अपने अनूठी पहल से पुराने कानूनी विवादों का निपटारा कर रही हैं IPS अनुकृति शर्मा, लोग बुलाते हैं पुलिस दीदी
उत्तर प्रदेश के संभल जिले की अपर पुलिस अधीक्षक IPS अनुकृति शर्मा ने अपने नवाचार के दम पर बहुत कुछ बदला है। पुलिस माय फ्रेंड अभियान के तहत वह गांव-गांव चौपाल लगाकर समस्याएं सुनतीं हैं। स्कूलों में बच्चों से सीधा संवाद कर उन्हें कानून के बारे में जागरूक करती हैं। इस संवाद की मदद से उन्होंने बड़ी घटनाओं का राजफाश किया है कानूनी विवाद निपटाने में मदद मिल रही है।
कछुआ संरक्षण की नायाब पहल
अनुकृति शर्मा ने संभल के गुन्नौर तहसील के गांव काशीपुर में कछुआ संरक्षण की नायाब पहल की है। यहां के तालाब में करीब दो सौ कछुएं हैं। जनचौपाल के दौरान अनुकृति को इसकी जानकारी हुई। तालाब पर जाकर देखा,तो वहां गंदगी थी। कछुएं प्लास्टिक की वजह से बाहर नहीं निकल पा रहे थे। गंदगी की वजह से उनका विकास भी रुका था। अनुकृति ने चौपाल में ग्राम प्रधान व संभ्रांत ग्रामीणों से बात की। कछुआ के महत्व के बारे में बताया। तय हुआ, तालाब की सफाई करेंगे। विभिन्न विभागों की भी मदद ली गई। 23 मई से पांच जून के बीच रात-दिन काम कर तालाब को साफ कर पिकनिक स्पॉट में बदल दिया गया।सफाई की शुरुआत खुद अनुकृति ने की। कछुओं की खुद ग्रामीण देखरेख कर रहे हैं। वहां लोग धूमने भी जाने लगे हैं। गांव काशीपुर के प्रधान कृष्णवीर का कहना है तालाब सौ साल से अधिक पुराना है। वर्दी वाली दीदी की वजह से ही इसका कायाकल्प हो सका है। उन्होने हमें समझाया, हम लोग जुट गए।नूरजहां को बिजली कनेक्शन, बेटी को दिलाया स्कूल में प्रवेश
चौपाल में ग्रामीणों से सीधा संवाद होने की वजह से लोग अपराध के बारे में अनुकृति को सीधे सूचना देते हैं। इस वजह से अपराधों के राजफाश में मदद मिल रही है। हत्या, लूट जैसी घटनाओं को खोला है। वह बताती हैं कि बुलंदशहर में त्रिलोकी गैंग को पब्लिक की मदद से ही पकड़ा था। उसे कोई पहचानता भी नहीं था।ग्रामीणों की सूचना मिली और पकड़ लिया गया। बुलंदशहर में चौपाल के दौरान बुजुर्ग नूरजहां के घर में बिजली कनेक्शन न होने की बात सामने आई। अधिकारियों से बात कर कनेक्शन कराया। कई बच्चों को स्कूलों में जाकर प्रवेश भी कराया।अनृकृति की खास कृति
- बुलंदशहर और संभल में थानों में बाल कक्ष का निर्माण कराया। इनमें बच्चों को पढ़ने व खेलने की सामग्री है। पीड़ित महिलाओं के अलावा महिला पुलिसकर्मियों के बच्चों के लिए उपयोगी हैं।
- बाल संरक्षण पर एक रिसर्च पेपर भी प्रकाशित किया। इसका प्रकाशन राष्ट्रीय पुलिस अकादमी हैदराबाद के जर्नल में हो चुका है। बाल संरक्षण के प्रति लगातार काम कर रही हैं।
- ई मालखाना पर जोर दिया। दोनों तैनाती स्थल पर मालखाने का रिकार्ड आनलाइन फी़ड किया जा रहा है।
- अनुकृति की वजह से बुलंदशहर में माफिया सुधीर गोयल पर कार्रवाई की गई। इसके बाद ईडी ने भी 12 स्थानों पर छापा मारकर बड़ा राजफाश किया। करीब सौ करो़ड का घोटाला निकला।
परिवार में अकेली पुलिस अधिकारी
अनुकृति शर्मा ने 2013 में शादी होने के बाद IPS अधिकारी के बारे में सोचा। वह बताती हैं कि शादी के बाद वह और पति वैभव मिश्रा पीएचडी के लिए यूएस गए। लेकिन, IAS या IPS अधिकारी बनकर जनसेवा करने का विचार आया। लिहाजा यूएस से लौट आए। ससुराल बनारस में रहकर दोनों ने तैयारी की। कोई कोचिंग भी नहीं की। 2018 में अनुकृति का चयन IRS के लिए हो गया, लक्ष्य पूरा नहीं होने पर उन्होंने पुनः प्रयास किया। 2020 में IPS में चयन हो गया।पति दिल्ली में IAS की पढ़ाई करा रहे हैं। वह ससुराल में अकेली पुलिस अधिकारी हैं। इनकी मां मधु शर्मा राजस्थान में सरकारी स्कूल में प्रवक्ता रही हैं।पिता राजस्थान सरकार के 20 सूत्रीय कार्यक्रम के सहायक निदेशक पद से सेवानिवृत्त हैं। ससुर विनोद मिश्रा बीएचयू में प्रोफेसर हैं, सास चारू लता मिश्रा भी वाराणसी में जीजीआइसी में शिक्षक हैं।कानून व्यवस्था का पालन कराने के लिए जन सहयोग आवश्यक है। हर पीड़ित थाने तक नहीं आता है। गांव में चौपाल लगाने से उनके बीच बैठकर उनकी पीड़ा आसानी से जानी जाती है। महिलाओं से सीधा संवाद होता है, तो गांव में अराजक तत्वों के बारे में भी जानकारी मिलती है। वैसे भी समाज के प्रति भी हमारी जिम्मेदारी है। मेरा प्रयास है, वर्दी में हम लोगों की एक कड़क पुलिस अधिकारी की ही छवि न रहे। समाज हमें भी अपने बीच का ही हिस्सा समझे। जब हम जनता का दिल जीत पाएंगे, तो अपराध स्वत: ही खत्म हो जाएगा। अनुक़ृति शर्मा, अपर पुलिस अधीक्षक, संभल