले गए और दरवाजा बंद कर दिया गया। छात्र दरवाजे पर धक्का देने लगे। सुरक्षाकर्मी रोकने आए तो उनके साथ भी धक्का-मुक्की की। काफी आक्रोशित नजर आ रहे छात्रों ने खिड़कियों के शीशे तोड़ दिए और नारेबाजी करने लगे। हंगामा बढ़ता देख लगभग सवा दो बजे उन्हें परिसर से बाहर खदेड़ दिया गया। आरोप है कि इस दौरान लाठी भी पटकी गई। उन्हें बस में बैठाकर विद्यालय भेज दिया गया।
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