Pratapgarh News: करोड़ों की हेराफेरी की जांच सीबीआई को मिलने से खलबली, पीड़ितों में जगी उम्मीद
Pratapgarh News - एसबीआई की लीलापुर शाखा में 4.85 करोड़ रुपये की हेराफेरी की जांच अब सीबीआई करेगी। हाई कोर्ट के आदेश से पीड़ित ग्राहकों को अपनी डूबी रकम मिलने की उम्मीद जगी है। पुलिस ने पहले ही दो संविदा बैंक कर्मियों और आरोपी के पिता को गिरफ्तार किया है। सीबीआई जांच से बैंक कर्मियों में खलबली मची हुई है।
संवाद सूत्र, प्रतापगढ़। एसबीआई की लीलापुर शाखा में चार करोड़ 85 लाख 70 हजार रुपये की हुई हेराफेरी की जांच सीबीआई को मिलने से खलबली है। हाई कोर्ट के इस आदेश से जहां ग्राहकों को अपनी डूबी रकम मिल जाने की उम्मीद जगी है, वहीं गुरुवार को बैंक कर्मियों में खलबली दिखी। अब आरोपियों पर कार्रवाई भी तय मानी जा रही है।
अपनी रकम डूबने की आशंका में पीड़ित ग्राहकों ने हाई कोर्ट की लखनऊ खंडपीठ में वाद दायर किया था। अब जांच सीबीआई को स्थानांतरित करने का आदेश राहत देने वाला है। उक्त बैंक में करोड़ों की हेराफेरी का मामला इसी साल 18 मार्च को सामने आया था।
लीलापुर घरौरा निवासी हनुमान प्रसाद तिवारी जमीन खरीदने को लेकर बैंक में जमा अपनी 20 लाख की एफडी को तुड़वाने की जानकारी करने पहुंचे थे। ब्रांच मैनेजर से जब उन्हें यह पता चला कि उनकी एफडी के बदले लोन लिया गया है तो उनके पैरों तले जमीन खिसक गई।
उन्होंने बैंक के उच्च अधिकारियों से अपनी एफडी में हेराफेरी की शिकायत की। इसके बाद इलाके के मिथिलेश तिवारी, पूर्णेंदु, नरेंद्र, विजय पाठक, सतीश सिंह, प्रीतम सिंह समेत करीब 13 ग्राहकों ने बैंक पहुंचकर अपनी–अपनी एफडी की जानकारी की तो सभी के होश उड़ गए थे।
इस मामले में प्रभारी ब्रांच मैनेजर शिखर अग्रवाल की तहरीर पर तत्कालीन शाखा प्रबंधक जयनाथ सरोज व उसके साथियों के खिलाफ लीलापुर थाने में मुकदमा दर्ज हुआ। प्रकरण गंभीर होने से मामला जिले की क्राइम ब्रांच जांच कर रही थी।
आरोपी निलंबित ब्रांच मैनेजर अब तक पकड़ में नहीं आया है। पुलिस ने उसके पिता धर्मा सरोज व दो संविदा बैंक कर्मियों दीपक कुमार व अनुराग सचान को गिरफ्तार करके जेल भेजा है।
इधर, हाई कोर्ट द्वारा सीबीआई को जांच सौंपने के आदेश की जानकारी होने पर गुरुवार को यहां बैंक कर्मियों में इस पर चर्चा की सुगबुगाहट बनी दिखी कि उनसे भी अब तो पूछताछ होगी। साथ ही दिन में कई बार यह अफवाह उड़ी कि जांच करने सीबीआई आ गई है।
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