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स्कूल में तिलक लगाकर किया स्वागत तो भड़क उठे छात्र, शिक्षकों को मांगनी पड़ी माफी; यूपी के इस जिले का मामला

एक जुलाई को गर्मियों की छुट्टियां खत्म होने के बाद स्कूल खोले गए। इस दौरान स्कूल पहुंचे छात्रों पर पुष्पवर्षा की गई। साथ ही स्वागत में तिलक लगाया गया। वहीं इस दौरान कुछ छात्रों ने एतराज जताया और पानी तिलक धो दिया। सूचना पर स्कूल में अभिभावक भी पहुंच। इसके बाद मामला गरमा गया। मौके पर पुलिस को बुलाना पड़ा।

By Dhrub Sharma Edited By: Geetarjun Published: Mon, 01 Jul 2024 08:34 PM (IST)Updated: Mon, 01 Jul 2024 08:34 PM (IST)
हापुड़ के पीरबहाउद्वीन स्कूल में मौजूद पुलिस, शिक्षक एवं समाज के लोग।

जागरण संवाददाता, हापुड़। शासन द्वारा परिषदीय स्कूलों में पहले दिन पहुंचने वाले छात्र-छात्राओं का रोली से तिलक, रंगोली, स्कूल सजाकर स्वागत करने के निर्देश दिए गए थे। सोमवार को नगर के एक स्कूल में मुस्लिम छात्रों को तिलक लगाने पर उनके अभिभावक एवं समाज के लोग भड़क गए और हंगामा शुरू कर दिया। पुलिस की मौजूदगी में शिक्षकों को खेद प्रकट करना पड़ा। उसके बाद ही समझा-बुझाकर अभिभावकों को शांत कराया गया।

शासन ने पहले दिन स्कूलों में बच्चों का स्वागत पुष्पवर्षा करके और रोली से तिलक लगाकर करने के आदेश दिए थे। इसी क्रम में नगर के पीरबहाउद्वीन प्राइमरी स्कूल में सोमवार को स्कूल आने वाले छात्र-छात्राओं पर डीआईओएस पीके उपाध्याय द्वारा पुष्प वर्षा कर रोली से तिलक करके स्वागत किया जा रहा था।

तिलक लगाने का मामला गर्माया

इस बीच वहां से गुजर रहे वसीम नाम के व्यक्ति ने मुस्लिम छात्र-छात्राओं को टीका लगाने का विरोध शुरू कर दिया। अधिकारी द्वारा शासन का आदेश होने तथा मुस्लिम छात्र होने की जानकारी नहीं होने की बात कही गई, लेकिन मामला बढ़ता गया।

हमारे यहां नहीं लगाया जाता तिलक

इस बीच अधिकारी तो वहां से चले गए, लेकिन यह संदेश अन्य लोगों तक पहुंच गया। इसी दौरान वहां लोग एकत्र हो गए और हंगामा शुरू हो गया। लोगों का कहना था कि हमारे धर्म में तिलक नहीं लगाया जाता है। स्वागत करना था तो फूल आदि से किया जा सकता था।

पुलिस ने मामला कराया शांत

इस बीच सूचना मिलने के बाद मौके पर पहुंची पुलिस ने मामले को शांत कराया। मौजूद शिक्षक ने बताया कि उनको यह पता नहीं था कि उक्त छात्र मुस्लिम है। इसके लिए उन्होंने समाज के लोगों से खेद प्रकट किया, जिसके बाद यह मामला किसी तरह शांत हुआ। इस बीच कुछ लोग इस मामले को तूल देने के लिए लगातार प्रयास करते देखे गए।

जैसे ही हम गेट पर पहुंचे तो वहां खड़े स्कूल शिक्षक एवं कार में आए एक साहब ने हमारे माथे पर तिलक करके स्वागत किया। स्कूल सजा हुआ था। साहब के जाने के बाद हमने अपना तिलक पानी से धो दिया। -अंजीम, छात्र कक्षा-4

स्कूल के गेट पर ही हमारे माथे पर तिलक लगाया गया था। कुछ देर बाद हमने उसको धो दिया। -फैज, कक्षा तीन

शासन के निर्देश पर सभी स्कूलों में अधिकारियों एवं शिक्षकों द्वारा छात्रों का स्वागत किया गया था। हमको छात्रों के धर्म के बारे में जानकारी नहीं थी, उस समय किसी बच्चे द्वारा अपने धर्म के बारे में भी जानकारी नहीं दी गई थी। -पीके उपाध्याय, डीआईओएस


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