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हाईकोर्ट की अवमानना पुलिसकर्मियों को पड़ी भारी, पिंक चौकी प्रभारी समेत दो निलंबित

रायबरेली के एक मामले में हाई कोर्ट के आदेश की अवहेलना करने पर कानपुर की किदवई नगर पिंक चौकी प्रभारी रूबी सिंह और महिला थाने की एक मुंशी को निलंबित कर दिया गया है। आरोप है कि विवेचक रूबी सिंह समझौते के बाद भी वर पक्ष को बयान के लिए बुलाने के बहाने परेशान कर रही थीं। जिसके बाद पीड़ित ने हाई कोर्ट में अवमानना का वाद दायर किया था।

By ankur Shrivastava Edited By: Abhishek Pandey Updated: Sun, 15 Sep 2024 08:34 AM (IST)
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प्रस्तुति के लिए इस्तेमाल की गई तस्वीर
जागरण संवाददाता, कानपुर। महिला थाने में दर्ज मुकदमे की विवेचना के दौरान हाई कोर्ट की अवमानना पर किदवई नगर की पिंक चौकी प्रभारी रूबी सिंह समेत दो को निलंबित कर दिया गया। इसमें एक महिला थाने की मुंशी भी है। आरोप है कि उसने डाक से आए पत्र को काफी समय तक अपने पास ही दबाए रखा।

मूलरूप से रायबरेली के भीतरगांव निवासी सेवानिवृत्त शिक्षक मिथलेश अग्निहोत्री ने बताया कि उन्होंने मार्च 2017 को बेटी प्रतिभा की शादी हनुमंत विहार के संघर्ष नगर निवासी विकास पांडेय से की थी। विकास बीएसएफ में तैनात था। आरोप है कि शादी के कुछ समय बाद से ही ससुरालवालों ने प्रताड़ित करना शुरू कर दिया था। इसी बीच दामाद बेटी को बिना बताए काफी समय तक लापता रहा।

उसके विभाग से दस्तावेज निकलवाए, तब पता चला कि पत्नी का नाम किसी और का दर्ज है। बेटी ने 22 अगस्त 2023 को महिला थाने में पति समेत चार ससुरालियों पर दहेज उत्पीड़न, षड्यंत्र, धमकी, मारपीट समेत धारा में मुकदमा दर्ज कराया था। जनवरी 2024 में दोनों पक्षों ने हाई कोर्ट में समझौता कर लिया था, लेकिन मुकदमा खत्म नहीं किया गया।

चौकी प्रभारी को किया गया निलंबित

आरोप है कि विवेचक किदवई नगर पिंक चौकी प्रभारी रूबी सिंह समझौते के बाद भी वर पक्ष को बयान के लिए बुलाने के बहाने परेशान कर रही थीं। जिसके बाद विकास ने हाई कोर्ट में अवमानना का वाद दायर किया। महिला थाना प्रभारी कमल सुल्ताना ने बताया कि दो दिन पहले हाई कोर्ट ने तलब किया था। जिसके बाद चौकी प्रभारी रूबी सिंह को निलंबित कर दिया गया।

थाने की मुंशी हिना परवीन ने हाई कोर्ट के आदेश पत्र को अधिकारियों को नहीं दिया था, इसीलिए उसे भी निलंबित किया गया। वहीं, रूबी सिंह का कहना है कि हाई कोर्ट में दोनों पक्षों का समझौता होने के बाद 13 मई 2024 को मुकदमा निष्प्रभावी हो गया था। मुझे जुलाई 2024 में विवेचना मिली थी। मुकदमे में अंतिम रिपोर्ट लगाने के लिए लड़के पक्ष को बयान के लिए बुला रही थी।

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