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Hathras Case: खुलती जा रही हैं 121 मौतों के पीछे की परतें! क्यों मची भगदड़; न्यायिक जांच आयोग की टीम को बताई वजह

न्यायिक जांच आयोग की टीम ने हाथरस भगदड़ प्रकरण में अब तक 34 लोगों के बयान लिए हैं। बयानों में लगभग एक ही बात सामने आ रही है कि सत्संग में निकासी के लिए एक ही गेट था और सेवादारों ने श्रद्धालुओं से धक्का-मुक्की की जिसके कारण भगदड़ मची। लोगों के बयान लेने के बाद टीम लखनऊ चली गई है।

By Jagran News Edited By: Abhishek Saxena Updated: Mon, 08 Jul 2024 10:05 AM (IST)
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न्यायिक जांच आयोग के अध्यक्ष पूर्व न्यायाधीश बृजेश कुमार श्रीवास्तव (पीली जैकेट में) व अन्य सदस्य l जागरण

जागरण संवाददाता, हाथरस। सिकंदराराऊ के गांव फुलरई में जीटी रोड-91 के किनारे सूरजपाल (नारायण साकार विश्व हरि) के सत्संग के बाद भगदड़ के लिए क्षेत्र के लोगों ने कई वजहें बताई हैं। इनमें साकार हरि द्वारा चरण रज लेने का संदेश देने के अलावा निकासी का एक गेट और सेवादारों द्वारा धक्का-मुक्की को भी कारण माना जा रहा है।

हादसे का सच जानने के लिए न्यायिक जांच आयोग की टीम ने रविवार को पांच घंटे तक लोगों से बात की। इस दौरान 34 लोगों के बयान दर्ज किए गए। इस दौरान लोगों ने पर्याप्त इंतजाम न होने की बात कही है। टीम ने एसपी, डीएम सहित अन्य अधिकारियों के भी बयान दर्ज किए हैं। दो दिन तक जांच करने के बाद टीम देर शाम लखनऊ रवाना हो गई। जांच पूरी करने के लिए टीम जल्द वापस आएगी।

भगदड़ में 121 लोगों की जा चुकी है जान

दो जुलाई को हुए इस हादसे में 121 लोगों की जान चली गई। इसकी जांच के दूसरे दिन न्यायिक आयोग की टीम ने क्षेत्र के लोगों और पीड़ितों के स्वजन को बयान या साक्ष्य देने के लिए बुलाया था। इसके लिए अलीगढ़ रोड स्थित पीडब्ल्यूडी गेस्ट हाउस में आए लोगों से आधार कार्ड मांगे गए। उनके नाम और पते कर्मचारियों ने एक रजिस्टर में दर्ज किए। उनके मोबाइल फोन बाहर रखवा दिए गए। तलाशी लेने के बाद टीम के सामने भेजा गया। दोपहर दो बजे तक एक के बाद एक बयान दर्ज करने का दौर चला।

काफिला दूसरे रास्ते से नहीं निकला

बयान देने वालों में फुलरई से सटे गांव मुगलगढ़ी, हाथरस एवं मुरसान के अलावा कुछ लोग सादाबाद के भी थे। कई लोगों ने टीम के समक्ष यह भी कहा कि अगर साकार विश्व हरि के काफिले को दूसरे रास्ते से निकाला जाता तो हादसा नहीं होता। कुछ ने आयोजन समिति के सदस्यों पर इंतजाम न करने के आरोप लगाए। इस मामले में शनिवार की रात अधिकारियों के बयान दर्ज किए गए।

इस टीम में इलाहाबाद हाईकोर्ट के पूर्व न्यायाधीश बृजेश कुमार श्रीवास्तव, पूर्व आईएएस अधिकारी हेमंत राव और पूर्व आईपीएस अधिकारी भवेश कुमार सिंह शामिल हैं। इन्हें दो महीने में रिपोर्ट देनी है।

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चरणाें की रज लेना रहा हादसे की वजह

टीम के समक्ष मुगलगढ़ी के सुधीर प्रताप ने बताया कि हादसा होने की वजह श्रद्धालुओं द्वारा नारायण साकार हरि के चरणों की रज लेना रहा। पब्लिक भागी तो भगदड़ मच गई। जिस गेट से भीड़ निकली उसी गेट से साकार विश्व हरि के काफिले को निकाला जा रहा था। भीड़ को देख सेवादारों ने धक्का-मुक्की की जिसके कारण हादसा हुआ।

रास्ते से निकलते लोग हाथरस हादसे की जगह पर खड़े होकर देखते हैं वहां का हाल। 

भीड़ रज लेने के लिए दौड़ी तो मची भगदड़

मुरसान के देवा पहलवान ने बताया कि साकार हरि चाहते तो हादसा नहीं होता, मगर उन्होंने भक्तों से कहा कि जाते वक्त चरण रज लेकर जाना, ताकि सारे कष्ट दूर हो जाएं। जैसे ही भीड़ रज लेने को दौड़ी तो भगदड़ मच गई। हादसे के बाद घायलों को हास्पिटल हमने भिजवाया।

मुरसान के ही मुकेश कुमार ने बताया कि जिस दिन ये घटना हुई, उस दिन इस रास्ते से होकर निकल रहा था। अचानक भगदड़ देख मैं रुक गया। देखा कि भगदड़ में तमाम लाशें बिछ गईं। तमाम महिलाएं और बच्चे उपचार के लिए तड़प रहे थे। गाड़ी में कुछ घायलों को लेकर हास्पिटल लाया ताकि इलाज मिल सके।

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फिर से आएगी न्यायिक जांच आयोग की टीम

न्यायिक जांच आयोग ने बताया है कि जल्द ही टीम हाथरस फिर से आएगी। इससे पहले नोटिफिकेशन जारी किया जाएगा। जिसके तहत घटना से पीड़ित लोग, चश्मदीद, मीडियाकर्मी, अधिकारियों के बयान दर्ज कराने के लिए बुलाया जाएगा।

हाथरस के पीडब्ल्यूडी गेस्ट हाउस में रविवार को न्यायिक जांच आयोग के समक्ष बयान दर्ज कराने पहुंचे चश्मदीद और घटना से जुड़े लोग। जागरण

34 लोगों के बयान दर्ज

पीडब्लूडी गेस्ट हाउस में पूर्व न्यायाधीश बृ़जेश कुमार श्रीवास्तव ने कहा कि हादसे के कारणों को जानने के लिए लोगों के बयान दर्ज कर लिए गए हैं। और लोगों के बयान की जरूरत होगी तो उनके भी बयान लिए जाएंगे। साकार विश्व हरि से बयान लेने के सवाल पर बोले, जिससे भी बयान लेने की जरूरत होगी, सभी से बयान लिए जाएंगे। बयानों में क्या बताया गया? इस पर पूर्व न्यायाधीश ने कहा कि जांच पूरी करके शासन को दी जाएगी। 

34 लोगों के बयान दर्ज करने के बाद न्यायिक आयोग में शामिल इलाहाबाद हाईकोर्ट के पूर्व न्यायाधीश बृजेश कुमार मीडिया से बातचीत कर रहे थे। उन्होंने कहा कि जरूरत पड़ी तो साकार विश्व हरि के बयान ही नहीं उन सभी के बयान लिए जाएंगे जो हादसे के बारे में जानकारी दे सकते हों।