UP Politics: सपा-रालोद गठबंधन; RLD के खाते में UP की ये महत्वपूर्ण सीट, पश्चिम यूपी में भाजपा की चुनौती बढ़ा सकता है गठजोड़
UP News विधानसभा की तर्ज पर उत्तर प्रदेश में समाजवादी पार्टी व राष्ट्रीय लोकदल आगामी लोकसभा चुनाव भी साथ मिलकर लड़ेंगे। सपा का रालोद के साथ लोकसभा चुनाव की सीटों को लेकर समझौता हो गया है। सपा ने रालोद को सात सीटें दी हैं। विपक्षी गठबंधन आइएनडीआइए में शामिल सपा व रालोद का यह गठबंधन पश्चिम यूपी में भाजपा की चुनौती बढ़ा सकता है।
जागरण संवाददाता, मुजफ्फरनगर। लोकसभा चुनाव के लिए समाजवादी पार्टी और राष्ट्रीय लोकदल में सीटों का बंटवारा हो गया है। रालोद सात सीटों पर चुनाव लड़ेगी, उसमें मुजफ्फरनगर सीट भी रालोद को ही मिली है। यह सीट रालोद के खाते में जाने से सपा के उन नेताओं को झटका लगा है, जो टिकट की दावेदारी में थे।
दरअसल, वर्ष 2019 के लोकसभा चुनाव में भी मुजफ्फरनगर सीट रालोद के पास थी। तब रालोद सुप्रीमो चौधरी अजित सिंह यहां से चुनाव लड़े थे, लेकिन भाजपा के डा. संजीव बालियान के सामने उन्हें हार मिली। उस चुनाव में रालोद, सपा और बसपा का गठबंधन था।
ये कर रहे दावेदारी
आगामी लोकसभा चुनाव में आगामी चुनाव के लिए मुजफ्फरनगर सीट से सपा के राष्ट्रीय महासचिव एवं पूर्व राज्यसभा सदस्य हरेंद्र मलिक टिकट की दावेदारी कर रहे थे। अब देखना यह है कि रालोद के खाते में सीट जाने पर प्रत्याशी कौन होगा। राजनीतिक गलियारों में चर्चा दो नामों पर हो रही है। एक तरफ पूर्व राज्यमंत्री योगराज सिंह और दूसरी तरफ शामली से रालोद विधायक प्रसन्न चौधरी। हाल ही में पूर्व मंत्री योगराज सिंह और टिकैत परिवार के बीच समझौता हुआ है।
पूर्व मंत्री योगराज सिंह के पिता चौधरी जगबीर सिंह की हत्या के मुकदमे में भाकियू अध्यक्ष चौधरी नरेश टिकैत आरोपित थे। गत वर्ष जुलाई महीने में ही अदालत ने चौधरी नरेश टिकैत को बरी किया। वहीं, योगराज सिंह ने भी समझौता होने के दौरान यह कहा था कि जयन्त चौधरी के निर्देश और समाज की बात को मानते हुए उन्होंने यह निर्णय लिया। कयास लगाया जा रहा कि योगराज सिंह लोकसभा चुनाव लड़ने की तैयारी में हैं।
इन सीटों पर बनी सहमति
सपा व रालोद के बीच जिन सात सीटों पर सहमति बनी है उनमें मेरठ, कैराना, मुजफ्फरनगर, बागपत, मथुरा व हाथरस प्रमुख हैं। बिजनौर व अमरोहा में से एक सीट और रालोद को मिल सकती है। इस बार बिजनौर से कांग्रेस में शामिल होने वाले इमरान मसूद चुनाव लड़ सकते हैं, इसलिए इस सीट पर निर्णय बाद में होने की उम्मीद है। एक-दो सीटों पर फेरबदल की संभावना है। सीटों की आधिकारिक घोषणा कांग्रेस व सपा की बैठक के बाद होगी।