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डेढ़ करोड़ के लिए छात्र का अपहरण, टीवी सीरियल सीआइडी की तरह अपहर्ता तक पहुंची कानपुर पुलिस

कमिश्नरेट पुलिस ने चंद घंटों में ही अपहृत छात्र को बांदा से मुक्त करा अपहरणकर्ता को गिरफ्तार कर लिया पूछताछ में डेढ़ करोड़ की फिरौती के लिए अपहरण करने की बात सामने आई है। पुलिस आयुक्त ने घटना का पर्दाफाश करने वाली टीम को पुरस्कृत करने की घोषणा की है।

By Abhishek AgnihotriEdited By: Updated: Sat, 23 Oct 2021 09:35 AM (IST)
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सचेंडी से किसान के बेटे का हुआ था अपहरण।
कानपुर, जेएनएन। सचेंडी से 15 वर्षीय छात्र का अपहरण हुआ तो टीवी सीरियल सीआइडी की तरह कानपुर पुलिस भी चंद घंटों में सुराग लगाते हुए अपहर्ता तक पहुंच गई। एक छोटी सी जानकारी के आधार पर पुलिस ने देर शाम बांदा में छात्र को अपहरणकर्ता के चंगुल से मुक्त करा लिया। पुलिस की पूछताछ में डेढ़ करोड़ की फिरौती के लिए रिश्तेदारों द्वारा अपहरण की बात सामने आई है। पुलिस आयुक्त ने पर्दाफाश करने वाले पुलिस कर्मियों को पुरस्कृत करने की घोषणा की है।

सचेंडी थाना क्षेत्र में कला का पुरवा निवासी किसान दीपेंद्र सिंह का 15 वर्षीय बेटा वैभव सिंह चंदेल शुक्रवार शाम सुंदर नगर स्थित महिंद्रा क्लासेस में ट्यूशन पढऩे आया था। शाम को जब वह घर नहीं पहुंचा तो परिवार वालों को चिंता हुई। परिवार वाले रात भर उसे तलाशते रहे, लेकिन उसका पता नहीं चला। सुबह होने पर स्वजन ने पुलिस को सूचना दी। पुलिस ने इस मामले में जांच शुरू की तो सुबह करीब 7:00 बजे पुलिस को अपहृत वैभव की साइकिल पनकी क्षेत्र में एक गुमटी के बाहर खड़ी मिली। इसके बाद पुलिस ने गुमटी वाले से संपर्क किया करीब 9:00 बजे गुमटी वाला दुकान खोलने आया तो उसने बताया कि एक सफेद रंग की स्कार्पियो कार से कुछ लोग आए थे उनमें से ही एक ने यहां साइकिल खड़ी कर दी थी।

उसने कहा था कि वह कुछ देर में लौट कर आ रहा है। बाद में साइकिल ले जाएगा गुमटी वाले को कुछ शक हुआ तो उसने स्कार्पियो का नंबर नोट कर लिया। पुलिस के लिए यह सूचना पर्याप्त थी। आनन फानन गाड़ी मालिक का पता लगाया गया तो सामने आया कि यह गाड़ी दीपेंद्र सिंह के ही एक रिश्तेदार के नाम से पंजीकृत है। इसके बाद पुलिस ने दीपेंद्र के परिवार वालों की मदद से उक्त रिश्तेदार के मोबाइल नंबर जब सर्विलांस पर उन नंबरों को डाला गया तो सामने आया कि अपहृत वैभव और रिश्तेदारों के मोबाइल की लोकेशन एक ही दिशा में जा रही है। पुलिस को वैभव की लोकेशन बांदा के आसपास मिली।

क्राइम ब्रांच बांदा के लिए रवाना की गई। शाम करीब 7:00 बजे कमिश्नरेट पुलिस ने बांदा में छापा मारकर वैभव को मुक्त करा लिया। उसे अपहरणकर्ताओं ने बुरी तरीके से पीटा था और हाथ पैर बांधकर गाड़ी में ही डाला हुआ था। पुलिस आयुक्त असीम अरुण के मुताबिक जांच में सामने आया है कि दीपेंद्र सिंह ने हाल ही में लगभग डेढ़ करोड़ रुपए की जमीन बेची है। वह मूल रूप से बांदा के ही रहने वाले हैं। बांदा निवासी उनके एक रिश्तेदार को इसकी भनक थी। डेढ़ करोड़ की फिरौती वसूली की योजना बनाकर रिश्तेदार ने ही अपहरण की साजिश रची। पुलिस ने रिश्तेदार और ड्राइवर को गिरफ्तार कर लिया है। दोनों से पूछताछ की जा रही है। वैभव को उसके स्वजन के हवाले कर दिया गया है।

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