जामा मस्जिद व हरिहर मंदिर प्रकरण: एडवोकेट कमिश्नर की टीम जांच को दोबारा पहुंची, पुलिस फोर्स तैनात
Jama Masjid And Harihar Temple Case जामा मस्जिद और हरिहर मंदिर प्रकरण में एडवोकेट कमिश्नर की टीम जांच के लिए दोबारा पहुंची है। 19 नवंबर को वीडियोग्राफी कराने के बाद सिविल जज (सीनियर डिवीजन) कोर्ट में मस्जिद के हरिहर मंदिर होने का दावा किया गया था। जिसके बाद कोर्ट ने सर्वे का आदेश दिया था। पुलिस फोर्स भी तैनात की गई है।
जागरण संवाददाता, संभल। रविवार तड़के अचानक से एडवोकेट कमिश्नर के साथ डीएम और एसपी जामा मस्जिद पर पहुंच गए। जहां जामा मस्जिद में सर्वे कराए जाने की बात कहीं जा रही थी। इस सर्वे के दौरान जामा मस्जिद तक कोई ना जा सके, इसके लिए काफी दूर पहले से ही बेरिकेडिंग पर भारी पुलिस बल तैनात कर दिया गया था।
जामा मस्जिद व हरिहर मंदिर प्रकरण के बाद से ही शहर में शांति व सुरक्षा व्यवस्था व्यवस्था को बढ़ा दिया गया था। इसी मामले में मंगलवार को एडवोकेट कमिश्नर रमेश राघव के साथ वादी पक्ष के अधिवक्ता विष्णु शंकर जैन और प्रतिवादी पक्ष की काफी लोग लोग मौजूद थे।
वहीं शुक्रवार को जुमे की नमाज के दौरान मुरादाबाद और बरेली मंडल के करीब आठ जिलों का पुलिस बल तैनात किया गया था। उस समय सुरक्षा की दृष्टि से जामा मस्जिद की ओर जाने वाले सभी रास्तों पर बांस बल्ली से बेरिकेडिंग करके पीएसी जवानों को तैनात कर दिया गया था, जिससे लोगों की भीड़ उस ओर ना जा सके, लेकिन रविवार की सवेरे अचानक एडवोकेट कमिश्नर रमेश राघव अपनी टीम के साथ जामा मस्जिद पर पहुंचे।
शहरी जामा मस्जिद।
डीएम और एसपी भी रहे मौजूद
जहां उनके साथ डीएम डा. राजेंद्र पैंसिया, एसपी कृष्ण कुमार विश्नोई भारी संख्या में पुलिस बल व अन्य अधिकारियों के साथ शामिल रहे। इस दौरान बेरिकेडिंग पर भारी पीएसी व आरआरएफ जवानों को तैनात किया गया था। जोकि उस ओर जाने वाले सभी लोगों को रोक रहे थे। अचानक से अधिकारियों के जामा मस्जिद पर पहुंचने और भारी संख्या में पुलिस बल होने पर शहर के लोगों में खलबली मच गई थी।
संभल में जामा मस्जिद के पास रास्ते पर लोगों की आवाजाही को रोकने के लिए सड़क के बीच खड़ा पुलिस वाहन
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