Kundarki Seat : कुंदरकी में कांटे की टक्कर; भाजपा के रामवीर सिंह और सपा के रिजवान अहमद में कौन आगे? जानिए ताजा आंकड़ें
प्रबल दावेदारों में मुरादाबाद के पूर्व सांसद डा. एसटी हसन भी शामिल थे। यहां तक जिलाध्यक्ष भी बिना शोर मचाए टिकट के लिए दावेदारी कर रहे थे। पिछले चुनाव में हाजी रिजवान के पार्टी छोड़कर जाने का मुद्दा भी दावेदार जोरशोर से उछाल रहे थे। कुंदरकी सीट सपा की परंपरागत सीट रही है। लिहाजा पार्टी नेतृत्व कोई जोखिम उठाना नहीं चाहता है।
जागरण संवाददाता, मुरादाबाद : Kundarki Seat Live Updates : कुंदरकी विधानसभा क्षेत्र से भाजपा ने रामवीर सिंह और सपा के रिजवान अहमद का राजनीति करियर तय होगा। जो जीतेगा वह कुंदरकी से लखनऊ का सफर तय करेगा। भाजपा ने रामवीर सिंह पर चौथी बार दांव लगाया है। वह कुंदरकी विधानसभा क्षेत्र से तीसरी बार प्रत्याशी होंगे। एक बार देहात विधानसभा क्षेत्र से चुनाव लड़ चुके हैं। हालांकि, तीनों बार वह विधानसभा पहुंचने में नाकामयाब रहे हैं। अब उनपर 31 साल से चला आ रहा भाजपा की हार का सूखा समाप्त करने की चुनौती है।
कम नहीं पार्टी में ही चुनौतियां
मुस्लिम बहुल सीट कुंदरकी से वह 2017 में 12 हजार वोट से हारे थे। 2022 में भी उनका टिकट पक्का माना जा रहा था। लेकिन, राजनीतिक समीकरण और स्थानीय नेताओं के साथ तालमेल नहीं होने के कारण प्रत्याशी नहीं बन सके। पार्टी ने कमल प्रजापति को प्रत्याशी घोषित कर दिया। टिकट कटने का कारण पंचायत चुनाव के दौरान पत्नी के लिए जिला पंचायत अध्यक्ष की टिकट मांगने को लेकर हुए पार्टी संगठन और पंचायती राज मंत्री के साथ विवाद माना गया। उन्होंने पत्नी को टिकट नहीं दिए जाने पर विरोध कर दिया था। तब से वह पार्टी में कुछ अलग-थलग से पड़ गए थे।
सपा ने रिजवान पर खेला है दांव
सपा ने पूर्व विधायक हाजी रिजवान को मैदान में उतारा था। हालांकि, 2022 के चुनाव में हाजी रिजवान ने पार्टी से बगावत कर बसपा से चुनाव लड़ा था, लेकिन उन्होंने लोकसभा चुनाव में घर वापसी कर ली थी। संभल से लोकसभा प्रत्याशी जियाउर्रहमान बर्क कुंदरकी से रिकार्ड मतों से जीते थे।लिहाजा पार्टी नेतृत्व ने हाजी रिजवान पर फिर भरोसा जताया है। कुंदरकी से 2022 में जीते जियाउर्रहमान के संभल से सांसद बनने के बाद यह सीट रिक्त होने के बाद उपचुनाव हो रहा है। हाजी रिजवान के साथ ही सपा में कई अन्य दावेदार भी थे। खुद सांसद के परिवार से भी दावेदारी की जा रही थी।
इसके अलावा प्रबल दावेदारों में मुरादाबाद के पूर्व सांसद डा. एसटी हसन भी शामिल थे। यहां तक जिलाध्यक्ष भी बिना शोर मचाए टिकट के लिए दावेदारी कर रहे थे। पिछले चुनाव में हाजी रिजवान के पार्टी छोड़कर जाने का मुद्दा भी दावेदार जोरशोर से उछाल रहे थे। कुंदरकी सीट सपा की परंपरागत सीट रही है। लिहाजा पार्टी नेतृत्व कोई जोखिम उठाना नहीं चाहता है।
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