Noida: एनस्थीसिया के ओवरडोज से बच्ची की मौत, सर्जरी में पिता ने खर्च किए हजारों रुपये; बदले में थमा दिया शव
ग्रेटर नोएडा के सेक्टर ओमेगा स्थित यथार्थ अस्पताल में सोमवार रात संदिग्ध परिस्थिति में उपचार के दौरान डेढ़ साल की बच्ची अधीक्षा की मौत हो गई। स्वजन का आरोप है कि डाक्टरों द्वारा दिए गए एनस्थीसिया के ओवरडोज की वजह से बच्चे की मौत हुई है।
नोएड, जागरण संवाददाता। ग्रेटर नोएडा के सेक्टर ओमेगा स्थित यथार्थ अस्पताल में सोमवार रात संदिग्ध परिस्थिति में उपचार के दौरान डेढ़ साल की बच्ची अधीक्षा की मौत हो गई। स्वजन का आरोप है कि डाक्टरों द्वारा दिए गए एनस्थीसिया के ओवरडोज की वजह से बच्चे की मौत हुई है।
सर्जरी के नाम पर पीड़ित से 60 हजार जमा कराए गए। बदले में बच्ची का शव थमा दिया। पीड़ित ने डायल 112 पर मामले की सूचना पुलिस को दी। मौके पर पहुंची पुलिस ने जांच पड़ताल शुरू कर दी है।
खेलते समय हो गई चोटिल
शहर की एडब्ल्यूएचओ सोसायटी में सतेंद्र कुमार यादव अपने परिवार के साथ रहते हैं। वह आईटी कंपनी में इंजीनियर हैं। उनकी डेढ़ साल की बेटी अधीक्षा सोमवार को घर में खेल रही थी। खेलते-खेलते वह बेड का कोने से टकरा गई और चोटिल हो गई।
डॉक्टरों ने कही सर्जरी करने की बात
आनन-फानन सत्येंद्र उसे उपचार के लिए यथार्थ अस्पताल में लेकर पहुंचे। वहां पट्टी करने के बाद डॉक्टरों ने सुझाव दिया कि जहां चोट लगी है, वहां सर्जरी करने से भविष्य बेहतर रहेगा। डॉक्टर की बात मान कर सत्येंद्र ने सर्जरी कराने के लिए हामी भर दी।
सर्जरी के लिए जमा कराए हजारों, फिर मौत की बात पता चली
आरोप है कि सत्येंद्र से 60 हजार रुपये सर्जरी के नाम पर जमा कराए गए। उसके कुछ देर बाद अधीक्षा की मौत होने की जानकारी उनको दी गई। सत्येंद्र का आरोप है कि डाक्टरों द्वारा दिए गए एनेस्थीसिया के ओवरडोज की वजह से उनकी बेटी की मौत हुई है।
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वहीं इस मामले में यथार्थ अस्पताल के चेयरमैन डॉ अजय कुमार त्यागी को फोन कर वार्ता की गई और घटना के बारे में बताया गया। उन्होंने ऐसी कोई भी जानकारी होने से इनकार किया है।
बीटा दो कोतवाली प्रभारी अंजनी कुमार सिंह ने बताया कि मामला संज्ञान में आया है। जांच की जा रही है। मौत का स्पष्ट कारण पोस्टमार्टम रिपोर्ट के बाद ही पता चल सकेगा।