देवारा के आधा दर्जन गांव बाढ़ से घिरे
मधुबन (मऊ) -- स्थानीय तहसील क्षेत्र के हाहानाला पर प्रति सेमी बढ़ रहे घाघरा का जलस्तर सोमवार की दोपहर में 65.60 मीटर पर पहुंच गया है। यह खतरा के निशान 66.31 मीटर से 71 सेमी नीचे है। इसी के साथ देवारा के आधा दर्जन गांव बाढ़ के पानी से चारों तरफ से घिर गए हैंद्य लोगों को बाहर निकलने के लिए प्रशासन द्वारा उपलब्ध कराए गए नाव का सहारा लेना पड़ रहा है।
By JagranEdited By: Updated: Mon, 13 Jul 2020 08:03 PM (IST)
जागरण संवाददाता, मधुबन (मऊ) : स्थानीय तहसील क्षेत्र के हाहा नाला पर प्रति सेमी बढ़ रहे घाघरा का जलस्तर सोमवार की दोपहर में 65.60 मीटर पर पहुंच गया है। यह खतरा के निशान 66.31 मीटर से 71 सेमी नीचे है। इसी के साथ देवारा के आधा दर्जन गांव बाढ़ के पानी से चारों तरफ से घिर गए हैं। लोगों को बाहर निकलने के लिए प्रशासन द्वारा उपलब्ध कराए गए नाव का सहारा लेना पड़ रहा है।
क्षेत्र के हाहा नाला पर घाघरा का जलस्तर 65.60 मीटर पर पहुंचने के साथ ही घाघरा की तलहटी में बसा चक्की मुसाडोही बाढ़ के पानी से चारों तरफ से घिर गया है, वही देवारा के नुरुल्लाहपुर नई बस्ती, बैरिकंटा, भगतकापुरा, धूस, मनमन का पुरा, पब्बरकापुरा, हरिलाल का पुरा, खैरा तथा मोलनापुर, बरोहा व परसिया जयरामगीरी का आंशिक भाग बाढ़ के पानी से प्रभावित हो गया है। साथ ही फसल जलमग्न हो गई है। जलस्तर के बढ़ने की रफ्तार इसी तरह बनी रही तो पूरे देवारा को बाढ़ की चपेट में आने से इंकार नही किया जा सकता है। क्षेत्र के सूरजपुर से लेकर परसिया जयरामगीरी बांध के किनारे बसे गांवों में निवास करने वाले अधिकांश ग्रामीणों का कृषि कार्य से लेकर पशुपालन तक देवारा में किया जाता है। जलस्तर के बढ़ने से सभी संपर्क मार्ग व पगडंडियों पर बाढ़ का पानी आ गया है। इससे ग्रामीणों का आवागमन बाधित हो गया है। ग्रामीणों ने प्रशासन से पर्याप्त संख्या में नाव उपलब्ध कराने की मांग किया है। ताकि वह अपने फसल के साथ ही पशुओं की देखभाल कर सके।
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पशुओं के लिए चारे की समस्या उत्पन्न देवारा में अभी घाघरा की बाढ़ के शुरुआती दौर में ही पशुओं के लिए चारे की समस्या उत्पन्न हो गई है। पशुपालकों का कहना है कि देवारा के खेतों में बाढ़ का पानी फैलने से पशुओं को हरा चारा नही मिल पा रहा है। इससे पशुपालकों को चारे की व्यवस्था करने के लिए इधर उधर भटकना पड़ रहा है। ------------------
बाढ़ चौकियों पर नही है स्वास्थ्य सुविधा घाघरा के बढ़ते जलस्तर से उत्पन्न बाढ़ की समस्या को देखते हुए प्रशासन द्वारा बाढ़ चौकियों की स्थापना तो किया गया है लेकिन चौकी पर राजस्व कर्मी तो तैनात रहे। स्वास्थ्य व्यवस्था नदारद रहा। भाजपा के मुन्ना सिंह, कौशल चौहान ने बताया कि बाढ़ के चलते पशुओं के साथ ही ग्रामीण विभिन्न प्रकार की बीमारियों से ग्रसित होते हैं तथा सांप भी उत्पन्न होता है। ऐसे में बाढ़ चौकियों पर पर्याप्त दवाओं के साथ स्वास्थ्य कर्मियों की तैनाती आवश्यक है।
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