सीएम योगी आदित्यनाथ ने कहा-हमारी सरकार नकलविहीन परीक्षा कराने में सफल, मेधावी सम्मानित
मुख्य अतिथि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने मेधावी छात्रों को प्रोत्साहित करते हुए उन्होंने कहा कि यह शिक्षा की गुणवत्ता को आगे बढ़ाने का प्रयास है।
By Dharmendra PandeyEdited By: Updated: Mon, 02 Sep 2019 07:19 AM (IST)
लखनऊ, जेएनएन। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने रविवार को लखनऊ में यूपी बोर्ड, सीबीएसई और आईसीएसई बोर्ड के 1695 मेधावियों को सम्मानित किया। इस सम्मान समारोह का आयोजन उत्तर प्रदेश माध्यमिक शिक्षा परिषद ने डॉ. राममनोहर लोहिया नेशनल लॉ यूनिवर्सिटी के सभागार में किया।
हाइस्कूल और इंटर की राज्य स्तरीय मेरिट सूची में शामिल 120 मेधावियों को एक-एक लाख रुपये, टैबलेट और प्रशस्ति पत्र दिया गया। जिला स्तर पर टॉप टेन की सूची में शामिल 1575 मेधावियों को 21 हजार रुपये व टैबलेट देकर सम्मानित किया गया।समारोह के मुख्य अतिथि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने मेधावी छात्रों को प्रोत्साहित करते हुए उन्होंने कहा कि यह शिक्षा की गुणवत्ता को आगे बढ़ाने का प्रयास है। सरकार नकलविहीन परीक्षा कराने में सफल रही है। सख्ती की वजह से पिछले वर्ष जिन पांच लाख छात्रों ने परीक्षा छोड़ी, उनकी जगह यहां पर मुन्ना भाई परीक्षा देते थे। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी चिंता जताई थी कि यूपी में नकल के टेंडर होते हैं। हम इसे खत्म करने में सफल रहे। उन्होंने कहा कि शिक्षा मात्र डिग्री प्राप्त करने का माध्यम नहीं, बल्कि सर्वांगीण विकास की आधारशिला है।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि सरकार का यह प्रयास वास्तव में शिक्षा के प्रोत्साहन को बढ़ाने के लिए है। हमारे सामने यह चुनौती थी चुनौती किस बात की थी कि हमारे प्रदेश का माहौल कुछ और था। प्रदेश में शिक्षकों और बच्चों के बीच संवाद कराया गया और परीक्षा को नकल विहीन कराने के लिए शिक्षण संस्थाओं का शिष्य को प्राचार्य का और अभिभावकों का भी भरपूर समर्थन प्राप्त हुआ। पहली बार जब परीक्षा में 5 लाख छात्र से अधिक बच्चों ने परीक्षा छोड़ी थी।
जिसकी जानकारी करने के लिए हमने जब जांच की तो फिर छात्र प्रदेश के नहीं थे वह केवल सर्टिफिकेट लेने के लिए प्रदेश में आवेदन करता था। उसके बाद हमने सुधार के कार्यक्रम प्रारंभ किया। पहले प्रदेश में तीन महीने परीक्षा होती थी। तीन महीने में परिणाम आता था और तीन ही महीना स्कूलों में पढ़ाई होती थी। इसके साथ ही तीन महीना तो महापुरुषों की जयंती की छुट्टी में निकल जाते थे। इस प्रक्रिया को हमने बदला है। अब 15 दिन परीक्षा होती है और करीब इतने ही दिन में परिणाम आ जाता है। इस बार सबसे पहले रिजल्ट माध्यमिक शिक्षा परिषद का आया था।
प्रदेश के माध्यमिक व उच्च शिक्षा विभाग संभाल रहे डिप्टी सीएम दिनेश शर्मा ने कहा कि मेधावी छात्रों ने अपना योगदान दिया। नकल विहीन परीक्षाओं में योगदान दिया। हमारी सरकार ने एक और बदलाव किया है। अब तो यहां एनसीआरटी की किताब लाई गई। पहले महंगी किताबें लेनी पड़ती थी। जिससे अब छुटकारा मिल गया है।
सीएम योगी आदित्यनाथ ने सभी छात्रों को कड़ी मेहनत का संदेश देते हुए कहा कि आप देश और प्रदेश के कर्णधार हैं। समारोह को उपमुख्यमंत्री दिनेश शर्मा, माध्यमिक शिक्षा राज्यमंत्री गुलाब देवी ने भी संबोधित किया। मंच पर प्रमुख सचिव माध्यमिक शिक्षा आराधना शुक्ला भी थीं।
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