Move to Jagran APP

'शिक्षा है सशक्त और समर्थ राष्ट्र की आधारशिला', कौशांबी में बोले CM योगी

मुख्यमंत्री ने कहा कि हमारे प्राचीन ग्रंथों से हमें प्रेरणा मिलती है कि बिना श्रद्धा के ज्ञान नहीं प्राप्त हो सकता। उन्होंने इस बात पर प्रसन्नता जताई कि इस कालेज में 2526 विद्यार्थियों में 1353 बालिकाएं पढ़ रही हैं। कहा कि यह बहुत ही शुभ संकेत है क्योंकि यहां बालकों की संख्या 1173 है यानी बेटियां एक बार फिर से यहां पर अपना स्थान बना चुकी हैं।

By raj k. srivastava Edited By: Nitesh Srivastava Updated: Wed, 27 Dec 2023 08:22 PM (IST)
Hero Image
महेश्वरी प्रसाद इंटर कालेज, आलमचंद के वार्षिकोत्सव समारोह में संबोधित करते मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ। जागरण

जागरण संवाददाता,कौशांबी। हमें स्कूली बच्चों को पढ़ाई-लिखाई के साथ परंपरागत हस्तशिल्प और खेलकूद के क्षेत्र में आगे लाना होगा। राष्ट्रीय शिक्षा नीति के अंतर्गत बच्चों के स्किल डेवलपमेंट को लेकर अभी से प्रयास करना होगा।

एक जनपद एक उत्पाद (ओडीओपी) में हम क्या नयापन दे सकते हैं, इसके शोध का केंद्र हमारे विद्यालयों को बनना होगा। सशक्त और समर्थ राष्ट्र की आधारशिला शिक्षा है। यह बातें मुख्य अतिथि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बुधवार को मूरतगंज विकास खंड के आलमचंद स्थित महेश्वरी प्रसाद इंटरमीडिएट कालेज के संस्थापक स्वर्गीय देवेंद्रनाथ श्रीवास्तव की स्मृति दिवस एवं वार्षिकोत्सव समारोह में कहीं।

मुख्यमंत्री ने छह दशक पहले प्रख्यात अधिवक्ता देवेंद्रनाथ श्रीवास्तव द्वारा अपने पूर्वजों की धरोहर को संरक्षित करने के लिए आलमचंद में इंटर कालेज की स्थापना की सराहना की। उन्होंने संस्थापक और उनके पूर्वज बाबू महेश्वरी प्रसाद को नमन करते हुए श्रद्धांजलि अर्पित की।

कहा कि विद्यालय की शुरुआत जब की गई होगी, तब यह क्षेत्र काफी पिछड़ा रहा होगा। हो सकता है तब कोई प्राथमिक विद्यालय भी न रहा हो, लेकिन मन में परोपकार, जनसेवा और पूर्वजों के प्रति कृतज्ञता का भाव रखते हुए उनके नाम की अमरता को बनाए रखने का सपना आज यहां यह कालेज हम सबके सामने मूर्तरूप में है।

बिना श्रद्धा के ज्ञान नहीं प्राप्त हो सकता

मुख्यमंत्री ने कहा कि हमारे प्राचीन ग्रंथों से हमें प्रेरणा मिलती है कि बिना श्रद्धा के ज्ञान नहीं प्राप्त हो सकता। उन्होंने इस बात पर प्रसन्नता जताई कि इस कालेज में 2526 विद्यार्थियों में 1353 बालिकाएं पढ़ रही हैं। कहा कि यह बहुत ही शुभ संकेत है, क्योंकि यहां बालकों की संख्या 1173 है, यानी बेटियां एक बार फिर से यहां पर अपना स्थान बना चुकी हैं।

उन्होंने प्राचीन गुरुकुलों के दीक्षांत समारोह के दौरान गुरुओं द्वारा विद्याथियों को सत्य बोलने और धर्म के मार्ग पर चलने की शिक्षा का भी उल्लेख किया। साथ ही मातृ, पितृ, आचार्य और अतिथि देवो भव के विचार से अवगत कराते हुए कहा कि हमें इन सबके प्रति श्रद्धा का भाव रखना चाहिए।

सतत परिश्रम, लगन और निष्ठा से व्यक्ति बनता है बड़ा

उन्होंने इस बात पर खुशी जताई कि इलाहाबाद विश्वविद्यालय की कुलपति और सर्वोच्च न्यायालय के न्यायमूर्ति जैसी देश की जानी-मानी हस्तियां इस कालेज से जुड़ी हैं, जो अपने व्यस्त कार्यक्रमों से समय निकालकर बच्चों के बीच अभिभावक के रूप में मौजूद रहती हैं और मार्गदर्शन करती हैं। उन्होंने कहा कि कोई भी व्यक्ति अचानक से बड़ा नहीं होता, बल्कि इसके लिए कठिन परिश्रम, लगन और निष्ठा से कार्य करना होता है।

प्रोजेक्ट अलंकार के अंतर्गत 75 से 90 प्रतिशत सहायता दे रही सरकार

कालेज के संरक्षक और सुप्रीम कोर्ट के न्यायमूर्ति विक्रमनाथ ने कालेज की मेहनत की जानकारी मुख्यमंत्री को देते हुए और अच्छी पढ़ाई के लिए कुछ अनुदान कीअपेक्षा की। साथ ही महिला डिग्री कालेज खोलने की भी मांग की।इसके लिए मुख्यमंत्री को ज्ञापन भी सौंपा।

मुख्यमंत्री ने विद्यालय प्रबंधन को आश्वस्त किया कि उसकी आवश्यकताओं को ध्यान में रखते हुए प्रोजेक्ट अलंकार के अंतर्गत यहां विभिन्न कार्य कराए जाएंगे। उन्होंने बताया कि प्रोजेक्ट अलंकार के अंतर्गत वित्तपोषित अथवा सरकारी विद्यालय के भवन निर्माण के लिए 75 से 90 प्रतिशत सहायता सरकार दे रही है।

शिक्षा के क्षेत्र में निजी संस्थाओं द्वारा किए जा रहे प्रयासों की भी सराहना की। बच्चों से कहा कि वह सामान्य पाठ्यक्रम की पढ़ाई के साथ लाइब्रेरी जरूर जाएं। नई-नई पुस्तकों से ज्ञानार्जन करें। लाइब्रेरी को डिजिटल के रूप में परिवर्तित करने पर भी बल दिया।

कहा कि इस कार्य के लिए सरकार हर संभव सहायता कर रही है। मुख्यमंत्री ने जिलाधिकारी को निर्देश दिए कि कौशांबी में बालिकाओं की उच्च शिक्षा को लेकर विस्तृत कार्य योजना तैयार करें और इसके लिए इलाहाबाद विश्वविद्यालय की कुलपति का मार्गदर्शन लेने के लिए भी कहा।

समाज को चलना होगा सरकार से आगे, तभी भारत फिर बनेगा विश्वगुरू

मुख्यमंत्री ने कहा कि जब समाज आगे और सरकार पीछे होती है तो राष्ट्र नित नए प्रतिमान स्थापित करते हुए विश्वगुरू बनता है। बताया कि भारत ने पिछले नौ साल में खेल समेत अलग-अलग क्षेत्रों में नए प्रतिमान गढ़ा है। इस बात पर भी जोर दिया कि खेलकूद और सांस्कृतिक गतिविधियों को हमें उचित मंच देना होगा।

प्रतिभाओं को मंच मिलेगा, तो बड़े से बड़ा लक्ष्य प्राप्त करने में कोई मुश्किल नहीं आएगी। उन्होंने कालेज में आयोजित सांस्कृतिक कार्यक्रमों की भी सराहना की। कहा कि सरकार पूरी तरह से शिक्षा के प्रति संवेदनशील होकर कार्य कर रही है।

इस अवसर पर कैबिनेट मंत्री स्वतंत्र देव सिंह, सांसद विनोद सोनकर, जिला पंचायत अध्यक्ष कल्पना सोनकर, प्रमुख सचिव गृह व सूचना संजय प्रसाद, एडीजी भानु भाष्कर, आइजी चंद्र प्रकाश, डीएम सुजीत कुमार, कालेज के प्रबंधक वत्सलनाथ, प्रधानाचार्य जितेंद्रनाथ श्रीवास्तव, शिक्षक-शिक्षिकाएं, विद्यार्थी आदि मौजूद थे।

आपके शहर की हर बड़ी खबर, अब आपके फोन पर। डाउनलोड करें लोकल न्यूज़ का सबसे भरोसेमंद साथी- जागरण लोकल ऐप।