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प्रयागराज एक्सप्रेस के फर्स्ट एसी कोच से चादर चोरी कर ले जा रहे थे हाई प्रोफाइल यात्री, अधिकारियों तक पहुंचा मामला फिर...

वीआइपी ट्रेन प्रयागराज एक्सप्रेस के एसी फर्स्ट के दो यात्री चादर चोरी कर घर ले जा रहे थे। घटना उसे वक्त हुई जब ट्रेन सोमवार की सुबह नई दिल्ली रेलवे स्टेशन पहुंचने वाली थी। अटेंडेंट ने चादर गायब होने की सूचना अपने इंचार्ज को दी तो मौके पर टीटीई भी आ गए। यात्री का बैग खुलवाया गया तो दोनों चादर उसमें से मिले। दोनों यात्री शर्मसार हो गए।

By amarish kumar Edited By: Abhishek Pandey Updated: Mon, 08 Apr 2024 07:43 AM (IST)
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प्रयागराज एक्सप्रेस के फर्स्ट एसी कोच से चादर चोरी कर ले जा रहे थे हाई प्रोफाइल यात्री
जागरण संवाददाता, प्रयागराज। वीआइपी ट्रेन प्रयागराज एक्सप्रेस के एसी फर्स्ट के दो यात्री चादर चोरी कर घर ले जा रहे थे। घटना उसे वक्त हुई जब ट्रेन सोमवार की सुबह नई दिल्ली रेलवे स्टेशन पहुंचने वाली थी। अटेंडेंट ने चादर गायब होने की सूचना अपने इंचार्ज को दी तो मौके पर टीटीई भी आ गए।

यात्री का बैग खुलवाया गया तो दोनों चादर उसमें से मिले। दोनों यात्री शर्मसार हो गए। चादर वापस कर दोनों को माफी मांगनी पड़ी।

प्रयागराज-नई दिल्ली के बीच चलने वाली ट्रेन नंबर 12417 प्रयागराज एक्सप्रेस के एसी प्रथम श्रेणी के कोच में एक हाई प्रोफाइल परिवार यात्रा कर रहा था। प्रयागराज जंक्शन से ट्रेन रात 10:10 बजे रवना हुई। सुबह 6:45 बजे अटेंडेंट कोच में दिए गए, लेनिन को एकत्रित कर रहा था, इस दौरान दो सीटों पर चादर मौजूद नहीं था। ट्रेन दिल्ली पहुंचने वाली थी और अटेंडेंट को शक हुआ कि यात्री ने ही अपने बैग में चादर रखा है।

मामला हाई प्रोफाइल यात्री से जुड़ा होने के कारण वह कुछ बोल ना सका और अपने अधिकारियों को सूचना दी।यात्री का जब बैग खुलवाया गया तो दोनों चादर अंदर ही मिल गई।

प्रयागराज मंडल के पीआरओ अमित कुमार सिंह ने बताया कि एक ऐसी घटना हुई है। इस पूरे मामले की जांच कराई जा रही है। अगर कोई ले जाते पकड़ा गया तो उसके विरुद्ध कानूनी कार्रवाई भी की जाएगी। हम अपने यात्रियों से अपील करते हैं कि वे ऐसी घटनाओं को रोकने में हमारी मदद करें।

2390 रुपये है किराया

ऐसी प्रथम श्रेणी के कोच में अधिकांशतः हाई प्रोफाइल लोग ही यात्रा करते हैं। हर साल हजारों की संख्या में रेलवे के चादर तौलिया आदि चोरी होते हैं। यात्रियों का सहयोग न मिलने के कारण इस पर रोक नहीं लग पा रही है। जबकि इसके लिए जागरूकता कार्यक्रम भी चलाए जा रहे हैं।

नौ साल में गायब हो चुके हैं दो लाख तौलिया

प्रयागराज मंडल में नौ वर्ष में चादर और तौलिया गायब होने के दो लाख से अधिक मामले सामने आ चुके हैं। 2023 तक तीन हजार से अधिक चादर और तौलिया गायब हो चुके हैं। चादर और तौलिया चोरी होने पर रेलवे ठेकेदार के बिल से पैसा काटता है तो ठेकेदार अटेंडेंट के मानदेय से पैसा काटकर अपना घाटा पूरा करता है। प्रयागराज मंडल से चलने वाली 16 ट्रेनों में यह सुविधा दी जा रही है।

20 रुपये का तौलिया व 40 रुपये की चादर

ट्रेन में मिलने वाले लेनिन (बेडरोल) में एक तकिया, एक कंबल, दो चादर (बेडशीट), एक हाथ तौलिया दिया जाता है। हैंड तौलिया की कीमत 20 रुपये, एक चादर की कीमत 40 रुपये, कंबल 180 रुपये और तकिए की कीमत 70 रुपये है। बेड शीट, हाथ तौलिया और तकिया के कवर को हर बार इस्तेमाल के बाद धुला जाता है। कंबल को एक महीने में एक बार धुला जाता है। बेड शीट धुलने में साढ़े सात रुपये, तकिया कवर व हाथ तौलिया पर ढाई रुपये लगते हैं।

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