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Noida: 7 राज्यों के आरोपी चला रहे थे कॉल सेंटर, 15 गिरफ्तार; एप्पल के रद ऑर्डर के रिफंड पर विदेशी लोगों से करते ठगी

एप्पल के रद ऑर्डर के रिफंड के नाम पर विदेशी लोगों को ठगने वाला गिरोह पकड़ा है। गिरफ्तार 15 आरोपी सात राज्यों के रहने वाले हैं। सभी मिलकर एक घर में कॉल सेंटर चला रहे थे। आरोपी वीओआईपी कॉल टीएफएन व सोफ्टफोन के माध्यम से विदेशी नागरिकों से संपर्क करते और भुगतान के नाम पर कार्ड की डिटेल ब्लॉकर को देकर गेटवे के माध्यम से बिटकॉइन आदि में ठगी कराते।

By Munish Kumar Sharma Edited By: Geetarjun Updated: Thu, 03 Oct 2024 12:04 AM (IST)
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सेक्टर-39 थाना पुलिस टीम ने गिरफ्तार किए ठगी के आरोपी।
जागरण संवाददाता, नोएडा। सेक्टर-39 थाना पुलिस टीम ने एप्पल के रद ऑर्डर के रिफंड नाम पर विदेशी लोगों को ठगने वाला गिरोह का बुधवार को पर्दाफाश किया। सेक्टर-100 के एक घर में पांच माह से चल रहे फर्जी कॉल सेंटर से 15 आरोपियों को गिरफ्तार किया।

आरोपी वीओआईपी कॉल, टीएफएन व सोफ्टफोन के माध्यम से विदेशी नागरिकों से संपर्क करते और भुगतान के नाम पर कार्ड की डिटेल ब्लॉकर को देकर गेटवे के माध्यम से बिटकॉइन आदि में ठगी कराते। गिरोह हजारों लोगों से करोड़ों रुपये की ठगी कर चुके हैं। गिरोह का सरगना देवरिया का विनीत है।

कॉल सेंटर से मिला ये सामान

एसीपी प्रथम नोएडा प्रवीण कुमार सिंह ने बताया कि सेक्टर-39 थाना पुलिस टीम ने मुखबिर की सूचना पर सेक्टर-100 के सी-234 में जांच की तो फर्जी कॉल सेंटर चलता मिला। टीम ने मौके से 15 आरोपियों को गिरफ्तार किया और 18 लैपटॉप, चार इंटरनेट राउटर, तीन चार पहिया व दो दो पहिया वाहन, 14 हेडफोन, 18 लैपटॉप चार्जर, 24 मोबाइल व 98 हजार रुपये नकदी बरामद हुई।

इस तरह विदेशी नागरिकों को ठगते

पूछताछ में बताया कि सभी मिलकर विदेशी नागरिकों से धोखाधड़ी करने के लिए कॉलिंग करने का काम करते हैं। विदेशी नागरिकों के कम्प्यूटर पर फर्जी लिंक व ईमेल ब्लास्टिंग के माध्यम से जुड़ते। एमेजोन व पेपल कंपनी की ओर से एप्पल प्रोडक्ट के ऑर्डर कैंसिल होने पर रिफंड प्रोसेस करने को टेक सपोर्ट देने के लिए फर्जी हेल्प लाइन नंबर भी प्रदर्शित कर देते।

हेल्प लाइन नंबर के माध्यम से उपभोक्ताओं के संपर्क में आते। विदेशी नागरिकों के सिस्टम से रिफंड प्रोसेस करने के नाम पर ऐनीडेस्क आदि एप्लीकेशन से सिस्टम कंट्रोल में ले लेते। इसी बीच निजी जानकारी के साथ बैंक खातों का जानकारी प्राप्त कर लेते।

इस तरह रकम को अपने पास तक लाते

आरोपी विदेशी उपभोक्ताओं की जानकारी ब्लॉकर के बनाए ग्रुप में डाल देते। ब्लॉकर उपभोक्ता से रिफंड प्रोसेस करने के नाम पर चार्ज लेता। इनसे अलग-अलग धनराशि हजारों डॉल्स के गिफ्ट कूपन व क्रिप्टो करेंसी के रूप प्राप्त की जाती। नोएडा में बैठा स्टाफ अपने परसेंटेज के आधार पर ठगी की धनराशि को कैश करवा लेता और पैसा आपस में बंट जाता था।

एक लाख रुपये किराए पर लिया घर

वहीं, पुलिस की शुरुआती जांच में सामने आया है कि नोएडा में आरोपियों ने पांच माह पहले एक लाख रुपये किराये पर दो मंजिला घर लिया था। इससे पूर्व में सेक्टर-93 व एनसीआर में कॉल सेंटर चला रहे थे। पुलिस इसकी जांच कर रही है और ठगी की धनराशि का डाटा जुटाने में लगी है।

यूपी, मणिपुर, बंगाल समेत सात राज्यों के आरोपी

पुलिस ने गिरफ्तार किए आरोपियों की पहचान उत्तर प्रदेश देवरिया गांव लारटाउन के.विनीत, बरेली उज्ज्वल महानगर के पीयूष कुमार मौर्य, हरियाणा फरीदाबाद छज्जानगर कालोनी के अमित कुमार, मणिपुर इंफाल वेस्ट के वाडेपन, पश्चिम बंगाल जलपाईगुड़ी के संजू ग्वाला व रितिक राय, पश्चिम बंगाल जघनकारपुर के प्रगित दास, प्रयागराज राजनिवास रेजिडेंसी के राघव देवरा, बिहार पूर्णिया के रोहित कुमार, चंडीगढ़ न्यू हरि एवेन्यू के हिमांशु कुमार, दिल्ली सराय कालेखां के इब्राहम अहमद, दिल्ली झिलमिल के सिद्धार्थ डिगरा, दिल्ली लक्ष्मीनगर के. कुशाल, पश्चिम बंगाल वर्धमान के रितेश मिश्रा व पश्चिम बंगाल डागापुर के विशाल प्रसाद के रूप में हुई। सभी आरोपी 20-30 साल के बीच हैं और सभी धाराप्रवाह अंग्रेजी बोलते हैं।

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