Noida: निजी वाहनों के कैब में इस्तेमाल करने पर परिवहन विभाग की सख्ती, कंपनियों को नोटिस किया जारी
निजी वाहनों के व्यावसायिक गतिविधियों में इस्तेमाल करने पर परिवहन विभाग ने सख्ती बरतनी शुरू कर दी है। इसके लिए विभाग ने एप आधारित कैब बुकिंग करने वाली तीन कंपनियों के दिल्ली व नोएडा स्थित कार्यालय को नोटिस भी भेज दिया है।
By Vaibhav TiwariEdited By: Abhi MalviyaUpdated: Thu, 16 Mar 2023 12:29 AM (IST)
नोएडा, जागरण संवाददाता। निजी वाहनों के व्यावसायिक गतिविधियों में इस्तेमाल करने पर परिवहन विभाग ने सख्ती बरतनी शुरू कर दी है। इसके लिए विभाग ने एप आधारित कैब बुकिंग करने वाली तीन कंपनियों के दिल्ली व नोएडा स्थित कार्यालय को नोटिस भी भेज दिया है।
निजी वाहन से सवारी ढ़ोने पर वाहन के खिलाफ कार्रवाई करने के साथ संबंधित कंपनी पर भी कानूनी कार्रवाई करने का नोटिस दिया गया है। सहायक संभागीय परिवहन अधिकारी डा. सियाराम वर्मा ने बताया कि एप आधारित बुकिंग सेवा वाली कंपनियां ओला, ऊबर व रैपिडो ने निजी मोटरसाइकिलों का उपयोग व्यावसायिक के तौर कर रह रही हैं, जो नियमों के अनुरूप नहीं है। ऐसे में कंपनियों के प्रतिनिधियों को नोटिस देकर ऐसी चीजों को तत्काल बंद करने की मांग की गई है।
विभाग अभियान के तहत ऐसे वाहनों के खिलाफ कार्रवाई भी कर रहा है। निजी कार को भी एप आधारित कैब बुकिंग में इस्तेमाल करने की जानकारी हुई है। इस पर भी विभाग की तरफ से कंपनियों को नोटिस जारी किया जाएगा। साथ ही लोगों से भी अपील की जा रही है कि व्यावसायिक वाहन होंने पर ही इसे एप आधारिक कैब सेवा में शामिल करें। नहीं तो कार्रवाई की जाएगी।
अधिकारियों का कहना है कि एप आधारित टैक्सी बुकिंग सेवा कंपनियों के लिए प्रदेश में कोई एग्रीगेटर पालिसी अभी तक नहीं है। सरकार ऐसी पालिसी तैयार कर रही। इसके बाद ऐसे वाहनों के लिए प्रदेश स्तर पर लाइसेंस जारी किए जाएंगे व इसी के बाद कंपनियों की जवाबदेही भी तय की जाएगी।
अधिकतर निजी बाइक को कैब के रूप में किया जा रहा इस्तेमाल
कंपनियों द्वारा कैब के रूप में वाहनों को शामिल करने पर वाहन की आरसी, ड्रायविंग लाइसेंस, प्रदूषण सर्टिफिकेट व आधार कार्ड की जरूरत होती है। इस वर्ष परिवहन विभाग द्वारा जिले में 40 से अधिक ऐसे वाहनों पर कार्रवाई की गई है। एआरटीओ प्रशासन प्रशांत तिवारी ने बताया कि कार्रवाई होने वाले वाहनों में अधिकतर निजी बाइक हैं। इसमें कार की संख्या काफी कम है।सड़क पर ऐसे वाहनों की पहचान करना होता है चुनौती
निजी वाहनों को व्यावसायिक वाहन के तौर पर इस्तेमाल करने के दौरान सड़क पर इनकी पहचान करना चुनौती होती है। वाहन चेकिंग दौरान वाहन चालकों को रोकने व पूछताछ करने पर ही इसकी जानकारी मिल पाती है। साथ ही कई वाहन चालक क्यूआर कोड लगा कर भी चलते हैं। ऐसे में इसकी पहचान कर पूछताछ होने पर निजी वाहन के व्यावसायिक गतिविधियों में इस्तेमाल करने की जानकारी होती है। निजी वाहन टैक्स जमा नही करते जबकि व्यावसायिक वाहनों को टैक्स जमा करना होता है।
जिले में व्यावसायिक वाहनों के तौर पर पंजीकृत बाइक और कारवर्ष कार बाइक
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