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UP Dial 112 : प्रदेश में फिर से लांच होगी यूपी 112, पांच मिनट में ही मिलेगी मदद

UP Dial 112 कानून-व्यवस्था को चुस्त-दुरुस्त करने के मोर्च पर योगी आदित्यनाथ सरकार पुलिस को लगातार अत्याधुनिक संसाधानों से लैस कर रही है। यूपी 112 का भी कायाकल्प होने जा रहा है। वर्तमान में डायल 112 में रोजाना पूरे प्रदेश से 60 हजार से अधिक काल आती हैं।

By Dharmendra PandeyEdited By: Updated: Sun, 28 Aug 2022 11:50 AM (IST)
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Dial UP 112 Now More Prompt And Fast

लखनऊ [आलोक मिश्र]। उत्तर प्रदेश की मित्र पुलिस अब मुसीबत की घड़ी में और जल्द आपकी की मदद कर सकेगी। आप यदि किसी मुसीबत में हैं तो अब और जल्द पुलिस आपकी मदद को पहुंचेगी। इसके लिए आपात सेवा यूपी 112 का स्वरूप जल्द और आधुनिक व विस्तृत होगा। प्रदेश में नए बने हाईवे से लेकर दूर दराज क्षेत्रों तक पुलिस की उपस्थिति भी बढ़ेगी।

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देश पर यूपी 112 को नए सिरे से लांच किये जाने की तैयारी है। राज्य सरकार इसके लिए तीन हजार करोड़ रुपये खर्च करेगी और उत्तर प्रदेश में विश्व स्तरीय आपात सेवा की नींव रखी जायेगी। यूपी 112 के बेड़े में छह हजार से अधिक नये वाहन भी शामिल होंगे। पुलिस का रिस्पांस टाइम वर्तमान में लगभग नौ मिनट है, जिसे और कम किया जायेगा। अब इस सेवा को और प्रभावी बनाने के लिए यूपी 112 में लगभग 65 हजार पुलिसकर्मियों की तैनाती भी बढ़ेगी।

अत्याधुनिक संसाधनों से लगातार लैस हो रही यूपी पुलिस

कानून-व्यवस्था को चुस्त-दुरुस्त करने के मोर्च पर योगी आदित्यनाथ सरकार यूपी पुलिस को लगातार अत्याधुनिक संसाधानों से लैस कर रही है। इसी कड़ी में यूपी 112 का भी कायाकल्प होने जा रहा है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने 26 अक्टूबर, 2019 को एकीकृत आपात सेवा 112 का शुभारंभ किया था। तब यूपी 112 से फायर सर्विस, एम्बुलेंस, वूमेन पावर लाइन, महिला हेल्प लाइन, सीएम हेल्पलाइन व एसडीआरएफ को जोड़ा गया था। अब औद्योगिक प्रतिष्ठानों व बैंकों के अलार्म सिस्टम को यूपी 112 से जोड़े जाने के साथ ही अन्य आपात सेवाओं को भी एकीकृत किया जायेगा। वर्तमान में यूपी 112 की 3200 चार पहिया पीआरवी (पुलिस रिस्पांस व्हेकिल) व 1600 दुपहिया पीआरवी काम कर रही हैं। कोरोना काल में यूपी 112 की सराहनीय भूमिका सामने आने के बाद योगी ने इस सेवा का और विस्तार किये जाने का निर्देश दिया था।

खरीदी जाएंगी छह हजार से अधिक पीआरवी

एडीजी 112 अशोक कुमार सिंह ने बताया कि छह हजार से अधिक पीआरवी खरीदी जाएंगी, जिसमें 4278 चार पहिया तथा दो हजार दो पहिया वाहन शामिल होंगे। नई पीआरवी घटना स्थल की मानीटरिंग के लिए बाडी वार्न कैमरे से लैस होगी। इसके साथ शहर की चार पहिया पीआरवी में व्हेकिल माउंटेड कैमरे लगाए जाएंगे, जिससे उनकी लाइव फीड जिला और 112 मुख्यालय के कंट्रोल रूम को मिलेगी।

नहीं ड्राप होगी काल

एडीजी के अनुमार वर्तमान में डायल 112 में रोजाना पूरे प्रदेश से 60 हजार से अधिक काल आती हैं, जिन्हें पीआरआइ के माध्यम से रिसीव किया जाता है। इसके तहत पहले यह काल बीएसएनएल को जाती है और उसके बाद काल 112 को ट्रांसफर होती है। इससे काफी काल ड्राप हो जाती हैं। इस समस्या को दूर करने के लिए एसआइपी सेशन इनीशिएश प्रोटोकाल टेक्नोलाजी का इस्तेमाल किया जाएगा। तब डायल 112 के पास सीधे काल आयेगी और ड्राप नहीं होगी।

मुसीबत में महिलाओं को पता चलेगा पीआरवी का मूवमेंट

महिलाओं की सुरक्षा को औरसुदृढ़ करने के लिए पुलिस नई तकनीक के तहत कदम बढ़ायेगी। मुसीबत में फंसी किसी महिला की काल आने पर डायल 112 से उसके मोबाइल पर एक मैसेज जायेगा, जिसमें एक ङ्क्षलक होगा। ङ्क्षलक पर क्लिक करते ही जोमेटो व स्विगी सेवाओं की तरह पीआरवी के मूवमेंट की हर अपडेट मिलेगी। मसलन, पीआरवी कहां पर है, किस रास्ते से महिला के पास आ रही है। कितनी देर में उनके पास पहुंच जाएगी।

स्थापित होगा डाटा एनालिटिक्स सेंटर

यूपी 112 के पास आपातकालीन सेवाओं से जुड़ा बड़ा डाटा उपलब्ध है। जिसके विश्लेषण से कानून-व्यवस्था से जुड़ी सूचनाएं प्राप्त करने के लिए विश्व स्तरीय डाटा एनालिटिक्स सेंटर की स्थापना होगी। आधुनिक बिजनेस इंटेलीजेंस टेक्नोलाजी का इस्तेमाल किया जाएगा। इसके तहत पीआरवी का बेहतर प्रबंधन कर समय व ईंधन दोनों की बचत भी होगी। और प्रभावी पुलिसिंग तथा बीट चार्ट डिजाइन जैसे कामों का विश्लेषण होगा। साइबर अपराध को रोकने के लिए आधुनिक साइबर सिक्योरिटी टूल्स का इस्तेमाल भी होगा।