यूपी के गांवों में COVID-19 जांच का विशेष अभियान दो दिन बढ़ा, घर-घर हो रही संक्रमितों की तलाश
पंचायत चुनाव निपटते ही यूपी के सभी राजस्व गांवों में पांच दिन का कोरोना जांच अभियान शुरू किया गया। अब मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने इसे दो दिन बढ़ाते हुए मंगलवार तक चलाने का निर्देश दिया है। कोरोना संक्रमित मरीजों की तलाश के लिए घर-घर टीमें जा रही हैं।
By Umesh TiwariEdited By: Updated: Sun, 09 May 2021 09:55 AM (IST)
लखनऊ [राज्य ब्यूरो]। उत्तर प्रदेश के गांवों में कोरोना वायरस के संक्रमण के प्रसार को रोकने के लिए योगी आदित्यनाथ सरकार पूरी सतर्कता से काम कर रही है। पंचायत चुनाव निपटते ही प्रदेश के सभी राजस्व गांवों में पांच दिन का कोरोना जांच अभियान शुरू किया गया। अब मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने इसे दो दिन बढ़ाते हुए मंगलवार तक चलाने का निर्देश दिया है। कोरोना संक्रमित मरीजों की तलाश के लिए घर-घर टीमें जा रही हैं।
खुद की कोरोना रिपोर्ट नेगेटिव आने के बाद से मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने एक फिर मैदान में मोर्चा संभाल लिया है। कोविड प्रबंधन की जमीनी हकीकत परखने के लिए ही शनिवार को उन्होंने बरेली और मुरादाबाद का दौरा किया। संक्रमितों के घर तक पहुंच गए। इसके बाद शाम को लौटकर उन्होंने टीम-9 के साथ वर्चुअल समीक्षा बैठक की। इसमें सीएम योगी आदित्यनाथ को बताया गया कि पिछले एक सप्ताह में कोरोना के सक्रिय मामलों में 65000 की कमी आई है, जो कि आशाजनक संकेत हैं। प्रदेश में नए कोविड केसों की संख्या लगातार कम हो रही है, जबकि रिकवरी दर बेहतर हो रही है।
पांच मई से प्रदेश के सभी राजस्व गांवों में कोरोना संक्रमित मरीजों की जांच के लिए शुरू किए गए अभियान के सकारात्मक परिणाम सामने आ रहे हैं। गत दिवस यानी शुक्रवार को 48,63,298 ग्रामीणों से संपर्क किया गया। इनमें से 68 हजार में कोविड के लक्षण पाए गए। इन सभी की जांच कराने पर 1210 कोरोना संक्रमित पाए गए। इस पर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने निर्देश दिया कि गांवों को कोरोना संक्रमण से सुरक्षित रखने के लिए चलाए जा रहे स्क्रीनिंग और टेस्टिंग के प्रदेशव्यापी अभियान को एक सप्ताह तक चलाया जाए।
समितियां घर-घर जाकर करें स्क्रीनिंग : पहले यह विशेष अभियान पांच से नौ मई यानी रविवार तक चलाने का निर्देश दिया गया था, जबकि इसे अब दो दिन बढ़ाकर मंगलवार तक कर दिया गया है। साथ ही मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि इस अभियान के तहत निगरानी समितियां घर-घर जाकर स्क्रीनिंग करें। लक्षणयुक्त लोगों के बारे में रैपिड रेस्पांस टीम को सूचना देकर उनका एंटीजेन टेस्ट कराया जाए। जांच कराने के लिए किसी को सामुदायिक या प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र तक जाने की जरूरत नहीं है।
दूरी के आधार पर तय हो एंबुलेंस का किराया : मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सभी जिलों में निजी एंबुलेंस के लिए किराया निर्धारित करने का निर्देश दिया है। उन्होंने कहा कि निजी एंबुलेंस की दरें दूरी के आधार पर तय कर प्रभावी ढंग से लागू कराई जाएं। मरीजों और उनके परिजनों का शोषण हर हाल में रोका जाए। इस प्रकार की शिकायतें नहीं प्राप्त होनी चाहिए। बैठक में चिकित्सा शिक्षा मंत्री सुरेश खन्ना, स्वास्थ्य मंत्री जय प्रताप सिंह, स्वास्थ्य राज्य मंत्री अतुल गर्ग सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारी वर्चुअल माध्यम से जुड़े थे।
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