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नए साल में होगा थाईलैंड की बुद्ध प्रतिमा का दीदार

संसू भोगांव दुनिया के विभिन्न देशों से गांव जसराजपुर राजघाट आकर भगवान बुद्ध के जीवन दर्शन को समझने का प्रयास करने वाले श्रद्धालुओं को नए साल में थाईलैंड से लाई गई 21 फुट ऊंची बौद्ध प्रतिमा का दीदार होगा। अष्ट धातुओं से निर्मित बौद्ध प्रतिमा को स्थापित करने का काम शुरू कर दिया है। प्रतिमा के आसपास पत्थरों की नक्काशी के लिए जयपुर और मिर्जापुर के चुनार से कारीगर बुलाए गए हैं।

By JagranEdited By: Updated: Sun, 07 Nov 2021 05:01 AM (IST)
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नए साल में होगा थाईलैंड की बुद्ध प्रतिमा का दीदार

संसू, भोगांव : दुनिया के विभिन्न देशों से गांव जसराजपुर राजघाट आकर भगवान बुद्ध के जीवन दर्शन को समझने का प्रयास करने वाले श्रद्धालुओं को नए साल में थाईलैंड से लाई गई 21 फुट ऊंची बुद्ध प्रतिमा का दीदार होगा। अष्ट धातुओं से निर्मित बुद्ध प्रतिमा को स्थापित करने का काम शुरू कर दिया है। प्रतिमा के आसपास पत्थरों की नक्काशी के लिए जयपुर और मिर्जापुर के चुनार से कारीगर बुलाए गए हैं।

बौद्ध तीर्थस्थल संकिसा से सटे गांव जसराजपुर में स्थापित दुनिया के सबसे ऊंचे अशोक गज स्तंभ के पास अब थाईलैंड से लाई गई 21 फुट ऊंची बुद्ध प्रतिमा को लगाने का काम तेज कर दिया है। विभिन्न धातुओं से बनाई गई इस प्रतिमा को थाईलैंड की संस्था ने यूथ बुद्धिस्ट सोसाइटी ऑफ इंडिया (वाईबीएस) को सौंपा है। वाईबीएस ने प्रतिमा को स्थापित कराने का काम तेज करा दिया है। प्रतिमा को लगाने के बाद अब दो महीने में इसे श्रद्धालुओं के लिए खोले जाने का प्रयास किया जा रहा है। प्रतिमा के आसपास पांच फीट ऊंचे चबूतरे पर पत्थर में नक्काशी का काम करने के लिए राजस्थान के जयपुर, दौसा व अलवर और उत्तर प्रदेश के मिर्जापुर के चुनार से विशेषज्ञ कारीगरों को बुलाया जा रहा है। प्रतिमा का काम पूरा होते ही विभिन्न देशों व राज्यों से जसराजपुर आने वाले श्रद्धालुओं को इसका दीदार शुरू कराया जाएगा। वाईबीएस के राष्ट्रीय अध्यक्ष सुरेश बौद्ध और महासचिव भंते डा. उपनंद थैरो ने बताया कि प्रतिमा की स्थापना दिसंबर के अंत तक पूरा करने का लक्ष्य है। उन्होंने बताया कि विभिन्न धातुओं से निर्मित इस प्रतिमा का लोकार्पण भव्य समारोह में कराया जाएगा।

दलाईलामा को भेजा आमंत्रण

जसराजपुर में लगाई गई थाईलैंड की बुद्ध प्रतिमा के अनावरण के लिए वाईबीएस ने इस बार बौद्ध धर्म गुरू दलाईलामा को आमंत्रण दिया है। दलाईलामा का कार्यक्रम तय होने के बाद प्रतिमा को आमजनों व श्रद्धालुओं के दीदार के लिए खोले जाने की संभावना है। हालांकि दलाईलामा ट्रस्ट से फिलहाल कार्यक्रम को लेकर हरी झंडी नहीं मिल पाई है।

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