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वाराणसी में ईवीएम को लेकर बवाल : देर रात प्रशासन और नेताओं में सहमति, प्रत्याशियों के सामने ईवीएम की जांच

वाराणसी के पहडिय़ा मंडी में मंगलवार शाम को ईवीएम बाहर भेजे जाने को लेकर करीब दस घंटे चले बवाल के बाद रात लगभग 1.30 बजे प्रशासन व सपा समेत राजनीतिक दलों के नेताओं में सहमति बनी। 20 ईवीएम की जांच की गई।

By Saurabh ChakravartyEdited By: Updated: Wed, 09 Mar 2022 06:43 AM (IST)
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वाराणसी के पहडिय़ा मंडी में प्रत्‍याशियों के सामने ईवीएम की जांच की गई।
वाराणसी, जागरण संवाददता। पहडिय़ा मंडी से ईवीएम बाहर भेजे जाने को लेकर 10 घंटे चले बवाल के बाद रात लगभग 1.30 बजे प्रशासन व सपा समेत राजनीतिक दलों के नेताओं में सहमति बनी। कई चरणों में चुनाव प्रेक्षक की उपस्थिति में चली बैठक में अंतत: तय किया गया कि ईवीएम की जांच की जाए। अधिकारियों ने भरोसा दिया कि इसके बाद भी गड़बड़ी मिली तो चुनाव निरस्त किया जाएगा। इस पर गाड़ी को स्ट्रंाग रूम के पास ले जाने का प्रयास किया गया तो उसके टायर पंचर मिले। अंतत: सभी 20 ईवीएम उतार कर अंदर ले जाई गईं। उसमें बटन पर चुनाव निशान की जगह अल्फा, बीटा, गामा समेत प्रतीक मिले। जांच प्रक्रिया देर रात दो बजे तक चली।

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अत: इसे डेमो ईवीएम माना गया। बैलेट यूनिट व कंट्रोल यूनिट खोल कर दिखाया गया। वीवी पैट भी प्रत्याशियों के सामने प्रदर्शित किया गया। उसमें किसी प्रकार की पर्ची व पेपर रोल नहीं मिला। हालांकि सभी मशीनों की जांच को लेकर प्रत्याशी दबाव बनाते रहे तो प्रशासन रैैंडम चेकिंग पर अड़ा रहा। एक बैलेट यूनिट रोहनिया लिखे होने पर भी आपत्ति जताई गई। ईवीएम के बैलेट यूनिट व कंट्रोल यूनिट के नंबर न दिए जाने का सवाल उठाए जाने पर इसे तत्काल उपलब्ध कराने के लिए कर्मियों को बुलाया गया। पूरी प्रक्रिया से डीएम व कमिश्नर को दूर रखा गया।

पुलिस ने खदेड़ा, पत्थरबाजी, सपा कार्यकर्ता घायल

पहडिय़ा में हंगामा का दौरान सपा कार्यकर्ताओं ने जमकर नारेबाजी की। काली मंदिर से लेकर पहडिय़ा मंडी तक की सिर्फ कार्यकर्ता भरे रहे। पुलिस ने खदेड़ा तो पत्थरबाजी शुरू हो गई। इसमें पुलिस की दो गाडिय़ां क्षतिग्रस्त हो गईं। इसमें सपा कार्यकर्ता अजय साहू के सिर में चोट लगी। कार्यकर्ताओं ने तत्काल उसे अस्पताल भेजवाया। कहा, पुलिस की लाठी से कार्यकर्ता का सिर फट गया। इस दौरान अखिलेश यादव के आने की चर्चा ने जोर पकड़ा और भीड़ बढऩे लगी।

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बस छोड़ भागा चालक

फोर्स को लेकर पहडिय़ा पहुंची रोडवेज का बस चालक भीड़ देख घबड़ा गया। बस सड़क पर ही छोड़ कर भाग निकला। बाद में पुलिस उसे मंडी परिसर में ले गई।

डीएम-कमिश्नर को हटाने की मांग

सपा कार्यकर्ताओं में डीएम-कमिश्नर को लेकर कुछ अधिक ही आक्रोश रहा। अधिकारियों पर सत्ता के दबाव में कार्य करने का आरोप लगाया। प्रेक्षक से मिल कर दोनों अफसरों को हटाने की मांग पर अड़े रहे। इसके लिए पत्रक तैयार कर चुनाव प्रेक्षक को सौंपा। पत्र में लिखा गया है कि आठ मार्च की शाम ईवीएम को लेकर अनियमितता की गई। जिन गाडिय़ों में ईवीएम बगैर सुरक्षा के मतगणना स्थल के बाहर जा रही थी उसकी चुनाव आयोग उच्चस्तरीय कमेटी से जांच कराए। सात मार्च को मतदान में प्रयोग की गई ईवीएम के बैलेट और कंट्रोल यूनिट की सूची प्रत्याशियों को दी जाए। बाहर भेजी जा रही ईवीएम की भी बैलेट व कंट्रोल यूनिट की सूची प्रत्याशियों का प्राप्त कराई जाए। निष्पक्ष मतगणना के लिए डीएम- कमिश्नर को तत्काल हटाया जाए। इस पर सभी प्रत्याशियों ने हस्ताक्षर किए। इसे लेकर प्रेक्षक ने लखनऊ बात भी की।

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