चमकीली रोशनी से जगमग हुआ महापरिनिर्वाण द्वार
कुशीनगर चमकीली रोशनी से जगमग वेलकम महापरिनिर्वाण स्थली कुशीनगर लिखा बुद्धस्थली का महापि
By JagranEdited By: Updated: Mon, 02 Nov 2020 11:36 PM (IST)
कुशीनगर: चमकीली रोशनी से जगमग 'वेलकम महापरिनिर्वाण स्थली कुशीनगर' लिखा बुद्धस्थली का महापरिनिर्वाण द्वार इन दिनों लोगों को आकर्षित कर रहा है। लोग इसकी तारीफ भी कर रहे हैं।
प्रशासन ने द्वार का रंग रोदन कराकर इसकी भव्यता को और निखार दिया है। कोशिश देश दुनिया से आने वाले सैलानियों के मन में भारतीय स्वागत भाव 'अतिथि देवो भव:' की परंपरा को जीवंत रखने की है। यूं तो बुद्ध की पांचवीं सदी की विशालकाय शयनमुद्रा वाली प्रतिमा के दर्शन के पूर्व बौद्ध स्थापत्य कला की भव्यता समेटे यहां का महापरिनिर्वाण द्वार सैलानियों का स्वागत करता रहा है, लेकिन बौद्ध वास्तु कला में निर्मित इस स्वागत द्वार कई वर्षों से उपेक्षित था। नियमित रखरखाव न होने से इसकी भव्यता प्रभावित हो रही थी। इस ओर ज्वाइंट मजिस्ट्रेट/एसडीएम पूर्ण बोहरा का ध्यान गया तो उन्होंने टेंपल एरिया मैनेजमेंट कमेटी की बैठक में इसका प्रस्ताव रखा। सहमति के बाद कार्य शुरू हुआ तो एक माह बाद महापरिनिर्वाण द्वार की भव्यता निखर कर सामने आई। नियान लाइट के अलावा द्वार के आसपास शोभाकार पौधे भी लगाए गए हैं। रात में जलते विक्टोरियन लाइट द्वार को सुंदरता में चार चांद लगा रहे। अब यह द्वार हर किसी को आकर्षित कर रहा है। गेट पर सुबह शाम सेल्फी लेने वाले काफी संख्या में दिख रहे हैं।
महापरिनिर्वाण द्वार का वर्तमान स्वरूप सभी की मिली जुली कोशिश का नतीजा है। शासकीय बजट के अलावा सामुदायिक प्रयासों से भी कुशीनगर में पर्यटन को बेहतर बनाने की कोशिश की जा रही है।
पूर्ण बोहरा, ज्वाइंट मजिस्ट्रेट
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