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Noida Crime: IT इंजीनियर ने आर्मी में तैनात दोस्त संग रची अपहरण की झूठी कहानी, पुलिस ने तीन आरोपी दबोचे

Noida Crime News नोएडा में एक्सप्रेस-वे थाना क्षेत्र के सेक्टर-134 में जेपी कॉसमॉस के आईटी इंजीनियर शुभम गौड़ का कथित अपहरण और फिरौती मांगने का मामला फर्जी निकला। इंजीनियर ने आर्मी में तैनात दोस्त ऊधो संग मिलकर अपहरण की झूठी कहानी रची थी। पुलिस ने आर्मी में तैनात दोस्त और युवक समेत तीन को गिरफ्तार किया। पुलिस दो अन्य की तलाश कर रही है।

By Munish Kumar Sharma Edited By: Geetarjun Updated: Wed, 18 Sep 2024 12:03 AM (IST)
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आर्मी में तैनात दोस्त संग मिलकर आईटी इंजीनियर ने रची अपहरण की झूठी कहानी।
जागरण संवाददाता, नोएडा। एक्सप्रेस-वे थाना क्षेत्र स्थित सेक्टर-134 में जेपी कॉसमॉस के आईटी इंजीनियर शुभम गौड़ का मेवाती गिरोह द्वारा अपहरण करने और 50 लाख रुपये फिरौती मांगने की घटना झूठी निकली। इंजीनियर ने आर्मी में तैनात दोस्त ऊधो संग मिलकर अपहरण की झूठी कहानी रची थी।

स्वजन को बेटे के मोबाइल से ही फोन से फिरौती की रकम घटाते जाने, घर-परिवार और रिश्तेदारों की संपत्ति की अंदरूनी जानकारी होने पर शक हुआ। इंजीनियर के कॉल डिटेल और सर्विलांस से आरोपियों के फर्जी प्लान की पोल खुल गईं। पुलिस ने आर्मी में तैनात दोस्त और युवक समेत तीन को गिरफ्तार किया। दो अन्य की तलाश की जा रही।

पुलिस ने गुमशुदगी की दर्ज की थी शिकायत

एसीपी शैव्या गोयल ने बताया कि 10 सितंबर रात साढ़े नौ बजे शुभम गौड़ की बिना बताए कहीं चले जाने को लेकर थाना एक्सप्रेस-वे में गुमशुदगी दर्ज की गई थी। शुभम के मोबाइल से ही कॉल कर छोड़ने की एवज में 50 लाख रुपये की मांग की गई। स्वजन ने इतनी रकम होने से इनकार किया तो आरोपियों ने संपत्ति बेचने को बोला।

शुभम के पिता ने वाद चलना बताया तो आरोपियों ने शुभम के चाचा रियल स्टेट कारोबारी से रुपये उधार लेने को बोला। इस पर स्वजन को शक हो गया और पुलिस को भी बताया।

इस तरह हरियाणा से दबोचे गए आरोपी

टीम ने जांच की तो सीसीटीवी में शुभम एक दुकान तक जाता दिखाई दिया और कुछ दूरी पर उसकी स्कूटी मिली। सर्विलांस की जांच में मोबाइल पर हरियाणा के नंबर से लगातार संपर्क होने का पता चला और उसकी लोकेशन के आधार पर टीम को रेवाड़ी भेजा गया। रेवाड़ी रेलवे स्टेशन से शुभम मिल गया। कॉल डिटेल के आधार पर हरियाणा महेंद्रगढ़ के संदीप व अंकित को भी गिरफ्तार किया।

इस तरह बनाई अपहरण की योजना

पूछताछ में बताया कि करीब एक माह पहले शुभम ने आर्मी में तैनात मध्य प्रदेश ग्वालियर के अपने दोस्त ऊधो संग मिलकर अपहरण की योजना बनाई थी। ऊधो ने आर्मी में ही तैनात अपने साथी अंकित को शामिल कर लिया। अंकित की पोस्टिंग कुपवाड़ा से अजमेर आने के कारण छुट्टी पर आ गया। गांव के संदीप ओर दीपक को भी साथ ले लिया। सभी ने मिलकर शुभम को नंगली पेट्रोल पंप के पास बुलाया था। सफेद ब्रेजा कार से रेवाड़ी ले गए थे।

धन की जरूरत मुताबिक सेट किए टारगेट

शुभम के दादा रजिस्ट्रार थे और उसके पिता का डिश कॉम और चाचा रियल स्टेट कारोबारी हैं। चाचा के कोई बच्चा भी नहीं है। इस कारण मोटी धनराशि मिलने की उम्मीद थी। क्योकि अंकित की बहन की शादी फरवरी में हुई थी और उसपर कर्जा था। संदीप, दीपक व ऊधो को भी पैसों की जरूरत थी, जबकि शुभम टीसीएस में 25 हजार रुपये की नौकरी करता है। उसको डेटिंग और सट्टा लगाने की लत है। इसमें हर माह मोटी धनराशि खर्च करता है।

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