कृष्णानंद राय हत्याकांड : निर्दोष साबित होने पर 14 वर्ष बाद जेल से रिहा हुए मुख्तार के बहनोई
भाजपा विधायक कृष्णानंद राय हत्याकांड में सीबीआइ न्यायालय से निर्दोष साबित होने के बाद मुख्तार अंसारी के बहनोई एजाजुलहक अंसारी जेल से रिहा हो गए।
गाजीपुर, जेएनएन। भाजपा विधायक कृष्णानंद राय हत्याकांड में सीबीआइ न्यायालय से निर्दोष साबित होने के बाद शुक्रवार की सुबह करीब साढ़े नौ बजे मुख्तार अंसारी के बहनोई व पूर्व नपा चेयरमैन एजाजुलहक अंसारी जिला जेल से रिहा हो गए। करीब 14 वर्ष बाद अपने पैतृक आवास पर परिजनों के बीच पहुंचने पर वह काफी भाव विह्वल हो गए। उनको देख परिजनों की भी आंखें खुशी से छलछला उठीं। उनसे मिलने और उन्हें देखने वालों का तांता लगा रहा।
पूर्व चेयरमैन एजाजुलहक अंसारी के गाजीपुर जेल से रिहाई के बाद पूर्व विधायक सिबगतुल्लाह अंसारी, नगर पालिका अध्यक्ष समीम अहमद व मन्नू अंसारी उन्हें वाहन से लेकर आवास पर पहुंचे। यहां माहौल काफी खुशनुमा हो गया। परिवार में त्यौहार सा माहौल है। शारीरिक रूप से काफी अस्वस्थ हो चुके पूर्व चेयरमैन एजाजुलहक अंसारी के आने की जानकारी मिलते ही उनके यहां पहुंचकर मुलाकात करने वालों की भीड़ लग गई। दोपहर करीब 1:30 बजे उन्हें व्हील चेयर से आवास के नजदीक जामा मस्जिद में लाया गया। जहां उन्होंने नमाज अदा की।
कृष्णानंद राय हत्याकांड के तीन दिन बाद किया था आत्मसमर्पण
-29 नवंबर 2005 को भाजपा विधायक कृष्णानंद राय सहित उनके छह साथियों की भांवरकोल थाने के बसनिया चट्टी के पास हत्या हुई थी। कृष्णानंद के भाई रामनारायण राय ने घटना की एफआइआर दर्ज कराई थी। एफआइआर के मुताबिक मुन्ना बजरंगी के साथ एजाजुलहक भी एके-47 लेकर मौके पर मौजूद थे और भाजपा विधायक कृष्णानंद एवं उनके साथियों पर गोलियां दागे थे। हत्याकांड के तीसरे दिन ही एजाजुलहक अंसारी ने कोर्ट में सरेंडर किया था। तब से वह जेल में थे। जेल में रहते हुए एजाजुलहक अंसारी मुहम्दाबाद नगर पालिका परिषद चेयरमैन का चुनाव भी जीते थे।