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काशी की कला व वैभव निहार मोहित हुए विदेशी मेहमान, बनारसी हस्त शिल्प की प्रशंसा करते हुए खरीदे कई सामान

शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) की सांस्कृतिक व पर्यटन राजधानी बनी काशी में पहली बार संगठन से जुड़े तीन देशों के दूतावासों के सचिवों (विदेशी मेहमान) ने मंगलवार को यहां की कला व वैभव को निहारा और जमकर तारीफ की।

By vikas ojhaEdited By: Anurag SinghUpdated: Tue, 04 Oct 2022 09:20 PM (IST)
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रामनगर की लीला देखने पहुंचे शंघाई सहयोग संगठन प्रतिनिधि मंडल के सदस्य।
वाराणसी, जागरण संवाददाता। शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) की सांस्कृतिक व पर्यटन राजधानी बनी काशी में पहली बार संगठन से जुड़े तीन देशों के दूतावासों के सचिवों (विदेशी मेहमान) ने मंगलवार को यहां की कला व वैभव को निहारा और जमकर तारीफ की। कजाकिस्तान दूतावास के प्रथम सचिव अर्दक काकिमजानोव, किर्गिस्तान दूतावास की प्रथम सचिव असेल अकमतकालानी व उज्बेकिस्तान के आजमजोन मंसूरोव सुबह लगभग साढ़े दस बजे सबसे पहले बड़ालालपुर स्थित ट्रेड फैसिलिटेशन सेंटर (टीएफसी) देखने पहुंचे। भव्य सेंटर की प्रसंशा करते हुए कहा कि कला को सहेजने के लिए यह बड़ा प्रयास है।

किर्गिस्तान की प्रथम सचिव ने एक हैंड बैग व सूती चादर खरीदी। इसके साथ ही एक-एक हस्त शिल्प उत्पाद को देखा व सराहा। टीएफसी म्यूजियम का भी अवलोकन किया। कहा कि इस तरह का प्रयास मेरे देश में भी है। छोटा देश है, वहां वन डिस्ट्रिक्ट वन विलेज का कांसेप्ट है। हाथ के बुने कपड़े खरीद कर लोग अपनी कला का रंग भरते हैं। एससीओ से जुड़े देशों के दूतावास का यह दल टीएफसी देखने के बाद रामनगर पहुंचा। रामनगर दुर्ग का वैभव देख प्रशंसा करते अघाए। इसके इतिहास की भी जानकारी ली।

काशिराज परिवार की ओर से इन मेहमानों के सम्मान में बैठने के लिए खास व्यवस्था की गई थी। राजसी शान शौकत व परंपरागत ढंग से दुर्ग में विजय दशमी पर्व पर शस्त्र पूजन देखा। वैदिक मंत्रोच्चार के बीच विधि-विधान से हो रहे पूजन के एक-एक पल को मेहमान ने कैमरे में सहेजा। पीएसी गारद की सलामी, रामनगर राज परिवार का शाही दरबार, मुसाहिब साहबानो (दरबारियों) की ओर से पेश नजराना की परंपरा, काशिराज परिवार की महिलाओं द्वारा अनंत नारायण सिंह की नजर उतारा जाना उनके लिए अचरज से कम न था। दुर्ग में लगभग दो घंटे रहने के बाद विदेशी मेहमान होटल ताज गैंगेज लौट आए।

कजाकिस्तान दूतावास के प्रथम सचिव दिल्ली रवाना

कजाकिस्तान दूतावास के प्रथम सचिव अर्दल काकिमजानोव काशी की कला व संस्कृति को देखने के बाद मंगलवार की रात दिल्ली के लिए प्रस्थान कर गए।

किर्गिस्तान व उज्बेकिस्तान दूतावास के सचिव आज देखेंगे सारनाथ, विश्वनाथधाम

किर्गिस्तान व उज्बेकिस्तान दूतावास के सचिव बुधवार को श्रीकाशी विश्वनाथ धाम के साथ ही महात्मा बुद्ध की प्रथम उपदेश स्थली सारनाथ की पुरातात्वाकिता देखेंगे। इसके बाद जलयान (क्रूज) से गंगा की सैर करेंगे। बुधवार रात दस बाबतपुर एयरपोर्ट से दिल्ली के लिए प्रस्थान करेंगे।

एससीओ में शामिल देश

एससीओ में भारत के साथ ही चीन, रूस, कजाकिस्तान, किर्गिस्तान, तजाकिस्तान, उज्बेकिस्तान और पाकिस्तान सदस्य देश हैं। इसकी राजधानी बीजिंग है। काशी को एक वर्ष के लिए सांस्कृतिक व पर्यटन की राजधानी संगठन की ओर से घोषित किया गया है।

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