गुजरात से अगले सप्ताह कानपुर के लिए रवाना होगी मेट्रो, पालीटेक्निक डिपो में होगी असेंबलिंग
गुजरात के सावली से पांच सितंबर को तीन ट्रेलर से मेट्रो के कोच 15 सितंबर तक कानपुर आएंगे। इसके बाद पालीटेक्निक डिपो में मेट्रो टेन की असेंबलिंग के बाद 23 सितंबर को ट्रैक पर सामने लाने की तैयारी की जा रही है।
कानपुर, [राजीव सक्सेना]। शहर में मेट्रो ट्रेन को देखने का इंतजार खत्म होने वाला है। गुजरात के सावली प्लांट में बन रहे मेट्रो के कोच पांच सितंबर को वहां से रवाना होंगे और 15 सितंबर के करीब कानपुर पहुंचेंगे। पहुंचने में इतने दिन इसलिए, क्योंकि वाया सड़क मार्ग मेट्रो को सुरक्षित तरीके से लाने में 10-12 दिन लग जाते हैं। यहां आने के एक सप्ताह बाद तीनों कोचों को पालीटेक्निक कोच में असेंबल कर इसे ट्रेन के रूप में तैयार कर लिया जाएगा। उसी समय इसे पहली बार सामने लाने की तैयारी है।
15 नवंबर 2019 को कानपुर में मेट्रो का कार्य शुरू किया गया था। मेट्रो का कार्य शुरू होते ही लोगों को इंतजार था कि आखिर कब मेट्रो ट्रेन कानपुर आएगी। मेट्रो के अधिकारियों ने यूं तो घोषित कर रखा है कि सितंबर के अंत में मेट्रो आ जाएगी, मगर सावली से पांच सितंबर को मेट्रो ट्रेन रवाना होने की तैयारियां पूरी कर ली गई हैं। पूरे रूट को भी चेक कर लिया गया है। मेट्रो के तीनों कोच की लंबाई कुल मिलाकर 89 मीटर के करीब होती है। एक कोच की लंबाई 30 मीटर के करीब है। अलग-अलग ट्रेलर से इन्हें लाना है, इसलिए यह रूट चेक करना जरूरी था। वैसे ही ट्रेलर के आगे वायरलेस से लैस एक टीम चलेगी।
ऊर्जा रीजेनरेट में लखनऊ से अपग्रेड : कानपुर की मेट्रो ऊर्जा को उत्पन्न कर उसे अगली ट्रेन तक पहुंचाने के मामले में लखनऊ मेट्रो से ज्यादा अपग्रेड है। ट्रेन का ब्रेक लगने पर जो ऊर्जा पैदा होती है, उसे ट्रेन पीछे से आने वाली ट्रेन को भेज देगी। लखनऊ में इससे 38 फीसद ऊर्जा की बचत हो रही है। कानपुर में इससे 45 फीसद ऊर्जा की बचत होगी।
970 यात्रियों की होगी क्षमता : तीन कोच में 970 यात्री एक साथ यात्रा कर सकेंगे। बीच वाले कोच की क्षमता 340 यात्रियों की है। पहले और तीसरे कोच की क्षमता 315-315 यात्रियों की है।
ट्रेन पर नजर आएगा कानपुर के प्रमुख स्थानों का लुक : ट्रेन के आगे और दोनों तरफ कुछ ऐसे चिह्न होंगे जो कानपुर के प्रमुख स्थानों को दर्शाएंगे। इनमें जेके मंदिर की झलक नजर आएगी। इसके साथ स्वतंत्रता संग्राम के स्थलों के बारे में भी दर्शाया जा सकता है।