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SDM के पेशकार ने ली पचास हजार की रिश्वत, IAS रोशन जैकब ने कर दिया निलंबित; कई और अधिकारियों पर भी गिरी गाज

उत्तर प्रदेश में भ्रष्टाचार के खिलाफ बड़ी कार्रवाई करते हुए मंडलायुक्त डॉ. रोशन जैकब ने एसडीएम सदर के पूर्व पेशकार निर्भय सिंह को 50 हजार रुपये की रिश्वत लेने के आरोप में निलंबित किया। पीड़ित ने समाधान दिवस पर अपनी व्यथा सुनाई जिसके बाद मंडलायुक्त ने तुरंत कार्रवाई के निर्देश दिए। समाज कल्याण विभाग की सुपरवाइजर को भी आरोप पत्र जारी किया गया।

By Rajeev Bajpai Edited By: Abhishek Pandey Updated: Sun, 22 Sep 2024 08:47 AM (IST)
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सदर तहसील में जनसुनवाई करती मंडलायुक्त डा. रोशन जैकब

जागरण संवाददाता, लखनऊ। एसडीएम सदर के पूर्व पेशकार निर्भय सिंह जो अब मलिहाबाद तहसील में तैनात हैं ने एक मामले में स्टे व पक्ष में आदेश कराने का आश्वासन देकर प्रार्थी से 50 हजार रुपये लिए, लेकिन काम नहीं कराया और पैसे भी हड़प लिए।

शनिवार को सदर तहसील में समाधान दिवस पर जब फरियादी ने मंडलायुक्त डॉ. रोशन जैकब के सामने अपनी व्यथा सुनाई तो उन्होंने तत्काल एडीएम प्रशासन शुभि सिंह को फोन कर पेशकार को निलंबित करने के निर्देश दिए।

वहीं कार्य में लापरवाही पर समाज कल्याण विभाग की सुपरवाइजर को आरोप पत्र जारी करने और कानूनगो को गलत आख्या लगाने पर कारण बताओ नोटिस जारी करने के निर्देश दिए।

तहसील में आयोजित की गई संपूर्ण समाधान दिवस

मंडलायुक्त डॉ. रोशन जैकब की अध्यक्षता में तहसील सदर में संपूर्ण समाधान दिवस का आयोजन किया गया। मौके पर फरियादियों की समस्या सुनकर उनका निस्तारण करने के लिए संबंधित अधिकारियों को निर्देशित किया।

उन्होंने कहा कि सरकार की मंशानुरूप जन समस्याओं का त्वरित निस्तारण, जनसामान्य की शिकायतों का स्थानीय स्तर पर समाधान किया जाना सरकार की प्राथमिकता है। प्रार्थी रोहित वर्मा ने बताया कि दाखिल वरासत वाद को क्षेत्रीय लेखपालों द्वारा जान बूझकर अस्वीकृत कर दिया जाता है। पैसों की उगाही की वजह से वरासत वाद को निरस्त कर न्यायालय में भेज दिया जाता है।

इस पर मंडलायुक्त ने सख्त निर्देश देते हुए कहा कि अभिवादित वरासत संबंधित प्रकरणों में अनावश्यक रूप से प्रकरण को विलंब और पेचीदा करने पर संबंधित के खिलाफ कठोरतम कार्रवाई की जाएगी। इसके बाद प्रवीण कुमार शुक्ला एडवोकेट द्वारा मंडलायुक्त को अवगत कराया गया कि तहसील सदर चैंबर नंबर 13, धारा-34 की अपील हेतु पत्रावली एसडीएम न्यायालय में आवेदन किया था।

पेशकार ने दिए थे 50 हजार रुपये

पूर्व सदर तहसील के पेशकार निर्भय सिंह ने स्टे वा पक्ष में आदेश कराने का आश्वासन देकर 50 हजार रुपये एसडीएम के नाम पर लिए, जो वर्तमान में मलिहाबाद तहसील में कार्यरत हैं। उनके द्वारा पैसा वापस नहीं किया जा रहा है। इस पर मंडलायुक्त ने एडीएम प्रशासन से फोन पर वार्ता करते हुए निर्देश दिया कि तहसील सदर व तहसील मलिहाबाद के एसडीएम से आरोप पत्र लेते हुए निर्भय सिंह को तत्काल निलंबित किया जाना सुनिश्चित किया जाए।

मंडलायुक्त ने जन सुनवाई के दौरान कहा कि सरकारी भूमि पर अवैध कब्जा करके प्लाटिंग करने वाले भू-माफिया व संरक्षण देने वालों के खिलाफ कठोरतम कार्रवाई की जाए।

तहसील दिवस रजिस्टर के अवलोकन के दौरान कानूनगो राजेश चंद्र द्वारा शिकायतों में गलत आख्या लगाने व कार्य में शिथिलता बरतने पर उनके खिलाफ कारण बताओ नोटिस जारी करने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि अंश निर्धारण की जो भी शिकायतें आ रही हैं उन शिकायतों को गंभीरता से लेते हुए निर्धारित समयावधि में समस्या का समाधान करना सुनिश्चित करें।

अनीता वर्मा ने मंडलायुक्त को प्रार्थना पत्र देते हुए बताया कि विधवा पेंशन दिलाने को लेकर कई बार सुपरवाइजर मीरा को प्रार्थना पत्र दिया, लेकिन उनके द्वारा हमेशा हीलाहवाली की गई। इस पर मंडलायुक्त ने सुपरवाइजर मीरा के खिलाफ आरोप पत्र जारी करने के निर्देश दिए।

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