एलएमएल के छह हजार कर्मियों को मिलेगा फायदा, नीलामी के धन से दिया जा रहा बकाया
कानपुर की लोहिया मशीन्स लिमिटेड फैक्ट्री बंद होने के बाद छंटनी किए गए कर्मचारियों ने कोर्ट में गुहार लगाई थी। न्यायालय के आदेश के बाद कंपनी के नीलामी के धन से कर्मचारियों को वेतन समेत अन्य बकाया देयक की धनराशि अदा की जा रही है।
By Abhishek AgnihotriEdited By: Updated: Sun, 06 Feb 2022 08:53 AM (IST)
कानपुर, जागरण संवाददाता। मार्च 2018 में बंद हुई एलएमएल (लोहिया मशीन्स लिमिटेड) की संपत्तियों को बेच कर कर्मचारियों के बकाया चुकाए जा रहे हैं। कर्मचारियों के मुताबिक फैक्ट्री बंद होने के बाद इसकी नीलामी से कर्मचारियों की ग्रेच्युटी भी दी गई थी। करीब चार वर्ष में अब तक दो दर्जन बार नीलामी के नोटिस निकल चुके हैं।
वर्ष 2007 में तालाबंदी के दौरान छंटनी किए गए छह हजार से ज्यादा कर्मचारी वेतन, भत्ते व अन्य लाभ न मिलने पर न्यायालय गए थे। औद्योगिक प्राधिकरण ने आदेश दिए थे कि फैक्ट्री मालिक को कर्मचारियों के वेतन, भत्ते व अन्य लाभ देने होंगे। इसके बाद प्रयागराज हाईकोर्ट ने भी इस निर्देश को कर दिया है। वैसे जो कर्मचारी 2018 में फैक्ट्री बंद होने तक काम करते रहे, उनके भी वेतन का बकाया है। इन कर्मचारियों का कहना है कि उनके अंतिम के तीन माह और उसके पहले के तीन माह का वेतन बाकी है। यह धन उन्हें नहीं मिल पा रहा है।
हालांकि जब फैक्ट्री बंद होने के बाद पहली बार नीलामी हुई थी तो ज्यादातर को अपना ग्रेच्युटी का धन मिल गया था। कर्मचारियों का कहना है कि उन्हें अपना भविष्य निधि अंशदान निकालने में भी मुश्किलें हो रही हैं क्योंकि फैक्ट्री में कोई उनके फार्म को प्रमाणित करने वाला नहीं है। इसके लिए भविष्य निधि कार्यालय किसी तरह की राहत दे दे तो बहुत सारे कर्मचारियों के लिए अपना भविष्य निधि अंशदान निकालना आसान हो जाएगा क्योंकि उनके पास धन नहीं बचा है।
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