लॉकडाउन के बाद पहली बार खुला लखनऊ Zoo, तस्वीरों में देखिए बदले हुए नजारे
लॉकडाउन के बाद पहली बार खुला लखनऊ जू कड़े नियमों के बाद हुई लोगों की एंट्री बदले रहे चिड़ियाघर के नजारे।
By Anurag GuptaEdited By: Updated: Tue, 09 Jun 2020 02:45 PM (IST)
लखनऊ, जेएनएन। कोरोना संक्रमण काल में सबकुछ बदल गया। जीने का सलीका बदल गया तो रहने के ढंग में बदलाव हो गया। सामाजिक बदलाव के बीच वन्यजीवों की दिनचर्या भी बदल गई है। नवाब वाजिद अली शाह प्राणि उद्यान 22 मार्च से बंद था। मास्क, सैनिटाइजर के साथ ही कड़े सुरक्षा बंदोबस्त के बीच मंगलवार को एक बार चिड़याघर फिर खुला। टिकट खिड़िकयां खाली हैं तो गेट पर खड़े कर्मचारी भी सैनिटाइजर के साथ दर्शकों के आने का इंतजार कर रहे हैं। चिड़ियाघर के दोनों प्रवेश द्वार पर कभी लंबी कतारें नजर आती थीं तो वह भी नदारत थी। पक्षियों की अावाज और वन्यजीवों कीचहलकदमी बदले समय ही दुहाई दे रहे। बदले चिड़ियाघर के नजारे के बीच आइए आपको चिड़याघर की सैर कराते हैं।
डीजीपी कार्यालय की गेट की ओर से प्रवेश करते ही दाहिनी तरफ चटक धूप से छांव के तलाश करता एमू भी मानों दर्शकों का बेशब्री से इंतजार कर रहा हो। बाल ट्रेन की अाजाव से सकते में रहने वाला एमू अपनी मस्ती में चूर है। आगे बढ़े तो बाईओर जिर्राफ भी पड़ों की छांव में खड़ा दर्शक दीर्घा की ओर से निहार रहा था। आते जाते दर्शकों की अावाज का मानो वह इंतजार कर रहा हो। अागे बढ़े तो मछलीघर और उल्लू घर का सन्नाटा इस बदले समय की दुहाई दे रहा है। खानपान के सूने स्टाॅल को देखते हुए आगे बढ़े और राजहंस हवाई जहाज के पास से बाई ओर शेर के बाड़े की ओर से निकले तो शेर तेज धूप से दूर छांव में बैठा था। आराम करते इस सबसे पसंदीदा वन्यजीव की कभी एक झलक पाने की उत्सुकता दर्शकों में दिखती थी वह भी नजर नहीं आ रही है। आगे बढ़े तो सोलर सिस्टम से चलने वाले हाईटेक बाड़े मेें तेंदुए भी अपनी मस्ती में उछलकूद कर रहे हैं। नए बाड़े के पास से आगे निकले ताे मगरमच्छ की फौज पानी में तेज धूप से खुद को बचाने मेें लगी है। सफेद टाइगर की आवाजाही और दहाड़ सन्नाटे को चीर रही है। उधर से आगे बढ़े तो थ्रीडी थिएटर में सन्नाटा पसरा हुआ था। सांप घर के आगे बढ़ते ही चिंम्पैंजी छाए में आराम फरमा रहा था तो उसके बाड़े के अागे हिरन बारा सिंघा तेज धूप से दूर पेड़ों की छांव में बैठे मानों दर्शकों की आवाज का इंतजार कर रहे हों।
परिसर में सन्नाटा, इंतजार करते रहे कर्मचारी
सुबह से दोपहर बाद तक दर्शकों के इंतजार में रहे चिड़ियाघर के कर्मचारी सुरक्षा भी परेशान हो गए। दोपहर एक बज तक मात्र 13 दर्शकों की आमद हुइ थी। पहली शिफ्ट में मात्र चार दर्शक ही आए थे। भीड़ को नियंत्रित करने के लिए पहली बार चिड़ियाघर तीन पालियों में खोला गया सुबह 8:30 से 10:30 तक पहली पाली में चार दर्शक रहे जबिक 11:30 से 1:30 तक दूसरी में नौ दर्शक आए। दोपहर तीन बजे से शाम पांच बजे दर्शकों का इंतजा होता रहा। बच्चों और बड़ों की खास पसंद रहा चिड़याघर प्रतिबंधों के साथ भले ही खोला गया लेकिन दर्शक न आने से अब एक फिर मंथन शुरू हो गया है।
पास लगी रेलिंग छूने पर प्रतिबंध रहेगा।मास्क के बगैर दर्शकों का प्रवेश नहीं होगा। गेट पर रखे सैनिटाइजर से हाथ साफ करने के बाद ही प्रवेश दिया जाएगा। टिकट काउंटर बंद रहेगा। सुरक्षा के साथ एक बार फिर से चिड़ियाघर खोला जाएगा। 10 वर्ष से नीचे और 65 वर्ष के ऊपर के बुजुर्ग का प्रवेश होगा। चिड़ियाघर में कोरोना वायरस को लेकर जारी हुई एडवाइजरी लागू रहेगी। प्रवेश से पहले ग्लब्स, मास्क और सैनिजाइजेशन को कड़ाई से पालन करने के निर्देश दिए गए हैं। अस्पताल परिसर में आइसोलेशन वार्ड बनाकर क्लोज सर्किट कैमरे से निगरानी की जा रही है। वन्यजीवों के पास जाने वाले स्टाफ को पूरी तरीके से सुरक्षा इंतजामों का पालन करना पड़ेगा। सावधानी बरतने के लिए नए नियम बनाए गए हैं। चिकित्सकों और स्टाफ के अलावा उनकी शारीरिक गतिविधियों पर नजर रखने के लिए क्लोज सर्किट कैमरे लगाए गए हैं। वन्यजीवों की हर मूवमेंट पर लगातार निगरानी रखी जाएगी। चिडि़याघर की वेबसाइट www.lucknowzoo.com से टिकट खरीदा जा सकेगा।
ऑनलाइन का बढ़ा क्रेजऑनलाइन टिकट लेकर चिड़ियाघर घूमने का प्रयास भले ही शुरू हुअा हो, लेकिन घर बैठे अॉनलाइन चिड़ियाघर देखने का क्रेज बढ़ गया है। चिड़ियाघर में बंदर की उछलकूद और शेर की दहाड़ के साथ ही सांपघर, पक्षी घर, तालाब में सारस की अटखेलियां, भोजन करता हुआ भेड़िया, कमरे से बाहर आराम करती जंगली बिल्ली, उछलकूद करते भालू को दर्शन इन दिनों ऑनलाइन घर पर ही देख रहे हैं। लॉकडाउन के चलते 22 मार्च से बंद चल रहे चिड़ियाघर को दर्शकों तक पहुचाने के लिए चिड़ियाघर को ऑनलाइन कर दिया गया है। सवा महीने में करीब दो लाख दर्शकों ने सोशल मीडिया के प्लेटफार्म जैसे फेसबुक, वेबसाइट और यूट्यूब पर सर्च किया। लॉकडाउन में घर में पढ़ाई के साथ ही बच्चे घर बैठे चिड़िया घर का लुत्फ उठा रहे हैं।
आप घर बैठक भी देख सकते हैं चिड़ियाघरनवाब वाजिद अली शाह प्राणि उद्यान' नाम से यूट्यूब चैनल के साथ ही चिड़ियाघरकी वेबसाइट लखनऊजू डाट काॅम पर न्य जीवों को देखा जा सकता है। यूट्यूब लिंक https://www.youtube.com/channel/UCCkznhBtYVtxXDQo2pdBcQA के जरिए यह यूट्यूब चैनल देखा जा सकता है। चिम्पैंजी, गिब्बन, हिरण, तेंदुआ, गैंडा, छोटे मगरमच्छ, जिराफ व भालू समेत अन्य वन्यजीवों की गतिविधियों को अपलोड किया गया है। दर्शकों की आमद न होने से बदले नजारे को भी आप देख सकते हैं। तितली पार्क गुलजार है
प्राणि उद्यान के निदेशक आरके सिंह ने कहा कि प्रशासन के निर्देश के बाद ही चिड़ियाघर को खोला गया है। पहले दिन दर्शकों की संख्या कम थी, लेकिन आगे चलकर बढ़ने की उम्मीद है। हालांकि दर्शकों की सुविधा के लिए आॅनलाइन घर बैठे चिड़ियाघर देखने की भ्री व्यवस्था है। शारीरिक दूरी के साथ कर्मचारियों को वन्यजीवों की सुरक्षा में लगाया गया है। सैनिटाइजर से हाथ साफ करने के बाद ही प्राणि उद्यान में कर्मचारियों को प्रवेश दिया जा रहा है। 10 साल से नीचे के बच्चों और 65 साल के ऊपर के बुजुर्गों को आने पर प्रतिबंध रहेगा।
घर बैठे यूट्यूब पर दिखेगा राज्य संग्रहालय, अभी दर्शकों को करना होगा इंतजारऑनालाइन टिकट लेकर आप भले ही नवाब वाजिद अली शाह प्राणि उद्यान परिसर में जा सकेंगे, लेकिन संग्रहालय में अभी आप नहीं जा सकेंगे। अगले आदेशों तक आपको इंतजार करना पड़ेगा। निदेशक डाॅ.अानंद कुमार सिंह ने बताया कि सुरक्षा कारणों से अभी टिकट नहीं मिलेगा। सरकार की ओर से कोई नई गाइड लाइन आएगी तो फिर से खोला जाएगा। लेकिन सुविधा के लिए ऑनलाइन संग्रहालय देखा जा सकता है। कोरोना संक्रमण से बचने के चलते आप भले ही न जा पाएं, लेकिन आपको संग्रहालय यूट्यूब पर नजर आएगा। यूट्यूब पर ही नहीं संग्रहालय के फेसबुक पेज पर भी नजर आएगा। राज्य संग्रहालय की उत्कृष्ट प्रस्तर कलाकृतियों के छायाचित्रों के साथ ही द्वितीय शताब्दी ईसा पूर्व से लेकर के पूर्व मध्यकाल तक के उत्कृष्ट प्रस्तर आव अवलाेकन ऑनलाइन किया जा सकता है। संग्रहालय के निदेशक ने बताया कि पहले दर्शक जिसमें किसान से लेकर विद्वान तक संग्रहालय भ्रमण के द्वारा यहां रखी हुई विशिष्ट कलाकृतियों को देखने के लिए संग्रहालय तक आते थे परंतु अब वह समय आ गया है की विज्ञान और प्रौद्योगिकी के इस माहौल में अब संग्रहालय अपनी विशिष्ट कलाकृतियों को लेकर अपने यूट्यूब चैनल के माध्यम से आम जनमानस तक पहुंचे, जिससे लोगों में भारत के गौरवशाली अतीत से परिचित होने के साथ साथ संग्रहालय में रखे इन उत्कृष्ट प्रदर्शों को देखने की अभिलाषा एवं आकांक्षा उत्पन्न हो। दर्शक घर में रहकर संग्रहालय की कलाकृतियों का अवलोकन कर सकते हैं। लोक कला संग्रहालय को भी ऑनलाइन देखा जा सकता है।
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