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बड़े बेटे ने लोड करके दिया तमंचा, छोटे ने पिता के सिर में मार दी गोली- बोले; हमारे पिता का चाल चलन ठीक नहीं था

पुलिस की ओर से सर्विलांस और स्थानीय पुलिस की टीम में जांच पड़ताल शुरू की तो प्रथम दृष्टया यह पाया गया कि मृतक का चाल चलन ठीक नहीं था। जिससे परिवार वाले परेशान थे और कुछ दिन पहले घर के एक महिला सदस्य से भी शराब के नशे में दुर्व्यवहार किया था। इसके बाद पुलिस का शक परिवार के ही सदस्यों पर गया।

By Jagran News Edited By: Mohammed Ammar Updated: Fri, 25 Oct 2024 05:08 PM (IST)
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दो अक्टूबर की रात को जुनावई के करियाखेड़ा में नलकूप पर सो रहे किसान की हुई थी हत्या।
संवाद सहयोगी, बहजोई। करीब तीन सप्ताह पूर्व नलकूप पर सो रहे किसान की गोली मारकर हत्या की थी। पुलिस की जांच में उसके दोनों बेटे कातिल निकले हैं। मृतक के बड़े बेटे ने अपने छोटे भाई को तमंचा दिया और सिर में सटाकर गोली मारी गई थी। पुलिस का दावा है कि पिता का चाल चलन ठीक नहीं होने और घर की महिला सदस्यों के साथ बुरी नीयत रखने के चलते उन्होंने पिता की हत्या की।

रात को नलकूप पर गए थे सोने, सुबह मिली लाश

बहजोई स्थित कार्यालय पर एक हत्याकांड का पर्दाफाश करते हुए पुलिस अधीक्षक कृष्ण कुमार बिश्नोई ने बताया कि दो अक्टूबर की रात्रि को जुनावई थाना क्षेत्र के गांव करियाखेड़ा के रामजीत पुत्र सुअवनी अपने खेत पर बने नलकूप पर सोने के लिए चले गए थे। सुबह को वह मृत अवस्था में मिले और उनके सिर से रक्त बह रहा था। शुरुआत में किसी से प्रहार करके हत्या की आशंका जताई गई थी। हालांकि पोस्टमार्टम में गोली लगने की पुष्टि हुई। इस दौरान परिवार वालों ने कोई रिपोर्ट तत्काल में नहीं लिखाई थी।

हत्या करने के बाद खुद लिखवाई रिपोर्ट

बाद में चार अक्टूबर को मृतक के बड़े बेटे मनोज कुमार ने अज्ञात लोगों की विरुद्ध हत्या की रिपोर्ट दर्ज कराई। पुलिस की ओर से सर्विलांस और स्थानीय पुलिस की टीम में जांच पड़ताल शुरू की तो प्रथम दृष्टया यह पाया गया कि मृतक का चाल चलन ठीक नहीं था। जिससे परिवार वाले परेशान थे और कुछ दिन पहले घर के एक महिला सदस्य से भी शराब के नशे में दुर्व्यवहार किया था। इसके बाद पुलिस का शक परिवार के ही सदस्यों पर गया और दोनों बेटों से गहनता से पूछताछ की गई।

सिर से सटाकर मारी थी गोली 

कई दिनों तक चली पूछताछ के बाद बड़े बेटे मनोज ने बताया कि पिता की हत्या करवाने के लिए घर में ही एक तमंचा रखा था जो छह महीने पहले ही खरीदा गया था। दो अक्टूबर की रात्रि को योजनाबद्ध तरीके से उसने अपने छोटे भाई को तैयार किया और दोनों भाई नलकूप पर ही सो रहे पिता के पास पहुंच गए।

मनोज ने तमंचा को लोड करने के बाद छोटे भाई राजू को दे दिया, जिसने नलकूप के कमरे की दीवार के सहारे बैठकर पिता के सिर में सटाकर गोली मार दी और बाद में घर पर जाकर सो गए। फिलहाल पुलिस ने दोनों आरोपितों को गिरफ्तार कर उन्हें न्यायालय में पेश किया है।

पुलिस टीम को 10 हजार का पुरस्कार

पुलिस अधीक्षक ने बताया कि इस हत्याकांड का पर्दाफाश करने वाले जुनावई के प्रभारी निरीक्षक सुनील कुमार के अलावा सर्विलांस प्रभारी रामवीर सिंह यादव, एसओजी प्रभारी मनोज वर्मा अन्य की टीम को 10 हजार का पुरस्कार दिया गया है। जिसमें वरिष्ठ उप निरीक्षक अमरपाल सिंह, उप निरीक्षक अजय कुमार यादव, हेड कांस्टेबल कुलदीप के अलावा कांस्टेबल इमरान, अंकित कुमार और राहुल शामिल है।

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