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'...फिर यह मामला मेरी कोर्ट में कैसे आया?', ज्ञानवापी परिसर के वुजूखाने के सर्वे मामले पर जस्टिस अजीत ने पूछा सवाल

शृंगार गौरी मामले की याची राखी सिंह की ओर से दायर पुनरीक्षण याचिका (सिविल रिवीजन) पर उपयुक्त बेंच नामित करने के लिए फाइल मुख्य न्यायाधीश अरुण भंसाली के समक्ष भेज दी गई है। बुधवार को न्यायमूर्ति अजीत कुमार की पीठ में यह मामला सुना गया। मंदिर पक्ष से याची राखी सिंह के अधिवक्ता बताया कि न्यायमूर्ति रोहित रंजन अग्रवाल की बेंच को सुनवाई के लिए नामित किया गया था।

By Jagran News Edited By: Nitesh Srivastava Updated: Wed, 22 May 2024 09:07 PM (IST)
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ज्ञानवापी परिसर के वुजूखाने के सर्वे मामले पर जस्टिस अजीत ने पूछा सवाल
विधि संवाददाता, जागरण, प्रयागराज। वाराणसी में विवादित ज्ञानवापी परिसर स्थित वुजूखाने का भी भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण (ASI) से सर्वे कराने की मांग में दाखिल याचिका पर सुनवाई जुलाई के पहले सप्ताह में होगी।

शृंगार गौरी मामले की याची राखी सिंह की ओर से दायर पुनरीक्षण याचिका (सिविल रिवीजन) पर उपयुक्त बेंच नामित करने के लिए फाइल मुख्य न्यायाधीश अरुण भंसाली के समक्ष भेज दी गई है। बुधवार को न्यायमूर्ति अजीत कुमार की पीठ में यह मामला सुना गया।

मंदिर पक्ष से याची राखी सिंह के अधिवक्ता सौरभ तिवारी ने कोर्ट को बताया कि न्यायमूर्ति रोहित रंजन अग्रवाल की बेंच को सुनवाई के लिए नामित किया गया था। इस पर न्यायमूर्ति अजीत कुमार ने पूछा कि फिर यह मामला मेरी कोर्ट में कैसे आया? केस के रिकार्ड देखने के बाद इसे मुख्य न्यायाधीश के समक्ष भेज दिया।

अंजुमन इंतेजामिया मसाजिद कमेटी की तरफ से वकालतनामा दाखिल किया गया। वरिष्ठ अधिवक्ता एसएफए नकवी उसकी तरफ से बहस करेंगे।

वाराणसी जिला जज के 21 अक्टूबर, 2023 के आदेश के विरुद्ध हाई कोर्ट में सिविल रिवीजन दायर की गई है। न्यायमूर्ति रोहित रंजन अग्रवाल ने 31 जनवरी को मामले में विस्तृत बहस सुनने के बाद प्रतिवादी संख्या चार अंजुमन इंतेजामिया मसाजिद कमेटी को नोटिस जारी किया था।

वाराणसी के जिला जज ने सर्वोच्च न्यायालय के आदेश का हवाला देकर एएसआइ सर्वे का आदेश देने से इन्कार कर दिया था। मंदिर पक्ष का तर्क है कि एएसआइ के वैज्ञानिक सर्वे से कथित वुजूखाने को कोई नुकसान नहीं होगा।

सुप्रीम कोर्ट के आदेश का उल्लंघन भी नहीं होगा क्योंकि उसने (सुप्रीम कोर्ट ने) कथित वुजूखाना क्षेत्र को सुरक्षित और संरक्षित करने का आदेश दिया है ना कि सील किया है। मंदिर पक्ष से सौरभ तिवारी, विनीत संकल्प, प्रभास पांडेय, विकास कुमार ने सुनवाई में हिस्सा लिया।

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