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Gorakhpur News: बेटे ने बाप से मांगी पांच लाख की फिरौती, ऑनलाइन गेम में रुपये हारने पर रची अपहरण की साजिश

गायत्रीनगर ऊंचवा में रहने वाले शख्स के बेटे ने आनलाइन लूडो गेम खेलने के दौरान पिता के खाते से तीन लाख रुपये निकाले जो हार गया। रुपयों की भरपाई करने के लिए उसने खुद के अपहरण की झूठी कहानी गढ़ डाली। मां के मोबाइल फोन पर बेहोशी की हालत में अपहरण की तस्वीर भेज पांच लाख की फिरौती की मांग कर डाली। सर्विलांस की मदद से उसे बरामद किया गया।

By Jagran NewsEdited By: Pragati ChandUpdated: Sun, 17 Sep 2023 09:19 AM (IST)
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रुपये हारने पर गढ़ी अपहरण की झूठी कहानी। (प्रतीकात्मक तस्वीर)

गोरखपुर, जागरण संवाददाता। आनलाइन लूडो गेम में पिता के रुपये हारने वाले युवक ने खुद के अपहरण की झूठी कहानी रच दी। मां के पास बेहोशी की स्थिति में बंधक बनाए जाने की फोटो भेजने के साथ पांच लाख रुपये की फिरौती भी मांगी। सर्विलांस की मदद से छानबीन में जुटी एम्स थाना पुलिस ने युवक को आठ घंटे के भीतर लखनऊ के ऐशबाग रेलवे स्टेशन से बरामद कर लिया।

यह है मामला

एसपी सिटी कृष्ण कुमार बिश्नोई ने अपने कार्यालय में प्रेस वार्ता कर यह जानकारी दी। उन्होंने बताया कि गायत्रीनगर ऊंचवा में रहने वाले अशोक कुमार परिवहन विभाग में काम करते हैं। शुक्रवार रात 8:00 बजे अशोक कुमार ने एम्स थाना पुलिस तहरीर दी कि उनका बेटा दीपांकर जिम जाने के लिए घर से निकला था, उसका अपहरण हो गया है। अपहरण करने वालों ने पत्नी के मोबाइल फोन पर दीपांकर की फोटो भेजी है, जिसमें वह बेहोश है। पांच लाख रुपये फिरौती मांगने के साथ ही बेटे के बैंक खाते में भेजने को कह रहे हैं।

युवक तक ऐसे पहुंची पुलिस

एम्स पुलिस ने सर्विलांस की मदद से छानबीन शुरू की तो पता चला कि युवक इस समय बस्ती में है। पुलिस पहुंची तो पता चला कि बाराबंकी पहुंच गया है। भोर में उसे लखनऊ के ऐशबाग स्टेशन से बरामद कर लिया गया। दीपांकर ने बताया कि वह बीए प्रथम वर्ष का छात्र है। आनलाइन लूडो गेम खेलने में उसने पिता के खाते से करीब तीन लाख रुपये निकाल लिए, जिसे हार गया।

चेतावनी देकर पुलिस ने युवक को घरवालों के साथ भेजा

दीपांकर को पिता के खाते का नंबर व एटीएम कार्ड का पिन नंबर पता था। रुपये की भरपाई करने के लिए उसने अपहरण की झूठी कहानी रच पांच लाख रुपये फिरौती मांगी थी। एसपी सिटी ने बताया कि चेतावनी देकर युवक को स्वजन के साथ भेज दिया गया।

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उच्च न्यायालय के निर्णय के बाद न्यायिक कार्य करेंगे अधिवक्ता

हापुड़ प्रकरण में चल रहे प्रदेश व्यापी आंदोलन के परिप्रेक्ष्य में प्रदेश बार कौंसिल की ओर से जारी दिशा-निर्देश, प्रदेश सरकार की अभी तक की कार्रवाई तथा हापुड़ बार एसोसिएशन द्वारा जारी पत्र के संदर्भ में विभिन्न अधिवक्ता संगठनों की संयुक्त बैठक शनिवार को बार एसोसिएशन के सभागार में हुई। बार एसोसिएशन सिविल कोर्ट के अध्यक्ष मनोज कुमार पांडेय व मंत्री धीरेंद्र द्विवेदी ने बताया कि बैठक के दौरान हापुड़ बार एसोसिएशन के मंत्री से भी वार्ता हुई और उनके द्वारा पूर्व में प्रेषित पत्र सभी पदाधिकारियों ने देखा और उसके संबंध में अभी तक हुई कार्रवाई पर गहन विचार किया गया।

सभी परिस्थितियों को देखते हुए सर्वसम्मति से निर्णय लिया गया कि 18 सितम्बर को उच्च न्यायालय द्वारा हापुड़ प्रकरण में दाखिल पीआइएल पर होने वाली सुनवाई के निर्णय की प्रतीक्षा के उपरांत हड़ताल को स्थगित कर अपने कार्य प्रारंभ करें। प्रदेश सरकार द्वारा एडवोकेट प्रोटेक्शन एक्ट लागू करने के संबंध में बार कौंसिल आफ उत्तर प्रदेश को सहमति व्यक्त की गई है। जब तक एडवोकेट प्रोटेक्शन एक्ट लागू नहीं हो जाता, तब तक प्रत्येक माह के प्रथम व तृतीय शनिवार को न्यायिक कार्य से विरत रहकर जिलाधिकारी /उपजिलाधिकारी के माध्यम से शासन को ज्ञापन देंगे। आंदोलन के दौरान प्रदर्शन कर रहे कुछ अधिवक्ताओं पर कार्रवाई की बात पर अधिवक्ता सहमत नहीं हैं और इसका विरोध करते हैं। इस संबंध में बार कौंसिल आफ उत्तर प्रदेश को तीन दिन के भीतर पत्र लिखा जाएगा।

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