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Gyanvapi Case: 'कब तक चलेगा समय मांगने का सिलसिला', ज्ञानवापी सर्वे रिपोर्ट को लेकर कोर्ट ने ASI से पूछा सवाल

जिला जज की अदालत ने बुधवार को भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण (एएसआइ) से कहा कि ज्ञानवापी में हुए सर्वे की रिपोर्ट सौंपने के लिए समय मांगने का सिलसिला कब तक चलेगा? रिपोर्ट दाखिल करने के लिए एएसआइ की ओर से तीन सप्ताह और समय देने की अपील पर बुधवार को सुनवाई के दौरान जिला जज डा. अजय कृष्ण विश्वेश ने यह सवाल पूछा।

By Jagran NewsEdited By: Abhishek PandeyUpdated: Wed, 29 Nov 2023 09:46 PM (IST)
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'कब तक चलेगा समय मांगने का सिलसिला', ज्ञानवापी सर्वे रिपोर्ट को लेकर कोर्ट ने ASI से पूछा सवाल
विधि संवाददाता, वाराणसी। जिला जज की अदालत ने बुधवार को भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण (एएसआइ) से कहा कि ज्ञानवापी में हुए सर्वे की रिपोर्ट सौंपने के लिए समय मांगने का सिलसिला कब तक चलेगा?

रिपोर्ट दाखिल करने के लिए एएसआइ की ओर से तीन सप्ताह और समय देने की अपील पर बुधवार को सुनवाई के दौरान जिला जज डा. अजय कृष्ण विश्वेश ने यह सवाल पूछा। अदालत ने कहा कि एएसआइ स्पष्ट करे कि रिपोर्ट कब तक दाखिल की जाएगी।

मस्जिद पक्ष ने दर्ज कराई आपत्ति

प्रतिवादी अंजुमन इंतेजामिया मसाजिद (मस्जिद पक्ष) ने भी एएसआइ के प्रार्थना पत्र पर आपत्ति दर्ज कराई। मस्जिद पक्ष के वकील मुमताज अहमद, एखलाक अहमद ने अदालत में कहा कि एएसआइ को इससे पहले भी कई मौके दिए जा चुके हैं। बार-बार समय मांगने से लगता है एएसआइ अदालत के आदेश को लेकर गंभीर नहीं है।

रिपोर्ट दाखिल करने के लिए लिखित में तिथि सुनिश्चित कराई जाए। साथ ही मांग की कि सर्वे करने वाली टीम का नेतृत्व करने वाले एएसआइ के अतिरिक्त महानिदेशक आलोक त्रिपाठी अदालत में उपस्थित होकर स्थिति स्पष्ट करें।

इस पर अदालत ने एएसआइ की ओर से उपस्थित स्टैंडिंग गवर्मेंट काउंसिल अमित कुमार श्रीवास्तव व राहुल मिश्रा से पूछा कि स्पष्ट करें कि रिपोर्ट कब तक अदालत में दाखिल की जाएगी।

अमित कुमार श्रीवास्तव ने बताया कि ग्राउंड पेनेट्रेटिंग रडार (जीपीआर) से मिली जानकारी का अध्ययन करने में विशेषज्ञों को वक्त लग रहा है। काउंसिल आफ साइंटिफिक एंड इंडस्ट्रियल रिसर्च-नेशनल जियोफिजिकल रिसर्च इंस्टीट्यूट (सीएसआइआर-एनजीआरआइ) की टीम ज्ञानवापी परिसर में जीपीआर के उपयोग से मिले डाटा का अध्ययन कर रही है।

सर्वे के दौरान विशेषज्ञों के दल ने ज्ञानवापी में जीपीआर के जरिये सैकड़ों वस्तुओं की आभासी छवि प्राप्त की है। इनका अध्ययन करके विशेषज्ञों से विचार-विमर्श के बाद वास्तविक छवि तैयार करने में बहुत सतर्कता बरती जा रही है। इस कारण रिपोर्ट तैयार करने में वक्त लग रहा है। दोनों पक्षों की बहस सुनने के बाद अदालत ने गुरुवार तक के लिए आदेश सुरक्षित रख लिया है। सुनवाई के दौरान प्रदेश सरकार की ओर से वकील राजेश मिश्रा भी उपस्थित थे।

अदालत ने कई बार एएसआइ को दिया समय

  • जिला जज ने 21 जुलाई चार अगस्त तक रिपोर्ट दाखिल करने का आदेश दिया था।
  • एएसआइ की अपील पर अदालत ने चार हफ्ते का समय देते हुए दो सितंबर तक रिपोर्ट पेश करने को कहा
  • दो सितंबर को प्रार्थना पत्र देकर एएसआइ ने आठ सप्ताह का समय और मांगा। अदालत ने चार हफ्ते का समय दिया
  • चार अक्टूबर को एएसआइ ने फिर चार हफ्ते का समय मांगा, अदालत ने इसे स्वीकार कर लिया
  • दो नवंबर को एएसआइ की ओर से 15 दिनों का समय फिर मांगा गया
  • अदालत ने 17 नवंबर को रिपोर्ट दाखिल करने का आदेश दिया था
  • 17 नवंबर को एएसआइ ने फिर 15 दिनों का समय देने की अपील की
  • अदालत ने 10 दिनों का समय देते हुए 28 नवंबर को रिपोर्ट दाखिल करने का आदेश दिया था
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