Move to Jagran APP

Meerut News: दो साल पहले मिली जीत हार में बदली, इस क्षेत्र में 28 हजार वोटों के घाटे में भाजपा

मेरठ - हापुड़ लोकसभा सीट के अंतर्गत मेरठ दक्षिण विधानसभा सीट पर भाजपा को दो वर्ष पहले विधानसभा चुनाव में मिली जीत लोकसभा चुनाव में हार में बदल गई। इन दोनों जीत और हार का अंतर भी काफी बढ़ा है। 2024 लोकसभा चुनाव में सपा प्रत्याशी सुनीता वर्मा ने इस सीट पर 21068 मतों से जीत दर्ज की है ।

By Amit Tiwari Edited By: Aysha Sheikh Updated: Wed, 05 Jun 2024 03:43 PM (IST)
Hero Image
Meerut News: दो साल पहले मिली जीत हार में बदली, इस सीट पर 28 हजार वोटों के घाटे में भाजपा
अमित तिवारी, मेरठ। मेरठ-हापुड़ लोकसभा सीट के अंतर्गत मेरठ दक्षिण विधानसभा सीट पर भाजपा को दो वर्ष पहले विधानसभा चुनाव में मिली जीत लोकसभा चुनाव में हार में बदल गई। इन दोनों जीत और हार का अंतर भी काफी बढ़ा है। 2022 के विधानसभा चुनाव में दक्षिण विधानसभा सीट से प्रदेश के वर्तमान ऊर्जा मंत्री डा. सोमेंद्र तोमर ने 7,942 से मतों से जीत दर्ज की थी।

वहीं 2024 लोकसभा चुनाव में सपा प्रत्याशी सुनीता वर्मा ने इस सीट पर 21,068 मतों से जीत दर्ज की है। नौवें-10वें चक्र की काउंटिंग में सपा को मिले एकतरफा मतों ने सुनीता वर्मा को जो बढ़त दिलाई वह अंत तक बढ़ता ही दिखा। वर्ष 2019 के लोकसभा चुनाव में सपा-बसपा गठबंधन ने यह सीट भाजपा से जीती थी और इस चुनाव में अकेले सपा की प्रत्याशी व मेरठ की पूर्व महापौर ने अकेले जीत दर्ज की है। उन्होंने चुनाव प्रचार के दौरान भी लोगों से महापौर के तौर पर किए गए कार्यों का हवाला देते हुए ही लोकसभा चुनाव में मत मांगे थे।

15-15 चक्र में दोनों को बढ़त

दक्षिण विधानसभा सीट की मतगणना कुल 30 चक्र में हुई। इनमें भाजपा प्रत्याशी अरुण गोविल और सपा प्रत्याशी सुनीता वर्मा दोनों को 15-15 चक्र में बढ़त मिली। नौवें-10वें और 15-16वें चक्र में सुनीता वर्मा को एकतरफा वोट मिले। इन चारों चक्रों में 41 हजार से अधिक वोटों में सपा को 40 हजार से अधिक वोट मिले।

पिछले लोकसभा सीट पर सपा-असपा के गठबंधन के बाद दलित-मुस्लिम के मत एकतरफा पड़े थे जिसका पूरा लाभ गठबंधन को मिला था। इसके साथ ही कांग्रेस ने भी अपना प्रत्याशी मैदान में उतारा था। इस बार भाजपा-रालोद गठ़बंधन मिलकर भी दक्षिण के मतदाताओं को विकास के नाम पर रिझा नहीं सकी। जबकि इसी विधानसभा क्षेत्र में एक्सप्रेसवे भी है और रैपिड रेल भी तेजी से आगे बढ़ रही है।

नहीं बचा सके दक्षिण का गढ़

भाजपा ने 2014 में 23,337 के अंतर से दूसरे स्थान पर रही बसपा को हराया था। 2017 के विधानसभा चुनाव में जीत का यह अंतर और बढ़ा गया जिसमें भाजपा ने 35,393 मतों से जीत दर्ज की थी। 2019 के लोकसभा चुनाव में सपा-बसपा गठबंधन ने भाजपा से इस सीट पर बढ़त ले ली। 2022 विधानसभा चुनाव में भाजपा ने इस सीट पर बढ़त तो ले ली लेकिन 2024 के लोकसभा चुनाव में एक बार फिर दक्षिण का गढ़ नहीं बचा सके।

2014

  • भाजपा 1,07,901
  • बसपा 84,564
  • सपा 48,016
  • कांग्रेस 7,795

2017

  • भाजपा 1,13,225
  • बसपा 77,830
  • कांग्रेस 69,117

2019

  • भाजपा 1,22,496
  • सपा-बसपा गठबंधन 1,52,210
  • कांग्रेस 6,775

2022

  • भाजपा 1,29,667
  • सपा 1,21,725

2024

  • भाजपा 1,19,881
  • सपा 1,40,354
  • बसपा 22,463
आपके शहर की हर बड़ी खबर, अब आपके फोन पर। डाउनलोड करें लोकल न्यूज़ का सबसे भरोसेमंद साथी- जागरण लोकल ऐप।