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UP Panchayat Chunav 2021 : सपा और भाजपा ने अमरोहा के समर्थित प्रत्याशियों की सूची जारी की, सपा के सरजीत सूची से गायब, पूर्व सांसद के बेटे का सियासी सफर हुआ शुरू, जानें और किस-किस को मिला टिकट

UP Panchayat Chunav 2021 अंदरूनी कलह से बचने को सपा व भाजपा ने नामांकन से महज एक दिन पहले समर्थित प्रत्याशियों की सूची जारी की है। सपा की सूची से जिला पंचायत अध्यक्ष पद के प्रबल दावेदार चौधरी सरजीत सिंह का नाम ही गायब है।

By Samanvay PandeyEdited By: Updated: Tue, 06 Apr 2021 09:27 PM (IST)
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विधायक महबूब की पत्नी तो पूर्व सांसद के पुत्र के जरिये जिला पंचायत अध्यक्ष की कुर्सी पर नजर।
मुरादाबाद, (अनिल अवस्थी)। अंदरूनी कलह से बचने को सपा व भाजपा ने नामांकन से महज एक दिन पहले समर्थित प्रत्याशियों की सूची जारी की है। इसके बाद पंचायत चुनाव में अचानक उफान आ गया। सपा की सूची से जिला पंचायत अध्यक्ष पद के प्रबल दावेदार चौधरी सरजीत सिंह का नाम ही गायब है। वहीं सियासी दिग्गज विधायक महबूब अली की पत्नी व भतीजा सूची में जगह बना ली है। भाजपा की सूची में पूर्व सांसद चौधरी कंवर सिंह तंवर ने अपने बेटे को इस चुनाव के जरिये सियासी सफर में उतार दिया है। मौजूदा परिदृश्य में महबूब अपनी पत्नी व पूर्व सांसद अपने पुत्र के जरिये जिला पंचायत अध्यक्ष की कुर्सी पर निशाना साधते नजर आ रहे हैं। इसके चलते पंचायत चुनाव रोचक हो गया है।

भाजपा ने वार्ड दस से निवर्तमान जिला पंचायत अध्यक्ष पति भूपेंद्र चौधरी को अपना समर्थित प्रत्याशी घोषित किया है। हालांकि वह भी जिला पंचायत अध्यक्ष की कुर्सी पर नजरें गड़ाए हैं। मगर भाजपा के दिग्गजों में शुमार पूर्व सांसद कंवर सिंह तंवर ने भी इसी कुर्सी को ध्यान में रखकर अपने बेटे के सियासी सफर का श्रीगणेश किया है। इस कुर्सी को हटाकर देखें तो जिला पंचायत सदस्य का पद उनके लिए मायने नहीं रखता है। इसलिए समय आने पर उनका वजूद भारी पड़ने की अटकलें तेज हैं। हालांकि अभी उन्हें इस चुनाव में बेटे को जीत दिलाने की चुनौती से भी जूझना पड़ेगा। इसकी वजह यह है कि वह जिन तीन वार्डों से बेटे को चुनाव लड़ाना चाहते थे, वह आरक्षित होने के चलते उनके हाथ से निकल गए। उधर, सपा की बात करें तो पिछले चुनाव के बाद जिला पंचायत अध्यक्ष की कुर्सी पर काबिज हुईं रेनू चौधरी के पति इस बार भी पार्टी से दावेदार थे। मगर उनका वार्ड भी आरक्षित होने से वह वार्ड 14 से टिकट मांग रहे थे। इसी वार्ड से सपा के ही नवेंद्र उर्फ गुड्डू ने प्रबल दावेदारी जताकर पार्टी को असमंजस में डाल दिया। दोनों के पीछे ने हटने पर पार्टी ने इस वार्ड पर अपना प्रत्याशी ही घोषित नहीं किया है। ऐसे में सरजीत को फिलहाल दौड़ से बाहर मान लिया गया है।

पिछले पंचायत चुनाव में सदर विधायक महबूब अली ने जिला पंचायत सदस्य पद के लिए अपनी पत्नी सकीना बेगम के अलावा बेटे परवेज अली के लिए टिकट झटका था। इस बार वह फिर पत्नी के अलावा भतीजे नवाजिश के लिए टिकट पाने में कामयाब रहे। महबूब की भी पत्नी सकीना के जरिये जिला पंचायत अध्यक्ष की कुर्सी पर नजर है। वह पहले इस कुर्सी पर काबिज भी रह चुकी हैं। वहीं पिछले चुनाव में भी वह पत्नी को सपा से इसी पद के लिए टिकट हासिल करने में कामयाब रहे थे। मगर सरजीत सिंह ने उनका टिकट कटवाकर पत्नी रेनू चौधरी को यह कुर्सी दिला दी थी। इस बार सरजीत तो समर्थित प्रत्याशी बनने में ही नाकाम हो गए, ऐसे में महबूब की दावेदारी और मजबूत हो गई है।

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