यूपी के इस जिले में अतिक्रमण के खिलाफ पहली बार चला इतना बड़ा अभियान, योगी सरकार ने शहर के 'दिल' पर चलाया बुलडोजर
Chandausi Bulldozer Action News यूपी के चंदौसी में अतिक्रमण के खिलाफ बुलडोजर की कार्रवाई सातवें दिन एक बार फिर शुरू हो गई। चंदौसी के इतिहास में पहली बार इतने बड़े स्तर पर अतिक्रमण के खिलाफ कार्रवाई की जा रही है। किसी ने कल्पना भी नहीं की थी कि 50-60 साल पहले बनी दुकानों व अन्य प्रतिष्ठानों को भी तोड़ा जाएगा।
जागरण संवाददाता, चंदौसी। शहर में अतिक्रमण अभियान तो कई बार चला, लेकिन ऐसा कभी नहीं चला। चंदौसी के इतिहास में पहली बार इतने बड़े स्तर पर अतिक्रमण के खिलाफ कार्रवाई की जा रही है। किसी ने कल्पना भी नहीं की थी कि 50-60 साल पहले बनी दुकानों व अन्य प्रतिष्ठानों को भी तोड़ा जाएगा। शहर के सबसे अहम हिस्से फव्वारा चौक स्टेशन रोड पर दर्जनों दुकानों में शुक्रवार सुबह से ही तोड़फोड़ की कार्रवाई शुरू हो गई।
गिड़गिड़ाते रहे लोग, अधिकारियों को नहीं पड़ा फर्क
फुलप्रूफ योजना के तहत शहर के बाहरी हिस्से से अतिक्रमण हटाने की शुरुआत की गई और अब डिप्टी कलेक्टर की टीम शहर के बीचोंबीच पहुंच गई। दहशत इतनी कि लोग लोग गिड़गिड़ाते रहे, धमकियां भी दी जाती रहीं, लेकिन कोई फर्क नहीं पड़ा। गुरुवार को जब फव्वारा चौक से स्टेशन रोड पर अभियान चलाने का फरमान जारी किया गया और शुक्रवार की सुबह ही बुलडोजर लाकर खड़े कर दिए गए तो भूचाल आ गया।
खुद ही अपनी दुकाने तोड़ने में लग गए लोग
दुकानदारों को पसीना छूट गया। सभी दुकानों को खाली कर खुद ही तोड़ने में लग गए। वजह यह भी कि बुलडोजर चलेगा तो सबकुछ खत्म कर देगा और मलबा तक उन्हें नहीं मिलेगा। यही नहीं तुड़वाई का पैसा भी दुकानदारों को ही देना पड़ेगा।
चुंगी से तहसील चौराहे तक सबसे बड़ी कार्रवाई
एक सप्ताह पहले बदायूं चुंगी से शुरू किया गया अभियान भैतरी रेलवे फाटक तक चला। सबसे बड़ी कार्रवाई चुंगी से तहसील चौराहे तक की गई। यहां दर्जनों दुकानों के साथ मकानों को भी ध्वस्त कर दिया गया। मंदिर की दीवारें तोड़ी गईं तो कब्रिस्तान की दीवार को भी नहीं छोड़ा गया।
जिन सड़कों से वाहनों का निकलना मुश्किल था, वहां अब फोर लेन जैसी स्थिति हो गई है। पावर हाउस रोड पूरी तरह से अवैध कब्जे में था, लेकिन अब हालत यह है कि यह मार्ग मुख्य मार्ग की तरह ही चौड़ा हो गया है। इस रोड पर भी दर्जनों दुकानों और उन मकानों को ध्वस्त कर दिया गया, जो सड़क की सीमा में बढ़ाकर बनाए गए थे।
बता दें, भारत सरकार की अमृत स्टेशन योजना के तहत चंदौसी रेलवे स्टेशन के कायाकल्प का कार्य चल रहा है। इसके लिए डेढ़ वर्ष पूर्व ही स्टेशन के मुख्य द्वार पर रेलवे की भूमि में बनी दुकानों को तोड़ना प्रस्तावित कर दिया गया था, लेकिन रेलवे के अधिकारी इन दुकानों को हटवाने का साहस नहीं जुटा सके थे। तहसील व पालिका प्रशासन से पत्राचार का खेल चलता रहा, लेकिन कोई कार्रवाई नहीं हुई। अब डिप्टी कलेक्टर ने इन दुकानों को ध्वस्त कराने का निर्णय लेते हुए बुधवार की शाम तक इन्हें खाली करने के निर्देश दुकानदारों को दिए थे।
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