UP Politics: योगी के मंत्री संजय निषाद ने की यूपी में भी जाति आधारित गणना कराए जाने की मांग, कही ये बात
ब्यूरो प्रदेश में भी कराई जाए जातिवार जनगणना संजय निषाद
By Shobhit SrivastavaEdited By: Vinay SaxenaUpdated: Wed, 04 Oct 2023 10:02 PM (IST)
राज्य ब्यूरो, लखनऊ। भाजपा भले ही जाति आधारित गणना के पक्ष में नहीं है, लेकिन एनडीए की सहयोगी निषाद पार्टी ने प्रदेश में गणना कराए जाने की मांग की है। निषाद पार्टी के अध्यक्ष और योगी सरकार में मत्स्य मंत्री डा. संजय कुमार निषाद ने कहा कि उनकी पार्टी शुरू से ही जाति आधारित गणना कराने के पक्ष में रही है। उन्होंने कहा कि गणना कराए जाने से पहले मछुआ समाज के साथ हुई जातीय विसंगति को दूर किया जाए।
यूपी में होनी चाहिए जाति आधारित गणना
विक्रमादित्य मार्ग स्थित सरकारी आवास में पत्रकार वार्ता में उन्होंने कहा कि सेंसस मैनुअल 1961 के आधार पर उत्तर प्रदेश राज्य में जाति आधारित गणना होनी चाहिए। इसके तहत मछुआ समाज की सभी उपजातियां को अनुसूचित जाति में गणना की जानी चाहिए। पूर्व की सपा व बसपा की सरकारों ने समाज के साथ विश्वासघात किया है।
यह भी पढ़ें: यूपी में हुई जातीय जनगणना तो 50 प्रतिशत का आंकड़ा पार कर जाएगा अन्य पिछड़ा वर्ग, जानिए क्या कहती है रिपोर्ट
मैनुअल के अनुसार, मछुआ समाज अनुसूचित जाति में अंकित है, किंतु पूर्व की सरकारों ने आरक्षण के नाम पर मझवार की सभी उपजातियों को पिछड़े और अनुसूचित जाति में उलझाने का काम किया था। जाति आधारित गणना से पहले जातियों में विसंगति दूर की जाए।
लोकसभा चुनाव अपने चुनाव चिह्न पर लड़ेगी निषाद पार्टी
उन्होंने कहा कि बुधवार को पार्टी की प्रदेश कमेटी और जिला कमेटियों ने तय किया है कि निषाद पार्टी लोकसभा चुनाव अपने चुनाव चिह्न पर लड़ेगी। भाजपा बड़े भाई की भूमिका में हमेशा से रही है और विधानसभा चुनाव की तर्ज पर लोकसभा चुनाव में भी उन्हें सम्मानजनक सीट देगी।यह भी पढ़ें: Bihar Census: अखिलेश यादव के लिए कितनी फायदेमंद है बिहार की जातीय जनगणना? मसले पर भाजपा सरकार को किया चैलेंज
आपके शहर की हर बड़ी खबर, अब आपके फोन पर। डाउनलोड करें लोकल न्यूज़ का सबसे भरोसेमंद साथी- जागरण लोकल ऐप।