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UP Politics: विपक्षी गठबंधन I.N.D.I.A को प्रदेश में लग सकता है झटका, समाजवादी पार्टी में इस बात की बड़ी बेचैनी

प्रदेश में विपक्षी गठबंधन आइएनडीआइए को उसके सहयोगी दल राष्ट्रीय लोकदल की ओर से झटका लग सकता है। रालोद की भाजपा के साथ गठबंधन की चर्चाओं से समाजवादी पार्टी खेमे में भी बेचैनी है। बता दें कि रालोद का सपा से सात सीटों का गठबंधन 19 जनवरी को हो चुका है। रालोद की सपा से नाराजगी कैराना बिजनौर और मुजफ्फरनगर सीट को लेकर भी है।

By Shobhit Srivastava Edited By: Shoyeb AhmedUpdated: Wed, 07 Feb 2024 03:46 AM (IST)
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विपक्षी गठबंधन को प्रदेश में लग सकता है झटका (फाइल फोटो)

राज्य ब्यूरो, लखनऊ। विपक्षी गठबंधन आईएनडीआईए को प्रदेश में झटका लग सकता है। यह झटका उसके सहयोगी दल राष्ट्रीय लोकदल की ओर से मिल सकता है। रालोद की भाजपा के साथ गठबंधन की चर्चाओं से समाजवादी पार्टी खेमे में भी बेचैनी है।

रालोद का सपा से सात सीटों का गठबंधन 19 जनवरी को हो चुका है। सूत्रों के अनुसार रालोद की सपा से नाराजगी कैराना, बिजनौर और मुजफ्फरनगर सीट को लेकर है। इसमें सपा अपना प्रत्याशी और चुनाव चिह्न रालोद का रखने की शर्त रखी है।

एक दो दिनों में गठबंधन की घोषणा हो सकती है सार्वजनिक

रालोद ने इस स्थिति में अपनी सीटें बढ़ाने की बात रखी है। वहीं, भाजपा भी मिशन 80 को आगे बढ़ाने के लिए पश्चिम यूपी में रालोद के साथ गठबंधन करना चाहती है। एक-दो दिनों में गठबंधन की घोषणा सार्वजनिक हो सकती है।

सपा के मुख्य प्रवक्ता राजेन्द्र चौधरी कहते हैं कि रालोद की भाजपा के साथ गठबंधन की बातचीत चल रही है इसकी जानकारी उन्हें नहीं है। रालोद के साथ हमारा सात सीटों पर समझौता हो चुका है, उन्होंने भी इस पर सहमति जताई है। राज्यसभा में भी सपा ने जयन्त चौधरी को भेजा है। विपक्षी गठबंधन आईएनडीआईए की बैठकों में भी जयन्त शामिल होते रहे हैं। ऐसे में सपा के साथ नाराजगी का तो कोई प्रश्न नहीं उठता है।

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