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पद्मावती के नायक-नायिका समेत छह के खिलाफ वाद, अब मुस्लिम समाज खफा

पद्मावती फिल्म निर्देशक संजय लीला भंसाली और कलाकारों के खिलाफ बिजनौर में वाद दायर किया गया है। मुस्लिम समाज ने फिल्म को लेकर विरोध जताया है।

By Nawal MishraEdited By: Updated: Thu, 30 Nov 2017 08:42 PM (IST)
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पद्मावती के नायक-नायिका समेत छह के खिलाफ वाद, अब मुस्लिम समाज खफा
बिजनौर (जेएनएन)। पद्मावती फिल्म के निर्देशक संजय लीला भंसाली और फिल्म के कलाकारों के खिलाफ नजीबाबाद में वाद दायर किया गया है। विहिप के पूर्व जिलाध्यक्ष और एडवोकेट सुधीर कुमार ने फिल्म पद्मावती के डायरेक्टर संजय लीला भंसाली, शाहिद कपूर, दीपिका पादुकोण, रणवीर कपूर, अदिली राय हैदर और जिम के विरुद्ध न्यायिक मजिस्ट्रेट नजीबाबाद के न्यायालय में दायर वाद में कहा है कि रानी पद्मावती वीरांगना थी और पूरा हिंदू समाज उन्हें सम्मान की नजर से देखता है। फिल्म में रानी पद्मावती को नर्तकी के रूप में प्रस्तुत कर नारी जाति के अपमान के साथ-साथ राजपूतों के गौरवशाली इतिहास से छेड़छाड़ करने का काम किया है। उन्होंने कहा कि क्षत्रिय समाज के 36 कुल है और रानी पद्मावती ने सभी 36 कुलों की परदादी हैं। अधिवक्ता सुधीर कुमार ने इतिहास से छेड़छाड़ करने वाले इन सभी लोगों के खिलाफ वाद दायर कर कार्रवाई की मांग की।

अब मुस्लिम समाज खफा

फिल्म पद्मावती के खिलाफ राजपूत समाज का विरोध प्रदर्शन थमने का नाम नहीं ले रहा है कि इस बीच मुस्लिम समाज ने भी फिल्म को लेकर विरोध जताया है। सहारनपुर में तंजीम उलेमा ए हिंद के प्रदेश अध्यक्ष मौलाना नदीमुल वाजदी ने फिल्म में सुलतान अलाउद्दीन खिलजी को जालिम बादशाह व दिलफेंक आशिक दिखाए जाने पर ऐतराज जताया है। उनका कहना है कि अलाउद्दीन खिलजी एक जिम्मेदार शासक था। फिल्म में उसका चित्रण जिस तरह किया गया है,वह उचित नहीं है। गुरुवार को पत्रकार वार्ता में मौलाना नदीमुल वाजदी ने कहा कि इतिहास में पद्मावती नाम की कोई शख्सीयत नहीं मिलती और न ही कोई ऐसा साक्ष्य मिलता है कि अलाउद्दीन पद्मावती नाम की महिला को हासिल करना चाहता था। उन्होंने कहा कि  अलाउद्दीन खिलजी ने चित्तौडग़ढ़ पर हमले की वजह केवल राज्य विस्तार था। 

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