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रेलवे में होने जा रहा बड़ा बदलाव, महिला जवान संभालेंगी ट्रेनों में सुरक्षा की कमान; जून से होगी नई शुरूआत

चलती ट्रेनों के सुरक्षा दल में अब महिला जवान भी तैनात होंगी। रेलवे के नए निर्णय से अकेले सफर के दौरान आधी आबादी खुद को सुरक्षित महसूस कर सकेगी। इसकी शुरुआत पुरुषों के सुरक्षा दस्ते में एक-दो महिला जवानों की ड्यूटी लगाने के साथ होगी। ड्यूटी की बारीकियां समझने के बाद स्वतंत्र महिला दस्ता के गठन पर बनारस रेल सुरक्षा बल प्रशासन विचार करेगा।

By Rakesh Srivastava Edited By: Aysha Sheikh Updated: Wed, 15 May 2024 01:25 PM (IST)
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रेलवे में होने जा रहा बड़ा बदलाव, महिला जवान संभालेंगी ट्रेनों में सुरक्षा की कमान; जून से होगी नई शुरूआत
राकेश श्रीवास्तव, वाराणसी। चलती ट्रेनों के सुरक्षा दल में अब महिला जवान भी तैनात होंगी। रेलवे के नए निर्णय से अकेले सफर के दौरान आधी आबादी खुद को सुरक्षित महसूस कर सकेगी। इसकी शुरुआत पुरुषों के सुरक्षा दस्ते में एक-दो महिला जवानों की ड्यूटी लगाने के साथ होगी। ड्यूटी की बारीकियां समझने के बाद स्वतंत्र महिला दस्ता के गठन पर बनारस रेल सुरक्षा बल प्रशासन विचार करेगा। सबकुछ ठीक रहा तो जून से महिला जवान नई जिम्मेदारी संभालने लगेंगी।

इसलिए महिला जवानों को दी जाएगी जिम्मेदारी

महिलाओं में आत्मनिर्भरता बढ़ी है। अकेले सफर करने वाली आधी आबादी संख्या बढ़ी है। ऐसे में पुरुष सुरक्षा दस्ते की मौजूदगी के बाद भी कई बार महिलाएं अपनी बात खुलकर नहीं बता पातीं, जबकि ट्रेन सुरक्षा दस्ते में महिला जवानों की मौजूदगी से अपनी परेशानी खुलकर बता सकेंगी। इससे रेलवे के यात्री सुरक्षा नारे को मजबूती भी मिलेगी।

नंबर गेम

  • 56 यात्री ट्रेनों में भेजा जाता है सुरक्षा दस्ता।
  • 129 आरपीएफ के जवान संभालते हैं सुरक्षा मोर्चा।

ट्रेन सुरक्षा दस्ते में महिला जवानों का होना जरूरी है। मेरी सहेली योजना के तहत आरपीएफ अलग-अलग स्टेशनों पर महिला यात्रियों से मिलकर सुरक्षा का भरोसा दिलाती हैं। चलती ट्रेनों के सुरक्षा दस्ते में महिला जवान होंगी तो महिला यात्री ज्यादा खुलकर अपनी परेशानी बता सकेंगी। - एस रामकृष्णन, वरिष्ठ रेल मंडल सुरक्षा आयुक्त, बनारस मंडल।

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